जोधपुर. केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने राजस्थान में जल जीवन मिशन योजना में 900 करोड़ रुपए के घोटाले में सीबीआई द्वारा केस दर्ज करने पर पूर्ववर्ती अशोक गहलोत सरकार को घेरा. शेखावत ने कहा कि अब पूर्ववर्ती सरकार के पापों से पर्दा उठेगा. राज्य की जनता को प्यासा रखने वालों को कड़ी सजा मिलेगी. भ्रष्टाचारी चाहे कितना भी बड़ा होगा, उसे किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा.
बुधवार को अपनी प्रतिक्रिया में शेखावत ने कहा कि वर्ष 2019 में मोदी सरकार ने जल जीवन मिशन योजना शुरू की थी. वर्ष 2021 तक केंद्र द्वारा सारी स्कीमें पास कर दी गई थीं. केंद्र सरकार ने राजस्थान को इस योजना में सर्वाधिक 27 हजार करोड़ की धनराशि दी, लेकिन पूर्ववर्ती अशोक गहलोत सरकार ने जानबूझकर योजना को अधर में लटकाए रखा. पूर्ववर्ती सरकार की विफलता का इससे बड़ा और उदाहरण क्या हो सकता है कि उसने डेढ़ साल में एक भी पैसा विड्रो नहीं किया. गहलोत सरकार ने तीन-तीन बार टेंडर किए और सवा चार साल में केवल छह हजार करोड़ खर्च किए, जिसमें भी 900 करोड़ रुपए का घोटाला किया.
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि पूर्ववर्ती अशोक गहलोत सरकार ने केवल इस दुर्भावना में जल जीवन मिशन में काम नहीं किया, क्योंकि उसे डर था कि अगर राज्य में 'हर घर में नल से जल' मिलने लगेगा तो इसका श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी को मिलेगा. शेखावत ने कहा कि अगर पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार प्रदेश की जनता के प्यासे कंठों पर राजनीति नहीं करती तो देश के कई अन्य राज्यों की तरह ही राजस्थान भी हर घर नल से जल पहुंचाने में टॉप पर होता, लेकिन आज स्थिति यह है कि राज्य सूची में नीचे से दूसरे नंबर पर है. केंद्रीय मंत्री ने दो टूक कहा कि जिन्होंने पानी के पैसे में भ्रष्टाचार किया है, जनता को प्यासा रखने का पाप किया है, उन्हें न केवल सलाखों के पीछे पहुंचाया जाएगा, बल्कि उनसे पैसों की वसूली भी होगी.