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सास की मौत के 1 घंटे बाद बहू ने भी तोड़ा दम, एक ही चिता पर दोनों का हुआ अंतिम संस्कार - MOTHER IN LAW DAUGHTER IN LAW DEATH

उदयपुर के खेरवाड़ा में सास की मौत के बाद सदमे में बहू की भी मौत हो गई. दोनों की एक ही चिता पर अंत्येष्टि हुई.

एक ही दिन हुई सास बहू की मौत
एक ही दिन हुई सास बहू की मौत (ETV Bharat Udaipur)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Dec 18, 2024, 8:36 PM IST

उदयपुर : जिले के खेरवाड़ा थाना क्षेत्र के पंडयावाड़ा गांव में एक ही दिन में सास-बहू की मौत का मामला सामने आया है. इसके बाद दोनों का एक ही चिता पर अंतिम संस्कार किया गया. ग्रामीणों के अनुसार 90 वर्षीय भूरी बाई पत्नी अंदर्जी जोशी की सोमवार रात अचानक तबीयत खराब हो गई. परिजन उन्हें डूंगरपुर के सरकारी अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया.

खेरवाड़ा की स्थानीय व्यक्ति सुरेश ने बताया कि सास का शव घर लाने के बाद बहू उषा (50) पत्नी गोपाल जोशी सास के शव से लिपटकर रोने लगी. इसी दौरान वह बेहोश हो गई. परिजन उसे तुरंत अस्पताल लेकर गए, लेकिन डॉक्टरों ने उसे भी मृत घोषित कर दिया. उन्होंने बताया कि सास और बहू की 1 घंटे के अंतराल में ही मौत हो गई.

इसे भी पढ़ें- बेटे की मौत की खबर सुन सदमे में पिता ने भी त्यागे प्राण, एक ही चिता पर हुआ अंतिम संस्कार

एक ही चिता पर हुआ अंतिम संस्कार : स्थानीय लोगों का कहना है कि सास-बहू के बीच गहरा प्रेम था. सास की मौत का गहरा सदमा बहू उषा सहन नहीं कर पाई, जिससे उसकी भी मौत हो गई. दोनों की एक साथ अंतिम यात्रा निकाली गई और श्मशान घाट पर मंगलवार को एक ही चिता पर उनका अंतिम संस्कार किया गया. यह घटना देखकर परिजन, रिश्तेदार और गांववासी बेहद गमगीन हो गए.

भूरी बाई के तीन बेटे हैं. उषा उनके बड़े बेटे की पत्नी थी, जो पोस्टमैन हैं. दूसरा बेटा महाराष्ट्र में कैंटीन चलाता है, जबकि तीसरे बेटे की गांव में किराना दुकान है. उषा के दो बेटे हैं, जो ई-मित्र और किराना दुकान के साथ खेत-बाड़ी संभालते हैं.

उदयपुर : जिले के खेरवाड़ा थाना क्षेत्र के पंडयावाड़ा गांव में एक ही दिन में सास-बहू की मौत का मामला सामने आया है. इसके बाद दोनों का एक ही चिता पर अंतिम संस्कार किया गया. ग्रामीणों के अनुसार 90 वर्षीय भूरी बाई पत्नी अंदर्जी जोशी की सोमवार रात अचानक तबीयत खराब हो गई. परिजन उन्हें डूंगरपुर के सरकारी अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया.

खेरवाड़ा की स्थानीय व्यक्ति सुरेश ने बताया कि सास का शव घर लाने के बाद बहू उषा (50) पत्नी गोपाल जोशी सास के शव से लिपटकर रोने लगी. इसी दौरान वह बेहोश हो गई. परिजन उसे तुरंत अस्पताल लेकर गए, लेकिन डॉक्टरों ने उसे भी मृत घोषित कर दिया. उन्होंने बताया कि सास और बहू की 1 घंटे के अंतराल में ही मौत हो गई.

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एक ही चिता पर हुआ अंतिम संस्कार : स्थानीय लोगों का कहना है कि सास-बहू के बीच गहरा प्रेम था. सास की मौत का गहरा सदमा बहू उषा सहन नहीं कर पाई, जिससे उसकी भी मौत हो गई. दोनों की एक साथ अंतिम यात्रा निकाली गई और श्मशान घाट पर मंगलवार को एक ही चिता पर उनका अंतिम संस्कार किया गया. यह घटना देखकर परिजन, रिश्तेदार और गांववासी बेहद गमगीन हो गए.

भूरी बाई के तीन बेटे हैं. उषा उनके बड़े बेटे की पत्नी थी, जो पोस्टमैन हैं. दूसरा बेटा महाराष्ट्र में कैंटीन चलाता है, जबकि तीसरे बेटे की गांव में किराना दुकान है. उषा के दो बेटे हैं, जो ई-मित्र और किराना दुकान के साथ खेत-बाड़ी संभालते हैं.

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