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विश्व संगीत दिवस : एक ऐसा संगीत संस्थान जो 60 सालों से दे रहा है संगीत की नि:शुल्क शिक्षा - World Music Day 2024

World Music Day 2024, विश्व संगीत दिवस संगीत और संगीत प्रेमियों के सम्मान में मनाया जाता है. आज के इस खास दिन हम आपको लें चलते है डीडवाना कुचामन जिले के भारतीय संगीत सदन संस्थान में जहां पिछले 60 साल से गीत और संगीत की नि:शुल्क शिक्षा दी जा रही है.

विश्व संगीत दिवस
विश्व संगीत दिवस (ETV Bharat GFX)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Jun 21, 2024, 4:32 PM IST

60 सालों से संगीत की नि:शुल्क शिक्षा (ETV Bharat Kuchamancity)

कुचामनसिटी. जिले का भारतीय संगीत सदन संस्थान पिछले 60 साल से क्षेत्र में संगीत से जुड़ी हर विधा का नि:शुल्क प्रशिक्षण अपने साधकों को दे रहा है. गायन, वादन और नृत्य की हर विधा का यहां प्रशिक्षण दिया जाता है. कुचामन सिटी का भारतीय संगीत सदन अपने आप मे एक मिसाल है, जहां प्रदेश के उन युवाओं को नि:शुल्क संगीत की शिक्षा दी जाती है, जो संगीत मे अपना करियर बनाना चाहते हैं. जानकारी के मुताबिक 60 के दशक में आचार्य विनोबा भावे कुचामन आए थे और इसके बाद से ही कुचामन के भारतीय संगीत सदन संस्थान की शुरुआत हुई.

संगीत प्रेमी मोतीलाल मिश्र की भूमिका भारतीय संगीत सदन संस्थान की शुरुआत में अहम मानी जाती है. कई वर्षों तक इस संस्थान में प्रशिक्षक और प्रधानाचार्य के पद की जिम्मेदारी निभाने वाले कत्थक गुरु नटराज बताते हैं कि शुरुआत के दिनों में ही इस संस्थान में संगीत की नि:शुल्क शिक्षा दी जाती थी और ये परंपरा अब तक कायम है. गुरु नटराज बताते हैं कि प्रदेश में इस तरह का संस्थान नहीं है, जैसा कुचामन में है. वर्तमान में भारतीय संगीत सदन संस्थान के अध्यक्ष नटवर लाल हैं. शहर के जागरूक लोगों के समूह द्वारा ये संस्थान क्षेत्र के प्रवासियों और भामाशाहों के सहयोग से संचालित हो रहा है.

इसे भी पढ़ें- विश्व संगीत दिवस : संगीत का ऐसा मंच जहां युवा ही नहीं, बल्कि बुजुर्ग भी दिखाते हैं अपना हुनर - World Music Day 2024

हजारों लोगों को दी नि:शुल्क संगीत शिक्षा : गुरु नटराज ने बताया कि कुचामन के भारतीय संगीत सदन संस्थान से पिछले 60 सालों में हजारों लोगों ने निःशुल्क गायन, वादन एवं नृत्य की शिक्षा ली है. बदलते दौर के साथ भारतीय संगीत सदन संस्थान में संगीत से जुड़े विभिन्न पाठ्यक्रमों का अध्ययन भी कराया जाने लगा है, जो कि विभिन्न विश्वविद्यालयों से सम्बद्ध है. क्षेत्र की प्रतिभाओं को तराशने और बच्चों को मोबाइल से दूर करने के मकसद से हर साल ग्रीष्मकालीन अवकाश में यहां समर कैंप भी आयोजित किया जाता है. कुचामन के भारतीय संगीत सदन संस्थान के जरिए संगीत की शिक्षा लेने वाले साधक आज संगीत की विभिन्न विधाओं में पारंगत होकर देश-प्रदेश में क्षेत्र का नाम रोशन कर रहे हैं.

सांस्कृतिक कार्यक्रमों का संचालन : गुरु नटराज ने बताया कि कुचामन का भारतीय संगीत साधन संस्थान अपनी शुरुआत से लेकर वर्तमान तक कई भवनों में संचालित हो चुका है. इसके नवीन भवन को आधुनिक रूप देने में पूर्व केंद्रीय मंत्री सीआर चौधरी और स्थानीय विधायक और प्रदेश सरकार में राजस्व मंत्री विजय सिंह चौधरी का भी बड़ा सहयोग रहा है. क्षेत्र में नगरीय निकाय द्वारा आयोजित संगीत से जुड़े सभी राष्ट्रीय कार्यक्रमों एवं नगर के सांस्कृतिक कार्यक्रमों का संचालन इस सदन की ओर से होता है.

60 सालों से संगीत की नि:शुल्क शिक्षा (ETV Bharat Kuchamancity)

कुचामनसिटी. जिले का भारतीय संगीत सदन संस्थान पिछले 60 साल से क्षेत्र में संगीत से जुड़ी हर विधा का नि:शुल्क प्रशिक्षण अपने साधकों को दे रहा है. गायन, वादन और नृत्य की हर विधा का यहां प्रशिक्षण दिया जाता है. कुचामन सिटी का भारतीय संगीत सदन अपने आप मे एक मिसाल है, जहां प्रदेश के उन युवाओं को नि:शुल्क संगीत की शिक्षा दी जाती है, जो संगीत मे अपना करियर बनाना चाहते हैं. जानकारी के मुताबिक 60 के दशक में आचार्य विनोबा भावे कुचामन आए थे और इसके बाद से ही कुचामन के भारतीय संगीत सदन संस्थान की शुरुआत हुई.

संगीत प्रेमी मोतीलाल मिश्र की भूमिका भारतीय संगीत सदन संस्थान की शुरुआत में अहम मानी जाती है. कई वर्षों तक इस संस्थान में प्रशिक्षक और प्रधानाचार्य के पद की जिम्मेदारी निभाने वाले कत्थक गुरु नटराज बताते हैं कि शुरुआत के दिनों में ही इस संस्थान में संगीत की नि:शुल्क शिक्षा दी जाती थी और ये परंपरा अब तक कायम है. गुरु नटराज बताते हैं कि प्रदेश में इस तरह का संस्थान नहीं है, जैसा कुचामन में है. वर्तमान में भारतीय संगीत सदन संस्थान के अध्यक्ष नटवर लाल हैं. शहर के जागरूक लोगों के समूह द्वारा ये संस्थान क्षेत्र के प्रवासियों और भामाशाहों के सहयोग से संचालित हो रहा है.

इसे भी पढ़ें- विश्व संगीत दिवस : संगीत का ऐसा मंच जहां युवा ही नहीं, बल्कि बुजुर्ग भी दिखाते हैं अपना हुनर - World Music Day 2024

हजारों लोगों को दी नि:शुल्क संगीत शिक्षा : गुरु नटराज ने बताया कि कुचामन के भारतीय संगीत सदन संस्थान से पिछले 60 सालों में हजारों लोगों ने निःशुल्क गायन, वादन एवं नृत्य की शिक्षा ली है. बदलते दौर के साथ भारतीय संगीत सदन संस्थान में संगीत से जुड़े विभिन्न पाठ्यक्रमों का अध्ययन भी कराया जाने लगा है, जो कि विभिन्न विश्वविद्यालयों से सम्बद्ध है. क्षेत्र की प्रतिभाओं को तराशने और बच्चों को मोबाइल से दूर करने के मकसद से हर साल ग्रीष्मकालीन अवकाश में यहां समर कैंप भी आयोजित किया जाता है. कुचामन के भारतीय संगीत सदन संस्थान के जरिए संगीत की शिक्षा लेने वाले साधक आज संगीत की विभिन्न विधाओं में पारंगत होकर देश-प्रदेश में क्षेत्र का नाम रोशन कर रहे हैं.

सांस्कृतिक कार्यक्रमों का संचालन : गुरु नटराज ने बताया कि कुचामन का भारतीय संगीत साधन संस्थान अपनी शुरुआत से लेकर वर्तमान तक कई भवनों में संचालित हो चुका है. इसके नवीन भवन को आधुनिक रूप देने में पूर्व केंद्रीय मंत्री सीआर चौधरी और स्थानीय विधायक और प्रदेश सरकार में राजस्व मंत्री विजय सिंह चौधरी का भी बड़ा सहयोग रहा है. क्षेत्र में नगरीय निकाय द्वारा आयोजित संगीत से जुड़े सभी राष्ट्रीय कार्यक्रमों एवं नगर के सांस्कृतिक कार्यक्रमों का संचालन इस सदन की ओर से होता है.

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