जयपुर: राजस्थान हाईकोर्ट ने साल 2022 की तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती लेवल-2 के विवादित प्रश्नों से जुडे मामले में संशोधित परिणाम जारी करने पर लगी अपनी रोक को हटा लिया है. इसके साथ ही अदालत ने कहा कि पूर्व में नियुक्त हो चुके शिक्षक संशोधित परिणाम से प्रभावित नहीं होंगे. सीजे एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस आशुतोष कुमार की खंडपीठ ने यह आदेश सरिता कुमारी व कन्हैयालाल सहित अन्य की ओर से दायर अपील पर सुनवाई करते हुए दिए. खंडपीठ ने गत 14 नवंबर को विवादित प्रश्नों की विशेषज्ञ कमेटी से जांच कर उसके आधार पर संशोधित परिणाम जारी करने के संबंध में एकलपीठ की ओर से दिए आदेश पर रोक लगा दी थी.
अपील में अधिवक्ता हिमांशु जैन ने अदालत को बताया कि एकलपीठ ने 6 दिसंबर, 2023 को भर्ती में कुछ विवादित प्रश्नों से जुडी याचिका पर सुनवाई करते हुए कर्मचारी चयन बोर्ड को विशेषज्ञ कमेटी गठित कर प्रश्नों का पुन: परीक्षण करने को कहा था. इसके साथ ही अदालत ने कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर परीक्षा परिणाम को संशोधित करने के निर्देश दिए थे. इसे चुनौती देते हुए कहा किया करीब 27 हजार पदों की इस भर्ती में करीब 25 हजार अभ्यर्थी कार्य ग्रहण कर चुके हैं.
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इसके अलावा एकलपीठ ने खुद के आदेश में भर्ती की मेरिट पर कोई बात नहीं की. एकलपीठ ने चयन बोर्ड की ओर से प्रश्नों के मूल्यांकन की बात को आधार मानकर विशेषज्ञ कमेटी की रिपोर्ट पर संशोधित परिणाम का निर्देश दिया है. इसके अलावा अपीलार्थी एकलपीठ के समक्ष पक्षकार नहीं थे. एकलपीठ के आदेश से अपीलार्थियों के हित प्रभावित हो रहे हैं. ऐसे में एकलपीठ के आदेश पर रोक लगाई जाए. जिस पर सुनवाई करते हुए खंडपीठ ने गत 14 नवंबर को एकलपीठ के आदेश की क्रियान्विति पर रोक लगाते हुए कर्मचारी चयन बोर्ड से जवाब मांगा था. वहीं, मंगलवार को खंडपीठ ने कर्मचारी चयन बोर्ड के पक्ष को सुनने के बाद पूर्व में लगाई अपनी रोक को हटा लिया है.