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यूडीएच मंत्री खर्रा बोले-कांग्रेस शासन में दयनीय हुई KDA और दोनों नगर निगम की आर्थिक स्थिति, 1600 करोड़ की देनदारी - UDH Minister Targets Congress

प्रदेश के स्वायत्त शासन एवं नगरीय विकास मंत्री झाबर सिंह खर्रा का कहना है कि केडीए और दोनों नगर निगमों की आर्थिक स्थिति कांग्रेस शासन के दौरान दयनीय हो गई. इन पर 1600 करोड़ रुपए की देनदारी है.

UDH Minister Jhabar Singh Kharra
यूडीएच मंत्री झाबर सिंह खर्रा (ETV Bharat Kota)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Oct 1, 2024, 8:31 PM IST

कोटा: प्रदेश के स्वायत्त शासन एवं नगरीय विकास मंत्री झाबर सिंह खर्रा का कहना है कि कांग्रेस के शासन काल 2018 से 2023 के दौरान कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी और दोनों नगर निगमों की आर्थिक स्थिति दयनीय हो गई. तीनों संस्थानों पर 1600 करोड़ रुपए की देनदारी है. मंत्री ने अधिकारियों से इस देनदारी को चुकाने के लिए कार्ययोजना बनाने का निर्देश दिया है.

यूडीएच मंत्री ने निगमों की देनदारी को लेकर कांग्रेस पर साधा निशाना (ETV Bharat Kota)

कोटा दौरे पर आए मंत्री झाबर सिंह खर्रा, ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर के इंद्र विहार स्थित निवास पर पहुंचे. जहां पर उन्होंने मीडिया से बातचीत करते हुए कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी और दोनों नगर निगम की दयनीय आर्थिक स्थिति का हवाला दिया. मंत्री खर्रा ने कहा कि कोटा के तीनों संस्थानों पर 1600 करोड़ रुपए की देनदारी है. कांग्रेस शासन के 2018 से 2023 तक के कालखंड के बीच बदहाल स्थिति हुई है. बीते दिनों 200 करोड़ रुपए का लोन स्वीकृत करवाया है.

पढ़ें: 2018 से 2023 तक किए गए कामों में कई गलतियां, अब आगामी 40 साल के अनुसार कार्य योजना बनाने के निर्देश:खर्रा - UDH Minister Directions to Officers

इसके साथ ही अधिकारियों को दिशा निर्देश दिए हैं कि लैंड बैंक की कार्ययोजना बनाकर बाजार में उतरें, नीलामी के जरिए उनका विक्रय करें और धनराशि प्राप्त करें. इस धनराशि में से आधी देनदारी चुकाने में और शेष जरूरी विकास के कार्य में खर्च की जाए. अधिकारियों ने भी इसके लिए वादा किया है. संभागीय आयुक्त और कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी के अध्यक्ष को भी इस संबंध में मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं. सूरजमल की छतरी के सवाल पर उन्होंने कहा कि यह सबके सामने है. सरकार के संज्ञान में पूरी बातें हैं. जिससे भी गलती हुई है, उसकी जांच कर निश्चित रूप से कार्रवाई की जाएगी. इस दौरान मंत्री हीरालाल नागर और भाजपा जिला अध्यक्ष राकेश जैन ने मंत्री झाबर सिंह खर्रा का स्वागत किया. कोटा हॉस्टल एसोसिएशन के अध्यक्ष नवीन मित्तल ने पदाधिकारी के साथ मंत्री खर्रा को यूडी टैक्स कमर्शियल की जगह आवासीय मानने और फायर एनओसी में पूर्व की तरह रियायत के लिए ज्ञापन सौंपा है.

पढ़ें: खर्रा बोले-गहलोत राज में जारी हुए फर्जी पट्टों की होगी जांच, सभी निकायों में रहा था आर्थिक अराजकता का माहौल - Kharra targets former govt

नगर निगम आयुक्तों को हिदायत, नहीं फैले डेंगू-मलेरिया: मंत्री झाबर सिंह खर्रा ने कहा कि कोटा पथरीला इलाका है. ऐसे में खाली प्लॉटों में पानी भर जाता है और काफी समय तक भरा रहता है. यहां पर डेंगू और मलेरिया के लार्वा उत्पन्न हो जाते हैं, फिर आगे जाकर मच्छर जनित बीमारियां फैलती हैं. दोनों नगर निगम के अधिकारियों को आयुक्त को विशेष हिदायत दी गई है कि फॉगिंग के साथ जरूरी दवा का छिड़काव और उपचार किया जाए.

पढ़ें: यूडीएच मंत्री ने दिए संकेत: जयपुर, जोधपुर, कोटा में फिर होगा एक निगम, सभी निकायों में वार्डों का होगा दोबारा परिसीमन - UDH Minister on Delimitation

रिवरफ्रंट और सिटी पार्क की जांच में हो रही देरी: कोटा के हेरिटेज चंबल रिवर फ्रंट और सिटी पार्क की जांच को लेकर मंत्री खर्रा ने कहा कि जैसे कि जांच पूरी होकर आरोप सिद्ध हो रहे हैं. वैसे दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई भी कर रहे हैं. यह सिलसिला लंबे समय से चल रहा है. हालांकि उन्होंने स्वीकार किया कि कुछ जांच लंबित है. उनके बारे में भी हमने चर्चा की है और जल्द ही निष्पक्ष जांच करेंगे व जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ कार्रवाई करेंगे.

RAS एग्जाम के जरिए भरे जाएंगे स्वायत्त शासन विभाग के पद: कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी में खाली पड़े पदों के संबंध में उन्होंने कहा कि पहले विभाग ने की गई भर्ती के संबंध में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो में एक प्रकरण दर्ज किया था. आरपीएससी और एसीबी के बीच यह प्रकरण विचाराधीन है. हमने दोनों विभागों को कहा है कि या तो इस मामले में क्लीनचिट दी जाए, ताकि अधिकारियों को नियुक्ति दी जा सके, या फिर इसको निरस्त करने की कार्रवाई की जाए, ताकि नए सिरे से भर्ती की जा सके. उन्होंने कहा कि हम आरपीएससी की आयोजित राजस्थान प्रशासनिक सेवा की एलाइड सर्विसेज के जरिए ही अधिकारी वर्ग की भर्ती करने की योजना बना रहे हैं.

रिवरफ्रंट पर ग्रीनरी नहीं, इसीलिए जाने से बचते है लोग: सिटी पार्क व रिवरफ्रंट पर काफी काम बाकी होने के सवाल पर मंत्री खर्रा ने कहा कि जितना पैसा खर्च हुआ है, उसके मुताबिक काम नहीं हो पाया है. कोटा विकास प्राधिकरण और दोनों नगर निगम की आर्थिक स्थिति भी दयनीय है. साल भर में हम इस आर्थिक स्थिति को सुधारने का प्रयास करेंगे. उसके बाद दोनों जगह पर बकाया काम करवाया जाएगा. रिवर फ्रंट पर ग्रीनरी नहीं है, इसलिए लोग वहां जाने से बचते हैं. दूसरे फेज का काम आर्थिक स्थिति ठीक होने के बाद ही हो पाएगा.

कोटा: प्रदेश के स्वायत्त शासन एवं नगरीय विकास मंत्री झाबर सिंह खर्रा का कहना है कि कांग्रेस के शासन काल 2018 से 2023 के दौरान कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी और दोनों नगर निगमों की आर्थिक स्थिति दयनीय हो गई. तीनों संस्थानों पर 1600 करोड़ रुपए की देनदारी है. मंत्री ने अधिकारियों से इस देनदारी को चुकाने के लिए कार्ययोजना बनाने का निर्देश दिया है.

यूडीएच मंत्री ने निगमों की देनदारी को लेकर कांग्रेस पर साधा निशाना (ETV Bharat Kota)

कोटा दौरे पर आए मंत्री झाबर सिंह खर्रा, ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर के इंद्र विहार स्थित निवास पर पहुंचे. जहां पर उन्होंने मीडिया से बातचीत करते हुए कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी और दोनों नगर निगम की दयनीय आर्थिक स्थिति का हवाला दिया. मंत्री खर्रा ने कहा कि कोटा के तीनों संस्थानों पर 1600 करोड़ रुपए की देनदारी है. कांग्रेस शासन के 2018 से 2023 तक के कालखंड के बीच बदहाल स्थिति हुई है. बीते दिनों 200 करोड़ रुपए का लोन स्वीकृत करवाया है.

पढ़ें: 2018 से 2023 तक किए गए कामों में कई गलतियां, अब आगामी 40 साल के अनुसार कार्य योजना बनाने के निर्देश:खर्रा - UDH Minister Directions to Officers

इसके साथ ही अधिकारियों को दिशा निर्देश दिए हैं कि लैंड बैंक की कार्ययोजना बनाकर बाजार में उतरें, नीलामी के जरिए उनका विक्रय करें और धनराशि प्राप्त करें. इस धनराशि में से आधी देनदारी चुकाने में और शेष जरूरी विकास के कार्य में खर्च की जाए. अधिकारियों ने भी इसके लिए वादा किया है. संभागीय आयुक्त और कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी के अध्यक्ष को भी इस संबंध में मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं. सूरजमल की छतरी के सवाल पर उन्होंने कहा कि यह सबके सामने है. सरकार के संज्ञान में पूरी बातें हैं. जिससे भी गलती हुई है, उसकी जांच कर निश्चित रूप से कार्रवाई की जाएगी. इस दौरान मंत्री हीरालाल नागर और भाजपा जिला अध्यक्ष राकेश जैन ने मंत्री झाबर सिंह खर्रा का स्वागत किया. कोटा हॉस्टल एसोसिएशन के अध्यक्ष नवीन मित्तल ने पदाधिकारी के साथ मंत्री खर्रा को यूडी टैक्स कमर्शियल की जगह आवासीय मानने और फायर एनओसी में पूर्व की तरह रियायत के लिए ज्ञापन सौंपा है.

पढ़ें: खर्रा बोले-गहलोत राज में जारी हुए फर्जी पट्टों की होगी जांच, सभी निकायों में रहा था आर्थिक अराजकता का माहौल - Kharra targets former govt

नगर निगम आयुक्तों को हिदायत, नहीं फैले डेंगू-मलेरिया: मंत्री झाबर सिंह खर्रा ने कहा कि कोटा पथरीला इलाका है. ऐसे में खाली प्लॉटों में पानी भर जाता है और काफी समय तक भरा रहता है. यहां पर डेंगू और मलेरिया के लार्वा उत्पन्न हो जाते हैं, फिर आगे जाकर मच्छर जनित बीमारियां फैलती हैं. दोनों नगर निगम के अधिकारियों को आयुक्त को विशेष हिदायत दी गई है कि फॉगिंग के साथ जरूरी दवा का छिड़काव और उपचार किया जाए.

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रिवरफ्रंट और सिटी पार्क की जांच में हो रही देरी: कोटा के हेरिटेज चंबल रिवर फ्रंट और सिटी पार्क की जांच को लेकर मंत्री खर्रा ने कहा कि जैसे कि जांच पूरी होकर आरोप सिद्ध हो रहे हैं. वैसे दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई भी कर रहे हैं. यह सिलसिला लंबे समय से चल रहा है. हालांकि उन्होंने स्वीकार किया कि कुछ जांच लंबित है. उनके बारे में भी हमने चर्चा की है और जल्द ही निष्पक्ष जांच करेंगे व जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ कार्रवाई करेंगे.

RAS एग्जाम के जरिए भरे जाएंगे स्वायत्त शासन विभाग के पद: कोटा डेवलपमेंट अथॉरिटी में खाली पड़े पदों के संबंध में उन्होंने कहा कि पहले विभाग ने की गई भर्ती के संबंध में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो में एक प्रकरण दर्ज किया था. आरपीएससी और एसीबी के बीच यह प्रकरण विचाराधीन है. हमने दोनों विभागों को कहा है कि या तो इस मामले में क्लीनचिट दी जाए, ताकि अधिकारियों को नियुक्ति दी जा सके, या फिर इसको निरस्त करने की कार्रवाई की जाए, ताकि नए सिरे से भर्ती की जा सके. उन्होंने कहा कि हम आरपीएससी की आयोजित राजस्थान प्रशासनिक सेवा की एलाइड सर्विसेज के जरिए ही अधिकारी वर्ग की भर्ती करने की योजना बना रहे हैं.

रिवरफ्रंट पर ग्रीनरी नहीं, इसीलिए जाने से बचते है लोग: सिटी पार्क व रिवरफ्रंट पर काफी काम बाकी होने के सवाल पर मंत्री खर्रा ने कहा कि जितना पैसा खर्च हुआ है, उसके मुताबिक काम नहीं हो पाया है. कोटा विकास प्राधिकरण और दोनों नगर निगम की आर्थिक स्थिति भी दयनीय है. साल भर में हम इस आर्थिक स्थिति को सुधारने का प्रयास करेंगे. उसके बाद दोनों जगह पर बकाया काम करवाया जाएगा. रिवर फ्रंट पर ग्रीनरी नहीं है, इसलिए लोग वहां जाने से बचते हैं. दूसरे फेज का काम आर्थिक स्थिति ठीक होने के बाद ही हो पाएगा.

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