लखनऊ: राजधानी के रमाबाई मैदान में चार जून को मतगणना होनी है. इसको लेकर जिला प्रशासन और लखनऊ पुलिस ने सुरक्षा से संबंधित पूरी तैयारियां कर ली है. इस बीच सुरक्षा का जिम्मा समाजवादी पार्टी के नेताओं ने भी उठा लिया है. रमाबाई मैदान में आने वाली हर सरकारी और निजी गाड़ियों को सपा कार्यकर्ता रोक-रोक कर चेक कर रहे हैं.
गाड़ी के अंदर यदि कोई बैग या बक्सा मिल रहा, तो उसे खोल कर देखने के बाद ही गाड़ी को मैदान के अंदर जाने दे रहे हैं. क्योंकि एक जून को लोकसभा चुनाव के सातवें चरण का मतदान होने के बाद सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अपने सभी कार्यकर्ताओं से स्ट्रॉन्ग रूम की निगरानी करने की अपील की थी. रविवार को भी अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा है कि Exit Poll का आधार EVM नहीं DM है. प्रशासन याद रखे जनशक्ति से बड़ा बल और कोई नहीं होता.
देश में सात चरणों में हुए लोकसभा चुनाव समाप्त हो चुका है. राजनीतिक दलों की किस्मत ईवीएम मशीन में कैद हो चुकी है और ये मशीनें स्ट्रॉन्ग रूम तक भी पहुंच चुकी है. चुनाव खत्म होते ही सभी राजनीतिक दल खासकर समाजवादी पार्टी ने अपने कार्यकर्ताओं को ईवीएम के प्रति सतर्कता बरतने के लिए कहा था. लिहाजा लखनऊ में गिनती के दिन किसी भी प्रकार की कोई गड़बड़ी न हो सके, इसके लिए सपा के नेता रमाबाई मैदान में आने वाली हर गाड़ी को चेक कर रहे हैx.
दरअसल, अंतिम चरण यानी कि सातवें चरण का मतदान होने के बाद एग्जिट पोल सामने आए थे, जिसके बाद समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया से अपने कार्यकर्ताओं से अपील की थी. एग्जिट पोल की क्रोनोलॉजी समझिए:
- विपक्ष ने पहले ही घोषित कर दिया था कि भाजपाई मीडिया बीजेपी को 300 पार दिखाएगा, जिससे घपला करने की गुंजाइश बन सके.
- आज का ये भाजपाई एग्जिट पोल कई महीने पहले ही तैयार कर लिया गया था. बस चैनलों ने चलाया आज है.
- इस एक्जिट पोल के माध्यम से जनमत को धोखा दिया जा रहा है.
- इस एक्जिट पोल को आधार बनाकर भाजपाई सोमवार को खुलनेवाले शेयर बाजार से जाते-जाते लाभ उठाना चाहते हैं.
- अगर ये एक्जिट पोल झूठे न होते और सच में भाजपा हार न रही होती तो भाजपा वाले अपनों पर ही इल्जाम न लगाते.
- भाजपाइयों के मुरझाए चेहरे सारी सच्चाई बयान कर रहे हैं.
- भाजपाई ये समझ रहे हैं कि पूरे देश का परिणाम चंडीगढ़ के मेयर के चुनाव की तरह बदला नहीं जा सकता है, क्योंकि इस बार विपक्ष पूरी तरह से सजग है और जनाक्रोश भी चरम पर है.
- भाजपा से मिले हुए भ्रष्ट अधिकारी भी सर्वोच्च न्यायालय की सक्रियता देखकर धांधली करने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं. साथ ही वो जनता के क्रोध का भी शिकार नहीं होना चाहते हैं.
इंडिया गठबंधन के सभी कार्यकर्ता, पदाधिकारी और प्रत्याशी ईवीएम की निगरानी में एक प्रतिशत भी चूक न करें. इंडिया गठबंधन जीत रहा है. इसीलिए चौकन्ने रहकर मतगणना कराएं और जीत का प्रमाणपत्र लेकर ही विजय का उत्सव मनाएं.
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