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लखनऊ सीएमएस में बोले सीएम योगी- वसुधैव कुटुंबकम भारत का शाश्वत संदेश

सीएम योगी ने दुनियाभर के नेताओं से किया आग्रह, एकजुट होकर करें आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भयमुक्त समाज का निर्माण.

कहा 'वसुधैव कुटुंबकम' भारत का शाश्वत संदेश
योगी आदित्यनाथ पहु़ंचे सीएमएस स्कूल द्वारा आयोजित 25 वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में (Photo Credit; Etv Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Nov 22, 2024, 3:42 PM IST


लखनऊ: सीएमएस स्कूल द्वारा आयोजित, विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25 वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया उद्घाटन. मुख्यमंत्री ने 'वसुधैव कुटुंबकम' के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए, इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है. उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है.

सीएम ने यह बात शुक्रवार को कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही. कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया.



अनुच्छेद 51 की भावनाओं को 'विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक': मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया. उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मान जनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है. उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे. यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है.



युद्ध समस्या का समाधान नहीं है: योगी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के 'समिट ऑफ दि फ्यूचर' में दिये गये, संबोधन की चर्चा करते हुए कहा, कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है. युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है. उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भय मुक्त समाज का निर्माण करें.

मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है. उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मान जनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है. मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है. कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है.


सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि :

सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, कि उनकी दूर दृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है. उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया. इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे.

ये भी पढ़ें- उत्तर प्रदेश को मिले 701 वन दारोगा, CM योगी ने सौंपा नियुक्ति पत्र तो खिले चेहरे


लखनऊ: सीएमएस स्कूल द्वारा आयोजित, विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25 वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया उद्घाटन. मुख्यमंत्री ने 'वसुधैव कुटुंबकम' के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए, इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है. उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है.

सीएम ने यह बात शुक्रवार को कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही. कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया.



अनुच्छेद 51 की भावनाओं को 'विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक': मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया. उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मान जनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है. उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे. यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है.



युद्ध समस्या का समाधान नहीं है: योगी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के 'समिट ऑफ दि फ्यूचर' में दिये गये, संबोधन की चर्चा करते हुए कहा, कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है. युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है. उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भय मुक्त समाज का निर्माण करें.

मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है. उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मान जनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है. मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है. कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है.


सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि :

सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, कि उनकी दूर दृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है. उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया. इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे.

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