जयपुर : भांकरोटा के पास शुक्रवार सुबह हुए हादसे में अब तक 14 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि करीब 7 की हालत अभी भी नाजुक बताई जा रही है. इनका इलाज एसएमएस अस्पताल में चल रहा है. शनिवार सुबह कांग्रेस नेता सचिन पायलट भी पीड़ितों का कुशलक्षेम लेने पहुंचे. साथ ही इस हादसे की जांच और कारण का खुलासा होने की बात कही. साथ ही जांच रिपोर्ट हर बार की तरह ठंडे बस्ते में डालने की जगह जिम्मेदारी तय हो.
हादसे के कारण की जांच की जाए : शनिवार को एआईसीसी के जनरल सेक्रेटरी सचिन पायलट पीड़ितों से मिलने एसएमएस अस्पताल पहुंचे. पायलट ने इस मामले की निष्पक्ष जांच करवाने की मांग रखी. पायलट ने कहा कि इस हादसे में 14 लोगों की जान गई, ये इतना भयानक हादसा हुआ जिसकी कल्पना नहीं की जा सकती. बहुत से लोग घायल हैं, कुछ आईसीयू में हैं, कुछ क्रिटिकल हैं, जिन्हें बेस्ट पॉसिबल मेडिकल ट्रीटमेंट दिया जा रहा है. इस हादसे से सभी दुखी हैं, लेकिन किन कारणों से इतना बड़ा हादसा हुआ इसकी जांच की जाए.
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उन्होंने कहा कि ट्रैफिक नियम, रोड कंस्ट्रक्शन, इनकंप्लीट कंस्ट्रक्शन, हाईवे पर बरती जाने वाली सावधानी का विषय है, सभी का अध्ययन करना होगा. जैसे-जैसे आबादी बढ़ रही है, यातायात के साधन बढ़ रहे हैं, इस तरह से एक्सीडेंट भी बढ़ रहे हैं. ये केवल राजस्थान में नहीं पूरे देश में बढ़ रहे हैं. सरकारों को इस पर बड़ी गंभीरता से ध्यान देना होगा कि सेफ्टी नॉर्म्स को फॉलो कर रहे हैं या नहीं.
राज्य के साथ ही केंद्र सरकार भी दें सहायता : पायलट ने कहा कि उस जंक्शन पर हमेशा ही जाम लगता था, वो भी उस जाम में फंस चुके हैं. किसी ने कल्पना नहीं की थी कि ऐसा हादसा होगा. अगर ऐसी घटनाओं से बचना है तो बहुत सावधानी बरतनी पड़ेगी. हादसे का शिकार हुए लोगों की जितनी सहायता हो, वो करनी चाहिए. राज्य सरकार के साथ-साथ केंद्र सरकार को भी इस मामले में आर्थिक सहायता को लेकर देखना चाहिए.
पायलट ने कहा कि ऐसे बहुत से पॉइंट हैं, जहां पर एक्सीडेंट होते हैं. हर साल मौते बढ़ रही है. एक्सीडेंट को रोक नहीं पा रहे हैं. हाईवे बना रहे हैं, स्टेट हाईवे बना रहे हैं, सड़के बना रहे हैं, गाडियां लाखों बिक रही हैं, लेकिन जिस लापरवाही से लोग अपना जीवन बिता रहे हैं, आने वाले समय के लिए ठीक नहीं है. इस दौरान सचिन पायलट के साथ विधायक मनीष यादव, विधायक प्रशांत शर्मा और कई पूर्व विधायक भी पहुंचे.
अस्पताल प्रशासन का ये है कहना : एसएमएस अस्पताल अधीक्षक डॉ. सुशील भाटी ने बताया कि यहां 42 पीड़ित पहुंचे थे. इनमें से आठ की मौत हो चुकी है. एक मौत जयपुरिया अस्पताल में हुई है. ऐसे में अब तक 14 मौत हो चुकी है. इनमें से अधिकतर को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया है. वर्तमान में बर्न वार्ड में 24 पीड़ित एडमिट हैं. इनमें से करीब सात मरीज क्रिटिकल कंडीशन में हैं, जिन्हें बेस्ट पॉसिबल ट्रीटमेंट दिया जा रहा है. उन्होंने बताया कि एसएमएस अस्पताल में जो आठ मौत हुई है, उन सभी की शिनाख्त हो गई थी. जो पांच डेड बॉडी लाई गई थी, इनमें से एक की शिनाख्त हो चुकी है, जबकि बाकी का डीएनए के जरिए उनकी पहचान करने की कोशिश की जा रही है.