शिमला: हिमाचल प्रदेश विधानसभा बजट सत्र में मंगलवार को सत्ता पक्ष और विपक्ष में जमकर सदन में हंगामा किया भोजन अवकाश के बाद विपक्ष सदन में पहुंचा, लेकिन न तो विधानसभा अध्यक्ष और न ही सत्ता पक्ष की तरफ से कोई विधायक बैठा हुआ था. जिस पर विपक्ष ने सवाल खड़े कर दिए और सदन में हंगामा शुरू कर दिया. सदन में हंगामा देख स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने हाउस को कल तक के लिए स्थगित कर दिया है. इसके बाद विपक्ष स्पीकर के चेंबर में जा पहुंचा. नेता प्रतिपक्ष ने दावा किया जब वह स्पीकर से मिलने उनके चेंबर में जा रहे थे तो उस दौरान मार्शल लगाकर गला तक हाथ दिया गया.
जयराम ठाकुर ने कहा कि इससे पहले हिमाचल विधानसभा में ऐसा कभी नहीं हुआ. मार्शल लगाकर विपक्ष के साथ दुर्व्यवहार किया गया. विपक्ष ने लंच से पहले हाउस में कट-मोशन पर वोट डिवीजन की मांग की थी. स्पीकर ने वाइस वोट कराया और सदन को लंच तक स्थगित किया. लंच के बाद सत्तापक्ष और विपक्ष दोनों ओर से सदन में नारेबाजी हुई. इसे देखते हुए स्पीकर ने कल सुबह 11 बजे तक हाउस को स्थगित किया. मौजूदा बजट सत्र में पहली बार ऐसी नौबत आई है कि हंगामे के बीच हाउस को स्थगित करना पड़ा है.
'हिमाचल सरकार अपना बहुमत खो चुकी है'
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि स्पीकर ने बिना सुने सदन को स्थगित किया है. यह नियमों का उल्लंघन है. उन्होंने कहा कि नियमों के हिसाब से अगर वाइस वोट से क्लैरिटी नहीं होती तो डिवीजन मांगा जाता है. सदन में आज उनके सदस्य की संख्या ज्यादा थी और सत्तापक्ष के भी बहुत सारे लोगों के उसमें शामिल होने की संभावना थी. मगर स्पीकर ने डिवीजन नहीं दिया. यह दुर्भाग्यपूर्ण है. जयराम ठाकुर ने कहा कि हिमाचल सरकार अपना बहुमत खो चुकी है. उन्होंने मुख्यमंत्री सुक्खू से त्यागपत्र देने की मांग की. एक सवाल के जवाब में जयराम ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस के बहुत सारे विधायक उनके संपर्क में हैं. जयराम ठाकुर ने कहा कि फाइनेंशियिल बिल पास नहीं होता तो सरकार गिर जाती है.
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