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यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा; एक ही शिक्षक की 2 जगह लगा दी ड्यूटी, अब गैरहाजिरी पर DM मांग रहे स्पष्टीकरण, वेतन भी कटेगा - UP Police Recruitment Exam 2024

पुलिस भर्ती परीक्षा का पहला चरण पूरा हो चुका है. परीक्षा में कई बेसिक शिक्षकों की भी ड्यूटी लगाई गई थी, लेकिन इसमें लापरवाही बरती गई. एक ही शिक्षक की दो जगह ड्यूटी लगा दी गई. इससे शिक्षक एक जगह मौजूद रहे जबकि दूसरी जगह गैरहाजिर हो गए. इसे लेकर डीएम ने स्पष्टीकरण मांगा है.

शिक्षकों की बढ़ी टेंशन.
शिक्षकों की बढ़ी टेंशन. (Photo Credit; ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Aug 26, 2024, 1:08 PM IST

लखनऊ : राजधानी में पुलिस भर्ती परीक्षा में अधिकारियों की बड़ी लापरवाही सामने आई है. बेसिक स्कूलों के सैकड़ों शिक्षकों की परीक्षा केंद्र और आरक्षित सूची में डबल ड्यूटी लगाई गई. कुछ शिक्षक परीक्षा केंद्र पहुंच गए तो कुछ दूसरी लिस्ट के हिसाब से आरक्षित ड्यूटी करने दूसरी जगह पहुंचे. ऐसे में 23 अगस्त को ड्यूटी रोस्टर के हिसाब से एक जगह अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों से जिलाधिकारी ने स्पष्टीकरण मांगा है. इससे शिक्षकों की मुसीबतें बढ़ गईं हैं. राजधानी में 81 केंद्रों पर पुलिस भर्ती परीक्षा का आयोजन कराया गया. इसमें शिक्षकों की कमी को देखते हुए जिला प्रशासन ने बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों की ड्यूटी परीक्षा केंद्रों पर लगाई थी.

पुलिस भर्ती परीक्षा में ड्यूटी करने वाले पूर्व माध्यमिक विद्यालय नरायनपुर के शिक्षक हरि शंकर राठौर ने बताया कि पहली सूची में उनकी ड्यूटी कक्ष निरीक्षक के रूप में एलयू न्यू कैंपस में लगी थी. जबकि, 22 अगस्त को दूसरी सूची में उनका नाम रिजर्व शिक्षकों की सूची में शामिल था. उन्हें प्राथमिक विद्यालय सरोसा-भरोसा में आरक्षित ड्यूटी में भी लगा दिया गया. केंद्र व्यवस्थापक से बात की तो उन्होंने परीक्षा केंद्र पर मौजूद रहने के लिए कहा. ऐसे में वह 23 अगस्त की परीक्षा के पहले दिन ड्यूटी करने पहुंच गए और सरोसा-भरोसा में अनुपस्थित रहे. इसकी सूचना उन्होंने खंड शिक्षा अधिकारी को भी दी.

हरिशंकर राठौर ने बताया कि 23 अगस्त को लखनऊ विश्वविद्यालय न्यू कैंपस इंजीनियरिंग ब्लॉक में ड्यूटी करने के बावजूद उनका नाम अनुपस्थित रहने वालों की सूची में शामिल हैं. अब ड्यूटी रोस्टर जब विभागीय अधिकारियों ने जारी किया है तो उन्हें यह तय करना था कि शिक्षक की डबल ड्यूटी न लगाई जाए. ऐसे में जिलाधिकारी कार्यालय से शिक्षकों के वेतन रोकते हुए स्पष्टीकरण मांगा जाना मानसिक तौर पर प्रताड़ना के बराबर है.

सूची में अधिकांश डबल ड्यूटी वाले शिक्षक : जिलाधिकारी ने 23 अगस्त को अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों का वेतन रोकते हुए स्पष्टीकरण मांगा है. उनकी सूची भी जारी की है. इसमें शामिल बेसिक स्कूल सरधरा माल के सहायक अध्यापक सतगुर प्रसाद, पूर्व माध्यमिक विद्यालय मांझी माल के सहायक अध्यापक ओम प्रकाश, बेसिक विद्यालय सरथरा माल के सहायक अध्यापक विनीत कुमार, प्राथमिक विद्यालय गौरी माल के एजाज हैदर जाफरी ने बताया कि पूरी सूची में डबल ड्यूटी वाले ही अधिकांश शिक्षक हैं. शिक्षकों ने बताया कि उन्होंने पहली सूची के मुताबिक परीक्षा केंद्र पहुंचकर दोनों शिफ्ट में ड्यूटी दी है. बावजूद उनका नाम वेतन रोकते हुए स्पष्टीकरण मांगने वाली सूची में शामिल है. इसे लेकर ड्यूटी करने वाले शिक्षकों ने खंड शिक्षा अधिकारियों को पत्र लिखा है.

1200 शिक्षक परीक्षा केंद्र पर, इतने ही रिजर्व कर लगा दी ड्यूटी : पहले चरण में 23 अगस्त से 25 अगस्त तक हुई पुलिस भर्ती परीक्षा में बेसिक शिक्षा परिषद के शिक्षकों की ड्यूटी लगने के कारण राजधानी के परिषदीय विद्यालयों में पढ़ाई पर असर देखने को मिला है. विद्यालयों में पढ़ाने के लिए नियमित शिक्षक ही नहीं बचे हैं. एफएलएन ट्रेनिंग और पुलिस भर्ती परीक्षा से पिछले दो दिनों से विद्यालयों में पढ़ाई नहीं हो रही है. पुलिस भर्ती परीक्षा में आधे शिक्षकों की ड्यूटी लगी है. प्रत्येक विकासखंड में एफएलएन ट्रेनिंग के चलते बचे हुए 100-100 शिक्षकों को बुलाकर ट्रेनिंग हो रही है. ऐसे में विद्यालयों में बच्चों को एक ही शिक्षक के भरोसे छोड़ दिया गया है.

स्कूलों में पढ़ाने वाले 2400 शिक्षक हो गए कम : राजधानी में पुलिस भर्ती परीक्षा 23 अगस्त से शुरू हुई है, इसमें 81 परीक्षा केंद्र बनाए गए. यूपी पुलिस की पहले चरण की परीक्षा समाप्त हो गई है, दूसरे चरण की परीक्षा 30 और 31 अगस्त को आयोजित होनी है. इसमें परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों की ड्यूटी लगाई गई है. जिलाधिकारी कार्यालय से पहले 17 अगस्त को 1200 शिक्षकों की केंद्र व्यवस्थापक, परीक्षा सहायक, सह अंतरीक्षक और बाह्य अंतरीक्षक एवं अंतरीक्षक के रूप में ड्यूटी लगाई गई. इसके बाद परीक्षा से एक दिन पहले करीब 1100 बेसिक शिक्षकों की आरक्षित शिक्षकों के रूप में ड्यूटी लगा दी है. इसमें सभी रेगुलर शिक्षक शामिल रहे. इससे बेसिक शिक्षा के विद्यालयों में पढ़ाने वाले एक साथ तकरीबन 2400 शिक्षक कम हो गए.

हल षष्ठी के दिन बंद रहे दर्जनों विद्यालय : शिक्षकों ने बताया कि विद्यालयों में शिक्षकों की कमी से 23 अगस्त को किसी तरह विद्यालय खोले गए. 24 अगस्त को हल षष्ठी के चलते महिला शिक्षिकाओं की छुट्टी थी. ऐसे में महिला शिक्षिकाओं के भरोसे चलने वाले स्कूलों में पूरी तरह से ताला पड़ गया. शनिवार को ये विद्यालय बंद रहे. शिक्षिकाओं ने हल षष्ठी को लेकर एक दिन पहले बेसिक शिक्षा के ग्रुप पर बीईओ को विद्यालय खुलवाने की अपील की. शिक्षकों के अभाव में विद्यालय बंद रहे और विद्यालयों में ताला लटकता रहा.

बेसिक शिक्षा अधिकारी लखनऊ राम प्रवेश ने बताया कि पुलिस भर्ती परीक्षा में बेसिक और माध्यमिक विभाग के शिक्षकों की ड्यूटी लगाई गई थी. इनमें से 137 शिक्षक अपनी ड्यूटी पर अनुपस्थित रहे थे. 94 शिक्षक बेसिक के और 43 शिक्षक माध्यमिक के शामिल है. इन सभी पर जिलाधिकारी के निर्देश पर कारण बताओ नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण देने को कहा गया है. डबल ड्यूटी के आरोपों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है.

यह भी पढ़ें : यूपी में जन्माष्टमी पर भारी बारिश का पूर्वानुमान; 39 जिलों में बिजली गिरने के आसार, होगी तेज बरसात

लखनऊ : राजधानी में पुलिस भर्ती परीक्षा में अधिकारियों की बड़ी लापरवाही सामने आई है. बेसिक स्कूलों के सैकड़ों शिक्षकों की परीक्षा केंद्र और आरक्षित सूची में डबल ड्यूटी लगाई गई. कुछ शिक्षक परीक्षा केंद्र पहुंच गए तो कुछ दूसरी लिस्ट के हिसाब से आरक्षित ड्यूटी करने दूसरी जगह पहुंचे. ऐसे में 23 अगस्त को ड्यूटी रोस्टर के हिसाब से एक जगह अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों से जिलाधिकारी ने स्पष्टीकरण मांगा है. इससे शिक्षकों की मुसीबतें बढ़ गईं हैं. राजधानी में 81 केंद्रों पर पुलिस भर्ती परीक्षा का आयोजन कराया गया. इसमें शिक्षकों की कमी को देखते हुए जिला प्रशासन ने बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों की ड्यूटी परीक्षा केंद्रों पर लगाई थी.

पुलिस भर्ती परीक्षा में ड्यूटी करने वाले पूर्व माध्यमिक विद्यालय नरायनपुर के शिक्षक हरि शंकर राठौर ने बताया कि पहली सूची में उनकी ड्यूटी कक्ष निरीक्षक के रूप में एलयू न्यू कैंपस में लगी थी. जबकि, 22 अगस्त को दूसरी सूची में उनका नाम रिजर्व शिक्षकों की सूची में शामिल था. उन्हें प्राथमिक विद्यालय सरोसा-भरोसा में आरक्षित ड्यूटी में भी लगा दिया गया. केंद्र व्यवस्थापक से बात की तो उन्होंने परीक्षा केंद्र पर मौजूद रहने के लिए कहा. ऐसे में वह 23 अगस्त की परीक्षा के पहले दिन ड्यूटी करने पहुंच गए और सरोसा-भरोसा में अनुपस्थित रहे. इसकी सूचना उन्होंने खंड शिक्षा अधिकारी को भी दी.

हरिशंकर राठौर ने बताया कि 23 अगस्त को लखनऊ विश्वविद्यालय न्यू कैंपस इंजीनियरिंग ब्लॉक में ड्यूटी करने के बावजूद उनका नाम अनुपस्थित रहने वालों की सूची में शामिल हैं. अब ड्यूटी रोस्टर जब विभागीय अधिकारियों ने जारी किया है तो उन्हें यह तय करना था कि शिक्षक की डबल ड्यूटी न लगाई जाए. ऐसे में जिलाधिकारी कार्यालय से शिक्षकों के वेतन रोकते हुए स्पष्टीकरण मांगा जाना मानसिक तौर पर प्रताड़ना के बराबर है.

सूची में अधिकांश डबल ड्यूटी वाले शिक्षक : जिलाधिकारी ने 23 अगस्त को अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों का वेतन रोकते हुए स्पष्टीकरण मांगा है. उनकी सूची भी जारी की है. इसमें शामिल बेसिक स्कूल सरधरा माल के सहायक अध्यापक सतगुर प्रसाद, पूर्व माध्यमिक विद्यालय मांझी माल के सहायक अध्यापक ओम प्रकाश, बेसिक विद्यालय सरथरा माल के सहायक अध्यापक विनीत कुमार, प्राथमिक विद्यालय गौरी माल के एजाज हैदर जाफरी ने बताया कि पूरी सूची में डबल ड्यूटी वाले ही अधिकांश शिक्षक हैं. शिक्षकों ने बताया कि उन्होंने पहली सूची के मुताबिक परीक्षा केंद्र पहुंचकर दोनों शिफ्ट में ड्यूटी दी है. बावजूद उनका नाम वेतन रोकते हुए स्पष्टीकरण मांगने वाली सूची में शामिल है. इसे लेकर ड्यूटी करने वाले शिक्षकों ने खंड शिक्षा अधिकारियों को पत्र लिखा है.

1200 शिक्षक परीक्षा केंद्र पर, इतने ही रिजर्व कर लगा दी ड्यूटी : पहले चरण में 23 अगस्त से 25 अगस्त तक हुई पुलिस भर्ती परीक्षा में बेसिक शिक्षा परिषद के शिक्षकों की ड्यूटी लगने के कारण राजधानी के परिषदीय विद्यालयों में पढ़ाई पर असर देखने को मिला है. विद्यालयों में पढ़ाने के लिए नियमित शिक्षक ही नहीं बचे हैं. एफएलएन ट्रेनिंग और पुलिस भर्ती परीक्षा से पिछले दो दिनों से विद्यालयों में पढ़ाई नहीं हो रही है. पुलिस भर्ती परीक्षा में आधे शिक्षकों की ड्यूटी लगी है. प्रत्येक विकासखंड में एफएलएन ट्रेनिंग के चलते बचे हुए 100-100 शिक्षकों को बुलाकर ट्रेनिंग हो रही है. ऐसे में विद्यालयों में बच्चों को एक ही शिक्षक के भरोसे छोड़ दिया गया है.

स्कूलों में पढ़ाने वाले 2400 शिक्षक हो गए कम : राजधानी में पुलिस भर्ती परीक्षा 23 अगस्त से शुरू हुई है, इसमें 81 परीक्षा केंद्र बनाए गए. यूपी पुलिस की पहले चरण की परीक्षा समाप्त हो गई है, दूसरे चरण की परीक्षा 30 और 31 अगस्त को आयोजित होनी है. इसमें परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों की ड्यूटी लगाई गई है. जिलाधिकारी कार्यालय से पहले 17 अगस्त को 1200 शिक्षकों की केंद्र व्यवस्थापक, परीक्षा सहायक, सह अंतरीक्षक और बाह्य अंतरीक्षक एवं अंतरीक्षक के रूप में ड्यूटी लगाई गई. इसके बाद परीक्षा से एक दिन पहले करीब 1100 बेसिक शिक्षकों की आरक्षित शिक्षकों के रूप में ड्यूटी लगा दी है. इसमें सभी रेगुलर शिक्षक शामिल रहे. इससे बेसिक शिक्षा के विद्यालयों में पढ़ाने वाले एक साथ तकरीबन 2400 शिक्षक कम हो गए.

हल षष्ठी के दिन बंद रहे दर्जनों विद्यालय : शिक्षकों ने बताया कि विद्यालयों में शिक्षकों की कमी से 23 अगस्त को किसी तरह विद्यालय खोले गए. 24 अगस्त को हल षष्ठी के चलते महिला शिक्षिकाओं की छुट्टी थी. ऐसे में महिला शिक्षिकाओं के भरोसे चलने वाले स्कूलों में पूरी तरह से ताला पड़ गया. शनिवार को ये विद्यालय बंद रहे. शिक्षिकाओं ने हल षष्ठी को लेकर एक दिन पहले बेसिक शिक्षा के ग्रुप पर बीईओ को विद्यालय खुलवाने की अपील की. शिक्षकों के अभाव में विद्यालय बंद रहे और विद्यालयों में ताला लटकता रहा.

बेसिक शिक्षा अधिकारी लखनऊ राम प्रवेश ने बताया कि पुलिस भर्ती परीक्षा में बेसिक और माध्यमिक विभाग के शिक्षकों की ड्यूटी लगाई गई थी. इनमें से 137 शिक्षक अपनी ड्यूटी पर अनुपस्थित रहे थे. 94 शिक्षक बेसिक के और 43 शिक्षक माध्यमिक के शामिल है. इन सभी पर जिलाधिकारी के निर्देश पर कारण बताओ नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण देने को कहा गया है. डबल ड्यूटी के आरोपों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है.

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