जयपुर : पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार हो या वर्तमान बीजेपी सरकार, सभी ने शिक्षकों के लिए तबादला नीति बनाने की बात की, लेकिन आज तक तबादला नीति लागू नहीं हो पाई. बीते दिनों शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने भी ट्रांसफर पॉलिसी बनाने की घोषणा की थी, लेकिन वह अब तक केवल कागजों तक ही सीमित है. ऐसे में अब शिक्षकों ने स्थायी और पारदर्शी ट्रांसफर पॉलिसी जारी करने की मांग करते हुए विधानसभा पर प्रदर्शन करने की चेतावनी दी है.
डीपीसी जल्द करने की मांग : वर्तमान बीजेपी सरकार के एक वर्ष से अधिक का कार्यकाल पूरा हो जाने के बाद भी पारदर्शी और स्थायी शिक्षक तबादला नीति जारी नहीं होने से शिक्षकों में रोष व्याप्त है. रविवार को राजस्थान शिक्षक संघ (सियाराम) के संरक्षक मंडल व स्थायी समिति के सदस्यों ने ट्रांसफर और डीपीसी जैसे मुद्दों पर मंथन किया. संगठन के महामंत्री नवीन कुमार शर्मा ने बताया कि संगठन के पदाधिकारियों ने वरिष्ठ अध्यापक से व्याख्याता और उप प्राचार्य से प्राचार्य पद पर बड़े पैमाने पर डीपीसी किए जाने पर शिक्षा मंत्री का आभार जताया. साथ ही, बीते सत्रों की रिव्यू डीपीसी, थर्ड ग्रेड से सेकंड ग्रेड के 4 वर्षों की बकाया डीपीसी और सेकंड ग्रेड से फर्स्ट ग्रेड की 2 वर्षों की बकाया डीपीसी जल्द करने की मांग की है.
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वहीं, संगठन के प्रदेश प्रवक्ता मुकेश कुमार मीणा ने बताया कि नव-क्रमोन्नत उच्च माध्यमिक विद्यालयों में व्याख्याता के पदों की वित्तीय स्वीकृति प्रदान करने, प्रबोधक, शिक्षकों की वेतन विसंगति दूर करने और ट्रांसफर पॉलिसी जारी कर शिक्षकों की प्रतीक्षा समाप्त करने की मांग राज्य सरकार से की गई है. संगठन की संघर्ष समिति के संयोजक उम्मेद सिंह डूडी ने बताया कि शिक्षकों की प्रमुख मांगों के प्रति सरकार की उदासीनता के कारण संगठन ने आगामी दिनों में विधानसभा पर विशाल प्रदर्शन करने का एलान किया है. इस प्रदर्शन में राज्यभर से 10 हजार से अधिक शिक्षक भाग लेंगे.