देहरादून: उत्तराखंड विजिलेंस की टीम ने बड़ी कार्रवाई करते हुए वन दारोगा को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा है कि आरोपी वन दारोगा ने सरकारी काम के लिए पीड़ित से 15000 हजार रुपए की रिश्वत मांगी थी, जिसकी शिकायत पीड़ित ने विजिलेंस को थी, जिसके बाद ही ये कार्रवाई की गई है.
पीड़ित ने सतर्कता अधिष्ठान के टोल फ्री नंबर 1064 पर शिकायत दर्ज कराई थी. पीड़ित ने विजिलेंस को बताया था कि दो मार्च 2024 को पौड़ी गढ़वाल जिले के पैठाणी में वन पंचायत पाबो की सभा हुई थी. इस दौरान वन पंचायत क्षेत्र में आने वाले गांवों में आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग के लोगों को मुर्गी और बकरी पालन समेत अन्य कार्यों के लिए विभागीय अनुदान दिए जाने के सम्बन्ध में जानकारी दी गयी थी.
पीड़ित ने बताया कि उसने बकरी पालन के लिए किये आवेदन किया था, जिसके लिए उसने 50000 रुपए अनुदान विभाग के खाते में जमा करा दिए थे, लेकिन वन दारोगा हंस राज पंत पीड़ित से फार्म आदि भरवाने और विभागीय अनुदान पास करवाने की एवज में रिश्वत की मांग रहा था. पीड़ित का कहना था कि वो रिश्वत नहीं देना चाहता था और वन दारोगा के खिलाफ कानूनी कार्रवाई चाहता है.
निदेशक सतर्कता डॉ वी मुरूगेशन ने बताया कि प्राथमिक जांच में वन दारोगा के खिलाफ आरोपी सही पाए गए. उसके बाद तत्काल ट्रैप टीम का गठन किया गया. टीम ने नियमनुसार कार्रवाई करते हुए मंगलवार 21 मई को चाकीसैंण सेक्शन पावौ रेंज पौड़ी के वन दरोगा हंस राज पंत को पीड़ित से 15,000 रूपये की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया.
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