लखनऊ: लोक निर्माण विभाग की एक महिला कर्मचारी की मौत 2020 में हुई थी. कोरोना काल में मृत्यु होने की वजह से अधिकांश लोगों तक यह सूचना पहुंची कि मौत कोविड से हुई है. लेकिन बात छिपी नहीं और शिकायत हुई कि महिला का यौन शोषण करने के साथ टॉर्चर किया, जिससे उसकी मृत्यु हुई. अब इस मामले में हत्या और यौन शोषण की जांच शुरू की गई. विभागीय जांच के बाद यह पाया गया कि मामला अपराधिक है. इस मामले में कर्मचारी नेताओं को भी आरोपी बनाया गया है. इसलिए गृह विभाग के जरिए यह जांच करवाई जाएगी. इस मामले में लोक निर्माण विभाग के कुछ कर्मचारियों पर कड़ी कार्रवाई की जा सकती है.
पीडब्ल्यूडी में कोविड के दौरान हुई वरिष्ठ महिला कर्मचारी की मौत की जांच गृह विभाग करवाएगा. इस प्रकरण में विभागीय यूनियन के पदाधिकारियों पर दुष्कर्म के बाद हत्या करने का आरोप है. विभागीय कमेटी ने मामले की जांच पुलिस से कराने की संस्तुति की थी. इस पर पीडब्ल्यूडी के सचिव गुर्राला श्रीनिवासुलु ने अपर मुख्य सचिव गृह को जांच कराकर रिपोर्ट उपलब्ध कराने के लिए पत्र भेज दिया है. उन्होंने बताया कि यह मामला विभागीय जांच और कार्रवाई से आगे निकलकर पुलिस की जड़ में आ चुका है. इसलिए पुलिस ही इस पूरे प्रकरण की जांच करके रिपोर्ट देगी.
सूत्रों के मुताबिक पीडब्ल्यूडी मुख्यालय में तैनात वरिष्ठ महिला सहायक की मौत 2020 में हुई थी. तब इसे कोविड से स्वाभाविक मौत बताया गया था. इस बीच विभाग के अधिकारियों से ही शिकायत की गई थी कि दो क्लर्क ने महिला का यौन शोषण किया. इससे वह गर्भवती हुई. जब महिला ने एक क्लर्क पर शादी के लिए दबाव बनाया तो गर्भपात करा दिया गया. इतना ही नहीं बिजली का करंट भी दिया गया. इस प्रताड़ना से महिला कर्मचारी की मौत हो गई. शिकायत की प्राथमिक जांच पीडब्ल्यूडी के अधीक्षण अभियंता 11वें वृत्त की अध्यक्षता में गठित तीन सदस्यीय समिति को सौंपी गई थी. समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि प्रकरण आपराधिक प्रकृति का होने कारण जांच स्वतंत्र एजेंसी या पुलिस विभाग को भेजने पर विचार किया.
लखनऊ में PWD महिला कर्मचारी की मौत; 4 साल बाद भी नहीं सुलझी गुत्थी, अब हत्या की होगी जांच - LUCKNOW NEWS
कोविड से बताई थी PWD महिला कर्मचारी की मौत, गृह विभाग कराएगा जांच, कर्मचारी नेताओं पर लगा गंभीर आरोप
By ETV Bharat Uttar Pradesh Team
Published : 3 hours ago
लखनऊ: लोक निर्माण विभाग की एक महिला कर्मचारी की मौत 2020 में हुई थी. कोरोना काल में मृत्यु होने की वजह से अधिकांश लोगों तक यह सूचना पहुंची कि मौत कोविड से हुई है. लेकिन बात छिपी नहीं और शिकायत हुई कि महिला का यौन शोषण करने के साथ टॉर्चर किया, जिससे उसकी मृत्यु हुई. अब इस मामले में हत्या और यौन शोषण की जांच शुरू की गई. विभागीय जांच के बाद यह पाया गया कि मामला अपराधिक है. इस मामले में कर्मचारी नेताओं को भी आरोपी बनाया गया है. इसलिए गृह विभाग के जरिए यह जांच करवाई जाएगी. इस मामले में लोक निर्माण विभाग के कुछ कर्मचारियों पर कड़ी कार्रवाई की जा सकती है.
पीडब्ल्यूडी में कोविड के दौरान हुई वरिष्ठ महिला कर्मचारी की मौत की जांच गृह विभाग करवाएगा. इस प्रकरण में विभागीय यूनियन के पदाधिकारियों पर दुष्कर्म के बाद हत्या करने का आरोप है. विभागीय कमेटी ने मामले की जांच पुलिस से कराने की संस्तुति की थी. इस पर पीडब्ल्यूडी के सचिव गुर्राला श्रीनिवासुलु ने अपर मुख्य सचिव गृह को जांच कराकर रिपोर्ट उपलब्ध कराने के लिए पत्र भेज दिया है. उन्होंने बताया कि यह मामला विभागीय जांच और कार्रवाई से आगे निकलकर पुलिस की जड़ में आ चुका है. इसलिए पुलिस ही इस पूरे प्रकरण की जांच करके रिपोर्ट देगी.
सूत्रों के मुताबिक पीडब्ल्यूडी मुख्यालय में तैनात वरिष्ठ महिला सहायक की मौत 2020 में हुई थी. तब इसे कोविड से स्वाभाविक मौत बताया गया था. इस बीच विभाग के अधिकारियों से ही शिकायत की गई थी कि दो क्लर्क ने महिला का यौन शोषण किया. इससे वह गर्भवती हुई. जब महिला ने एक क्लर्क पर शादी के लिए दबाव बनाया तो गर्भपात करा दिया गया. इतना ही नहीं बिजली का करंट भी दिया गया. इस प्रताड़ना से महिला कर्मचारी की मौत हो गई. शिकायत की प्राथमिक जांच पीडब्ल्यूडी के अधीक्षण अभियंता 11वें वृत्त की अध्यक्षता में गठित तीन सदस्यीय समिति को सौंपी गई थी. समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि प्रकरण आपराधिक प्रकृति का होने कारण जांच स्वतंत्र एजेंसी या पुलिस विभाग को भेजने पर विचार किया.