नक्सलवाद को खत्म करने के लिए विकास कितना जरूरी, जानिए क्या कहते हैं रायपुर के लोग ? - How Naxalism be defeated
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रायपुर: नक्सलवाद को खत्म करने के लिए विकास की अवधारणा की जरूरत है. जिन राज्यों में सड़क, पानी, बिजली और आधारभूत संरचना का तेजी से विकास हुआ. वंचितों को मुख्य धारा से जोड़ा गया. शिक्षा का व्यापक तौर पर प्रचार प्रसार हुआ उन राज्यों में धीरे धीरे नक्सलवाद सिकुड़ता चला गया. छत्तीसगढ़ में भी सरकार की तरफ से तेजी से विकास का दावा किया जा रहा है. बस्तर के अंदरुनी क्षेत्र में सड़क, बिजली,पानी, संचार, शिक्षा और स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधाएं पहुंचाई जा रही है. विकास की रफ्तार और सुरक्षाबलों के ऑपरेशन से भी नक्सलियों का खात्मा हो रहा है. ऐसे में बस्तर से सैकड़ों किलोमीटर दूर रायपुर में नक्सलवाद पर अहम बैठक होने जा रही है. केंद्रीय गृह मंत्री इस मीटिंग में शामिल होंगे. अमित शाह छत्तीसगढ़ से सटे सभी सात राज्यों के मुख्य सचिवों और डीजीपी के पास इंटर स्टेट को ऑर्डिनेशन कमेटी की मीटिंग लेंगे. इस मीटिंग में नक्सल उन्मूलन अभियान को लेकर चर्चा होगी. ऐसे में रायपुर के लोगों और मजदूरों से ईटीवी भारत ने बात की तो इनका कहना था कि विकास से नक्सलवाद पर चोट किया जा सकता है. कुछ लोगों ने विकास नहीं होने की बात कही तो कुछ का मानना था कि प्रदेश में विकास हो रहा है. ऐसे में शनिवार को रायपुर में नक्सलवाद पर होने वाली बैठक से लोगों को कई उम्मीदें हैं.
छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद प्रभावित जिले: पूरे देश में छत्तीसगढ़ में सबसे ज्यादा नक्सल प्रभावित जिले हैं तो नक्सलियों के खात्मे के लिए भाजपा सरकार ने जो नीति बनाई है उसे मूर्त रूप देने का काम किया जाएगा. लेकिन छत्तीसगढ़ के लोगों से जब इस बाबत बात की गई तो उनका कहना है कि जब तक विकास आम लोगों के दरवाजे तक नहीं पहुंचेगा छत्तीसगढ़ से नक्सलियों का सफाया संभव नहीं है. ईटीवी से बात करते हुए इन लोगों ने साफ तौर पर कहा कि सरकार चाहे जिसकी हो जब तक विकास को जमीन तक नहीं पहुंचाया जाता है तब तक छत्तीसगढ़ का विकास का मॉडल खड़ा होना मुश्किल ही नहीं नामुमकिन है. क्योंकि विकास के लिए जिन बुनियादी चीजों की जरूरत है कई बार वह राजनीति की भेंट चढ़ जाती है.