उदयपुर. राज्यसभा चुनाव को लेकर भाजपा ने सोमवार रात को राजस्थान से दो उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है. उदयपुर से चुन्नीलाल गरासिया और मदन राठौड़ को अपना उम्मीदवार बनाया है. उम्मीदवार बनाए जाने के बाद चुन्नीलाल गरासिया ने पहली प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि भाजपा के नेतृत्व का आभार जिन्होंने मुझे यह मौका दिया है. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का आभार जताया है. गरासिया ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने जो मुझ पर विश्वास जताया है, उस पर मैं खरा उतरूंगा.
चुन्नीलाल गरासिया भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता हैं. वागड़ (बांसवाड़ा-डूंगरपुर) निवासी गरासिया मेवाड़ और वागड़ के सबसे बड़े आदिवासी चेहरे हैं. यही नहीं, वर्तमान में बीजेपी के जनजातीय मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष भी हैं. लोकसभा चुनाव आने वाले हैं. मेवाड़ और वागड़ में 4 लोकसभा सीट हैं. इसमें से उदयपुर लोकसभा सीट से वर्तमान में अर्जुन लाल मीणा सांसद हैं. उदयपुर लोकसभा सीट जनजाति आरक्षित है. यहां अर्जुन लाल मीणा अगली बार लोकसभा चुनाव लड़ने से मना कर चुके हैं. बीजेपी यहां से जनजतीय चेहरा देख रही है, जिसमें अब तक सबसे पहले नंबर पर चुन्नीलाल गरासिया का ही नाम चर्चाओं में चल रहा था. अब चुन्नीलाल को राज्यसभा में भेजने की तैयारी की जा रही है.
पूर्ववर्ती भाजपा सरकारों में रह चुके मंत्री : चुन्नीलाल गरासिया पूर्व मुख्यमंत्री भैरो सिंह शेखावत और वसुंधरा सरकार में राज्य मंत्री रह चुके हैं. वो भारतीय जनता पार्टी के लगातार तीन बार से प्रदेश उपाध्यक्ष भी हैं. साथ ही, बीजेपी जनजाति मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष भी हैं. 90 के दशक में उदयपुर ग्रामीण विधानसभा से वो दो बार विधायक रह चुके हैं.
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एलडीसी रह चुके हैं गरासिया : चुन्नीलाल गरासिया उदयपुर ग्रामीण से 2 बार विधायक रह चुके हैं. वे भेरूसिंह शेखावत की सरकार में पहली बार विधायक बनते ही चिकित्सा राज्य मंत्री और खान राज्य मंत्री भी रहे थे. गरासिया मूल रूप से डूंगरपुर के बिलुडा गांव के रहने वाले हैं. राजनीति में आने से पहले चुन्नीलाल गरासिया बैंक में एलडीसी हुआ करते थे. गरासिया संघ पृष्ठभूमि में काफी मजबूत माने जाते हैं. वे संघ के तृतीय वर्षीय स्वयंसेवक प्रशिक्षित हैं.
गरासिया संघ पदाधिकारियों के काफी करीबी भी हैं. वर्तमान में वो बीजेपी के एसटी मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष भी हैं. गरासिया ने 2018 और 2023 के विधानसभा चुनाव में उदयपुर ग्रामीण और गोगुंदा से विधायक के लिए दावेदारी की थी लेकिन दोनों जगहों से उन्हें टिकट नहीं मिला था. 2024 के लोकसभा चुनाव में भी उदयपुर लोकसभा सीट के लिए बीजेपी से उन्हें प्रमुख दावेदार माना जा रहा था.