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चारधाम यात्रा मार्गों से बसों को हटाने का विरोध शुरू, यातायात समिति ने आंदोलन की दी चेतावनी - Chardham Yatra 2024 - CHARDHAM YATRA 2024

Uttarakhand Chardham Yatra 2024 जहां एक ओर चारधाम यात्रा के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है, वहीं दूसरी ओर चारधाम यात्रा मार्गों से बसों को हटाने का विरोध शुरू हो गया है.संयुक्त रोटेशन व्यवस्था समिति ने इसे मनमानी बताते हुए आंदोलन करने की चेतावनी दी है.

Protest begins against removal of buses from Chardham Yatra routes
चारधाम यात्रा मार्गों से बसों को हटाने को लेकर समिति मुखर (फोटो-ईटीवी भारत)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Jun 19, 2024, 12:51 PM IST

ऋषिकेश: चारधाम यात्रा मार्ग से बड़ी बसों को हटाने के विचार का विरोध शुरू हो गया है. चारधाम यात्रा संचालित करने वाली संयुक्त रोटेशन व्यवस्था समिति ने सबसे पहले अपना विरोध जताया है. समिति के पदाधिकारियों ने प्रशासन से बड़ी बसों को यात्रा मार्ग पर यथावत चलाते रहने की मांग की है.

बता दें कि संभागीय परिवहन विभाग ने चारधाम यात्रा मार्ग पर लग रहे जाम का कारण बड़ी बसों को माना है. इसलिए प्रशासन का विचार है कि वह बड़ी बसों को धीरे-धीरे चारधाम यात्रा मार्ग से हटाकर उनकी जगह छोटे वाहनों को बढ़ावा दें. बस यही विचार चारधाम यात्रा संचालित करने वाली रोटेशन व्यवस्था समिति को अच्छा नहीं लगा है. इसलिए उन्होंने इस विचार का विरोध किया है. समिति का कहना है कि वर्ष 1943 से लगातार यात्रा मार्ग पर रोटेशन व्यवस्था समिति ही देश दुनिया के श्रद्धालुओं को यात्रा कराती आई है. सरकारी मशीनरी भी समिति के बसों को ही सपोर्ट करती रही है.

लेकिन वर्तमान में लगातार बढ़ रही भीड़ को देखते हुए प्रशासन बड़ी बसों को जाम का कारण मान रहा है. इस समस्या के समाधान के लिए प्रशासन छोटी बसों को यात्रा मार्ग पर चलाने का विचार विमर्श कर है. संयुक्त रोटेशन व्यवस्था समिति के अध्यक्ष नवीन रमोला ने बताया कि प्रशासन का यह विचार उत्तराखंड के लोगों के साथ अन्याय है. यह राज्य के परंपरागत व्यवसाय को खत्म करने का विचार है. जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. जरूरत पड़ने पर पर्वतीय जन बचाओ आंदोलन करने का आह्वान किया जाएगा. जिसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन की होगी. इस संबंध में सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी को ज्ञापन भी दे दिया गया है.

पढ़ें-चारधाम यात्रा को लेकर बड़ी खबर, श्रद्धालुओं की संख्या की लिमिट खत्म

ऋषिकेश: चारधाम यात्रा मार्ग से बड़ी बसों को हटाने के विचार का विरोध शुरू हो गया है. चारधाम यात्रा संचालित करने वाली संयुक्त रोटेशन व्यवस्था समिति ने सबसे पहले अपना विरोध जताया है. समिति के पदाधिकारियों ने प्रशासन से बड़ी बसों को यात्रा मार्ग पर यथावत चलाते रहने की मांग की है.

बता दें कि संभागीय परिवहन विभाग ने चारधाम यात्रा मार्ग पर लग रहे जाम का कारण बड़ी बसों को माना है. इसलिए प्रशासन का विचार है कि वह बड़ी बसों को धीरे-धीरे चारधाम यात्रा मार्ग से हटाकर उनकी जगह छोटे वाहनों को बढ़ावा दें. बस यही विचार चारधाम यात्रा संचालित करने वाली रोटेशन व्यवस्था समिति को अच्छा नहीं लगा है. इसलिए उन्होंने इस विचार का विरोध किया है. समिति का कहना है कि वर्ष 1943 से लगातार यात्रा मार्ग पर रोटेशन व्यवस्था समिति ही देश दुनिया के श्रद्धालुओं को यात्रा कराती आई है. सरकारी मशीनरी भी समिति के बसों को ही सपोर्ट करती रही है.

लेकिन वर्तमान में लगातार बढ़ रही भीड़ को देखते हुए प्रशासन बड़ी बसों को जाम का कारण मान रहा है. इस समस्या के समाधान के लिए प्रशासन छोटी बसों को यात्रा मार्ग पर चलाने का विचार विमर्श कर है. संयुक्त रोटेशन व्यवस्था समिति के अध्यक्ष नवीन रमोला ने बताया कि प्रशासन का यह विचार उत्तराखंड के लोगों के साथ अन्याय है. यह राज्य के परंपरागत व्यवसाय को खत्म करने का विचार है. जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. जरूरत पड़ने पर पर्वतीय जन बचाओ आंदोलन करने का आह्वान किया जाएगा. जिसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन की होगी. इस संबंध में सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी को ज्ञापन भी दे दिया गया है.

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