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पीएमटी हॉस्टल छात्र और आदिम जाति कल्याण विभाग के अधिकारी आमने सामने, जानिए क्या है पूरा मामला - DEMAND OF PMT HOSTEL STUDENTS

पीएमटी हॉस्टल छात्रों ने 5 दिन के अंदर अधिकारी पर कार्रवाई की मांग की है. अधिकारी कर्मचारी ने कहा कि कार्रवाई हुई तो आंदोलन करेंगे.

PMT hostel students
छात्र और विभाग आए सामने सामने (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Nov 21, 2024, 3:07 PM IST

Updated : Nov 21, 2024, 4:22 PM IST

कांकेर: पीएमटी हॉस्टल के छात्रों और आदिम जाति कल्याण विभाग के बीच विवाद बढ़ता जा रहा है. हॉस्टल छात्रों के आंदोलन के बाद 19 नवंबर को आदिम जाति कल्याण विभाग के सभी अधिकारी कर्मचारियों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा.

पीएमटी हॉस्टल छात्रों की मांग: ज्ञापन में कहा गया है कि प्रदर्शनकारियों के दबाव में आकर एक पक्षीय कार्रवाई करने पर विभाग के सभी अधिकारी कर्मचारियों के अलावा जिले के सभी हॉस्टलों में तैनात अधीक्षक काम बंद कर हड़ताल पर चले जाएंगे. ज्ञापन के साथ छात्रों द्वारा की गई रैगिंग की शिकायत प्रति के अलावा जांच के दौरान हॉस्टल में मिले शराब की खाली बोतलों के जखीरों की फोटोग्राफ्स भी दी गई है.

छात्र और विभाग आए सामने सामने (ETV Bharat)

हमारे छात्रावास के 6 आदिवासी भाइयों के साथ मारपीट की गई है. हमने जिला प्रशासन को भी आवेदन दिया है, आजतक सुनवाई नहीं हुई है. :पीएमटी छात्र

आदिम जाति कल्याण विभाग: दरअसल छत्तीसगढ़ के कांकेर जिला मुख्यालय में स्थित पीएमटी हॉस्टल में 17 नवंबर को ट्राइबल विभाग की सहायक आयुक्त जया मनु अपनी टीम के साथ पहुंचीं. एक शिकायत मिलने के बाद वह हॉस्टल में जांच करने पहुंचीं थीं. उनकी टीम के साथ दौरे के बाद स्टूडेंट ने सहायक आयुक्त पर मारपीट का आरोप लगाया है, जबकि सहायक आयुक्त का कहना है कि उन्होंने हॉस्टल में रैगिंग, अनाधिक्रत व्यक्तियों के रहने और आपत्तिजनक वस्तुएं मिलने की रिपोर्ट कलेक्टर को दी है.

हाथ नहीं उठाए, लेकिन उनका कहना है कि हाथ उठाए हैं. उन्होंने छात्रों को मारा है. हम चाहते हैं कि उनका तबादला हो जाए. 17 तारीख की घटना के बाद हम लगातार पुलिस प्रशासन, सांसद, विधायक के पास जा रहे हैं. :पीएमटी छात्र

पीएमटी छात्रावास के छात्रों का प्रदर्शन: पीएम हॉस्टल के छात्रों ने पहले शिकायत की फिर बस्तर संभाग के पीएमटी छात्रावासों के छात्रों ने कांकेर कलेक्ट्रेट गेट के सामने 18 नवंबर को करीब 6 घंटे प्रदर्शन किया. प्रशासन ने 5 दिन के अंदर जांच कर कार्रवाई का भरोसा दिया. जिसके बाद बच्चे हटे. इसके बाद कांग्रेस ने 8 सदस्यीय जांच टीम बनाई. फिर 19 नवंबर को अधिकारी कर्मचारी ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा कि अगर स्टूडेंट्स की मांग पर अधिकारी पर कार्रवाई हुई तो वह कलमबंद हड़ताल पर चले जाएंगे.

छात्रों के क्या हैं आरोप: पीएमटी हॉस्टल बालक छात्रावास अध्यक्ष अरूण वट्टी ने कहा कि मारपीट करने वाली महिला अफसर के खिलाफ कार्रवाई नहीं होने पर सड़क पर उतरना पड़ा.संयुक्त पीएमटी छात्रावास अध्यक्ष विजय मरकाम ने कहा कि हॉस्टल छात्रों के साथ मारपीट करने वाली महिला अफसर के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई तो 22 नवंबर से पूरे संभाग के हॉस्टलों में तालाबंदी कर उग्र प्रदर्शन किया जाएगा.

यह बहुत बड़ी घटना हुई है. सहायक संचालक को ऐसा नहीं करना चाहिए था. हमें न्याय चाहिए. न्याय नहीं मिलेगा तो हम जगदलपुर जाएंगे.
:पीएमटी छात्र

ट्राइबल विभाग की सहायक आयुक्त की दलील: वहीं ट्राइबल विभाग की सहायक आयुक्त जया मनु का कहना है कि ''जब हम निरीक्षण के लिए गए थे तो मेरे साथ जो सहायक आयुक्त गए थे, वह स्वयं एससी वर्ग से संबंधित हैं. मेरे स्टाफ में भी एससी वर्ग के लोग हैं. यह सवाल ही पैदा नहीं होता कि वो अपने बच्चों से गाली गलौच करेंगे. यह पूरी तरह गलत हैं. कोई टीआई हैं तो वह अपने दायित्वों को समझते हैं. उन्होंने बच्चों को समझाया कि अगर आप लगातार ऐसी गतिविधि में शामिल रहते हैं तो आपका करियर चौपट हो सकता है. यह बात हमारे द्वारा भी कही गई है लेकिन बच्चे शायद इस बात को समझ नहीं रहे हैं.''

इस गतिविधि से हमारा स्टाफ और मैदानी अमला काफी निराश हुआ है.हम लगन से काम करते हैं. यह चुनौतीपूर्ण दायित्व है. अगर हमारे खिलाफ धरना प्रदर्शन होता रहेगा तो हम अपने दायित्वों को कैसे पूरा करेंगे. :जया मनु, सहायक आयुक्त,ट्राइबल विभाग

कांग्रेस ने की अफसर को हटाने की मांग: कांग्रेस ने घटना की निंदा कर मारपीट करने वाली अफसर को हटाने की मांग की है. पीएमटी हॉस्टल विवाद की जांच करने जिला कांग्रेस कमेटी की टीम हॉस्टल पहुंची. यहां रहने वाले छात्रों के बयान दर्ज किए गए. जिला कांग्रेस पदाधिकारियों ने छात्रों के साथ हुई मारपीट की घटना की निंदा की और महिला अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. भानुप्रताप कांग्रेस विधायक सावित्री मंडावी ने कहा है कि इस मामले में तत्काल एक्शन लेना चाहिए और दोषी अधिकारी पर कार्रवाई करनी चाहिए.

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कांकेर: पीएमटी हॉस्टल के छात्रों और आदिम जाति कल्याण विभाग के बीच विवाद बढ़ता जा रहा है. हॉस्टल छात्रों के आंदोलन के बाद 19 नवंबर को आदिम जाति कल्याण विभाग के सभी अधिकारी कर्मचारियों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा.

पीएमटी हॉस्टल छात्रों की मांग: ज्ञापन में कहा गया है कि प्रदर्शनकारियों के दबाव में आकर एक पक्षीय कार्रवाई करने पर विभाग के सभी अधिकारी कर्मचारियों के अलावा जिले के सभी हॉस्टलों में तैनात अधीक्षक काम बंद कर हड़ताल पर चले जाएंगे. ज्ञापन के साथ छात्रों द्वारा की गई रैगिंग की शिकायत प्रति के अलावा जांच के दौरान हॉस्टल में मिले शराब की खाली बोतलों के जखीरों की फोटोग्राफ्स भी दी गई है.

छात्र और विभाग आए सामने सामने (ETV Bharat)

हमारे छात्रावास के 6 आदिवासी भाइयों के साथ मारपीट की गई है. हमने जिला प्रशासन को भी आवेदन दिया है, आजतक सुनवाई नहीं हुई है. :पीएमटी छात्र

आदिम जाति कल्याण विभाग: दरअसल छत्तीसगढ़ के कांकेर जिला मुख्यालय में स्थित पीएमटी हॉस्टल में 17 नवंबर को ट्राइबल विभाग की सहायक आयुक्त जया मनु अपनी टीम के साथ पहुंचीं. एक शिकायत मिलने के बाद वह हॉस्टल में जांच करने पहुंचीं थीं. उनकी टीम के साथ दौरे के बाद स्टूडेंट ने सहायक आयुक्त पर मारपीट का आरोप लगाया है, जबकि सहायक आयुक्त का कहना है कि उन्होंने हॉस्टल में रैगिंग, अनाधिक्रत व्यक्तियों के रहने और आपत्तिजनक वस्तुएं मिलने की रिपोर्ट कलेक्टर को दी है.

हाथ नहीं उठाए, लेकिन उनका कहना है कि हाथ उठाए हैं. उन्होंने छात्रों को मारा है. हम चाहते हैं कि उनका तबादला हो जाए. 17 तारीख की घटना के बाद हम लगातार पुलिस प्रशासन, सांसद, विधायक के पास जा रहे हैं. :पीएमटी छात्र

पीएमटी छात्रावास के छात्रों का प्रदर्शन: पीएम हॉस्टल के छात्रों ने पहले शिकायत की फिर बस्तर संभाग के पीएमटी छात्रावासों के छात्रों ने कांकेर कलेक्ट्रेट गेट के सामने 18 नवंबर को करीब 6 घंटे प्रदर्शन किया. प्रशासन ने 5 दिन के अंदर जांच कर कार्रवाई का भरोसा दिया. जिसके बाद बच्चे हटे. इसके बाद कांग्रेस ने 8 सदस्यीय जांच टीम बनाई. फिर 19 नवंबर को अधिकारी कर्मचारी ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा कि अगर स्टूडेंट्स की मांग पर अधिकारी पर कार्रवाई हुई तो वह कलमबंद हड़ताल पर चले जाएंगे.

छात्रों के क्या हैं आरोप: पीएमटी हॉस्टल बालक छात्रावास अध्यक्ष अरूण वट्टी ने कहा कि मारपीट करने वाली महिला अफसर के खिलाफ कार्रवाई नहीं होने पर सड़क पर उतरना पड़ा.संयुक्त पीएमटी छात्रावास अध्यक्ष विजय मरकाम ने कहा कि हॉस्टल छात्रों के साथ मारपीट करने वाली महिला अफसर के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई तो 22 नवंबर से पूरे संभाग के हॉस्टलों में तालाबंदी कर उग्र प्रदर्शन किया जाएगा.

यह बहुत बड़ी घटना हुई है. सहायक संचालक को ऐसा नहीं करना चाहिए था. हमें न्याय चाहिए. न्याय नहीं मिलेगा तो हम जगदलपुर जाएंगे.
:पीएमटी छात्र

ट्राइबल विभाग की सहायक आयुक्त की दलील: वहीं ट्राइबल विभाग की सहायक आयुक्त जया मनु का कहना है कि ''जब हम निरीक्षण के लिए गए थे तो मेरे साथ जो सहायक आयुक्त गए थे, वह स्वयं एससी वर्ग से संबंधित हैं. मेरे स्टाफ में भी एससी वर्ग के लोग हैं. यह सवाल ही पैदा नहीं होता कि वो अपने बच्चों से गाली गलौच करेंगे. यह पूरी तरह गलत हैं. कोई टीआई हैं तो वह अपने दायित्वों को समझते हैं. उन्होंने बच्चों को समझाया कि अगर आप लगातार ऐसी गतिविधि में शामिल रहते हैं तो आपका करियर चौपट हो सकता है. यह बात हमारे द्वारा भी कही गई है लेकिन बच्चे शायद इस बात को समझ नहीं रहे हैं.''

इस गतिविधि से हमारा स्टाफ और मैदानी अमला काफी निराश हुआ है.हम लगन से काम करते हैं. यह चुनौतीपूर्ण दायित्व है. अगर हमारे खिलाफ धरना प्रदर्शन होता रहेगा तो हम अपने दायित्वों को कैसे पूरा करेंगे. :जया मनु, सहायक आयुक्त,ट्राइबल विभाग

कांग्रेस ने की अफसर को हटाने की मांग: कांग्रेस ने घटना की निंदा कर मारपीट करने वाली अफसर को हटाने की मांग की है. पीएमटी हॉस्टल विवाद की जांच करने जिला कांग्रेस कमेटी की टीम हॉस्टल पहुंची. यहां रहने वाले छात्रों के बयान दर्ज किए गए. जिला कांग्रेस पदाधिकारियों ने छात्रों के साथ हुई मारपीट की घटना की निंदा की और महिला अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. भानुप्रताप कांग्रेस विधायक सावित्री मंडावी ने कहा है कि इस मामले में तत्काल एक्शन लेना चाहिए और दोषी अधिकारी पर कार्रवाई करनी चाहिए.

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Last Updated : Nov 21, 2024, 4:22 PM IST
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