पटना: राजधानी पटना के ज्ञान भवन में आगामी 19 और 20 दिसंबर को दो दिवसीय बिहार बिजनेस कनेक्ट 2024 का आयोजन होने जा रहा है. उद्योग विभाग की ओर से आयोजित होने वाले इस कार्यक्रम में देश विदेश के टॉप 80 इंडस्ट्रीज के सीईओ शामिल होंगे. इन सीईओएस के साथ उद्योग विभाग के अधिकारी वन-टू-वन वार्ता करेंगे. बड़े उद्योगपति बिहार में निवेश क्यों करें और यहां निवेशकों के लिए क्या माहौल और नीति है, इस संबंध में अधिकारी निवेशकों को जानकारी देंगे.
कई क्षेत्रों के उद्यमी पहुंचेंगे कार्यक्रम में: बीबीसी-2024 के आयोजन को लेकर उद्योग विभाग के मंत्री नीतीश मिश्रा ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की. जिसमें उद्योग विभाग के निदेशक और विभाग की अपर मुख्य सचिव भी मौजूद रहीं. मंत्री नीतीश मिश्रा ने बताया कि दो दिवसीय बिहार बिजनेस कनेक्ट के कार्यक्रम में विभिन्न क्षेत्र विशेष के इंडस्ट्रियलिस्ट आएंगे. कपड़ा उद्योग, चमड़ा उद्योग, बायोफ्यूल, लॉजिस्टिक्स, आईटी और नवीकरणीय ऊर्जा जैसे उच्च क्षमता वाले उद्योगों के प्रतिनिधि आएंगे.
"बिहार बिजनेस कनेक्ट में इस बार इससे काफी अधिक निवेश की संभावनाएं हैं. बिहार के क्षेत्र विशेष में निवेश की स्वीकृति प्रदान करेंगे. पिछली बार के बिजनेस कनेक्ट में 50530 करोड़ रुपए का 278 एमओयू साइन हुआ था, इसमें 244 परियोजनाओं में लगभग 38000 करोड़ राशि की योजनाएं धरातल पर क्रियान्वित हो चुकी हैं."- नीतीश मिश्रा, मंत्री, उद्योग विभाग
बिहार में निवेश की अपार संभावनाएं: उद्योग मंत्री ने कहा कि डोभी के क्षेत्र में 1648 एकड़ जमीन का अधिग्रहण औद्योगिक क्षेत्र के लिए किया गया है. बिहार न्यू इंडस्ट्रियल एरा में आगे बढ़ रहा है और बिहार को स्पेशल इकोनामिक जोन भी केंद्र से मिला है. उद्योग विभाग का प्रयास है कि निवेशक बिहार के सभी 38 जिलों में अपने अनुसार निवेश करें. लोगों की शिकायत रहती थी. पटना केंद्रित निवेश हो रहे हैं लेकिन किशनगंज, कटिहार जैसे जिलों में निवेश के लिए भी निवेशक आ रहे हैं. इन जिलों में चमड़ा उद्योग की अपार संभावनाएं हैं. पर्यटन के क्षेत्र में भी निवेश की काफी संभावनाएं हैं.
औद्योगिक क्षेत्र बढ़ाने के लिए जमीन अधिग्रहण: मंत्री नीतीश मिश्रा ने कहा कि प्रदेश के 31 जिले में औद्योगिक क्षेत्र थे और सात जिलों में नहीं थे. जिन जिलों में औद्योगिक क्षेत्र थे वहां भी अब क्षेत्र कम पर रहे हैं. ऐसे में उद्योग विभाग प्रदेश के सभी 38 जिलों में जमीन के अधिग्रहण का काम कर रहा है, ताकि उस जमीन को इंडस्ट्रियल एरिया के लिए विकसित कर सके.
विकसित भारत के साथ-साथ विकसित बिहार: नीतीश मिश्रा ने कहा कि जो निवेशक आ रहे हैं, उनमें बायोफ्यूल और रिन्यूएबल एनर्जी के भी बड़े निवेशक हैं. जिसमें निवेश बड़ा होता है और अधिक लोगों को रोजगार नहीं मिलता. इसके साथ ही चमड़ा और कपड़ा उद्योग के वैसे निवेशक भी आ रहे हैं, जिसमें निवेश कम होता है और बहुत अधिक लोगों को रोजगार मिलता है. उनका प्रयास है कि प्रदेश में संतुलित रूप में औद्योगिक विकास हो और विकसित बिहार के साथ 2047 में विकसित भारत का सपना साकार हो.
टॉप 80 कंपनियों के सीईओ मौजूद रहेंगे: वहीं, उद्योग विभाग की सचिव वंदना प्रेयसी ने बताया कि इस दो दिवसीय बिहार बिजनेस कनेक्ट कार्यक्रम का उद्घाटन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार करेंगे. अभी तक सीईओ राउंड टेबल मीट के लिए 80 इंडस्ट्रियलिस्ट का चयन हुआ है लेकिन यह संख्या और बढ़ सकती है. इसके अलावा सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्योग से लगभग 1200 निवेशक भौतिक रूप से कार्यक्रम में मौजूद रहेंगे, जो बिहार में निवेश के लिए तैयार हैं. इसके अलावा वर्चुअल रूप से भी कई निवेशक मौजूद रहेंगे और कुल मिलाकर फिजिकल और वर्चुअल रूप में 5000 निवेशक कार्यक्रम में मौजूद रहेंगे.
नई उद्योग नीति की भी तैयार होगी रूपरेखा: वंदना प्रेयसी बताया कि उद्योग का दायरा बढ़ा है और अभी जो उद्योग नीति चल रही है, वह 2016 की है. मेडिकल ड्रग मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर के भी कई निवेशक बिहार में निवेश के लिए तैयार हैं. फूड प्रोसेसिंग के भी कई बड़े निवेशक बिहार में निवेश करना चाहते हैं. इसके अलावा रिन्यूएबल एनर्जी में भी निवेशकों की संख्या बढ़ी है.
"एक नए अत्यधिक उद्योग नीति भी इस बिजनेस कनेक्ट के माध्यम से तैयार करने में मदद मिलेगी. जहां एक छत के नीचे सभी क्षेत्र के उद्योगों को सुविधा मिले. इस कार्यक्रम में रिन्यूएबल पदार्थ का इस्तेमाल होगा और प्लास्टिक मटेरियल का बिल्कुल इस्तेमाल नहीं होगा. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कार्यक्रम का शुभारंभ करेंगे."- वंदना प्रेयसी, सचिव, उद्योग विभाग
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