गोरखपुर: स्कूल समय से शुरू हुई फ्रेंडशिप कुछ ही समय बाद मोहब्बत में तब्दील हो गई. और फिर जनम-जनम तक साथ निभाने का वचन लेते हुए विवाह के बंधन में बंध गया एक प्रेमी जोड़ा. यह कहानी गोरखपुर के एक ऐसे कपल की है जिसने, अब एक दूसरे के लिए जान दे दिया है. एमबीए पति ने बनारस में आत्महत्या कर लिया तो फैशन डिजाईनर पत्नी इसकी सूचना पाते ही छत से कूदकर जान दे दी. परिवार का तिरस्कार, बेरोजगारी और नशे की लत ने इन्हें मौत को गले लगाने के लिए विवश कर दिया.
प्रेमी जोड़ा जिसमें लड़की का नाम संचिता श्रीवास्तव तो लड़के का नाम हरीश बगेश था, जो बिहार के आरा जिले का रहने वाला है. संचिता गोरखपुर शहर के प्रसिद्ध मनोचिकित्सक डॉ. रामशरण दास की बेटी है. जिन्होंने मीडिया को दिए बयान में कहा कि, वह अपने बेटी- दामाद को अपने घर रखने के लिए तैयार थे. लेकिन दामाद के घर वाले इस शादी को स्वीकार नहीं कर रहे थे. दोनों परिवार से तिरस्कृत किए जाने से बेहद आहत थे.
हरीश बगेश ने वाराणसी के सारनाथ में होम स्टे के दौरान कमरे में रविवार को आत्महत्या की तो, उसके कमरे से नशीले पदार्थ बरामद हुए थे. माना जा रहा है कि, पति-पत्नी मुंबई में रहते हुए नशे के आदी हो गए थे. जब उनका रोजगार छिना तो वह लौटकर गोरखपुर आ गए. इस दौरान बेरोजगारी और नशे की लत उनके ऊपर हावी होती चली गई, जो शायद उन्हें मौत के द्वार तक खींच लाई और वह आत्महत्या करने के लिए भी विवश हो गए. फिलहाल इस मामले में पुलिस को कोई शिकायत नहीं मिली है. जिससे मामले में जांच आगे नहीं बढ़ रही है. लेकिन, हाई प्रोफाइल सुसाइड मामले को लेकर चर्चाएं जोरों पर हैं.
संचिता के मां की मौत बचपन में हो गई थी. इसके कुछ साल बाद उसके पिता ने दूसरी शादी कर लिया था. जिससे संचिता के एक भाई - बहन और भी हैं. भाई, मौजूदा समय में लंदन में रहता है तो छोटी बहन साउथ इंडियन फिल्म इंडस्ट्री से जुड़ी है. संचिता को बचपन से ही डॉक्टर रामशरण ने बाहर पढ़ने के लिए भेज दिया था. वह वाराणसी से हाई स्कूल तक की पढ़ाई की. जिस स्कूल में वह पढ़ती थी, हरीश बगेश भी उसी स्कूल का छात्र था. वहीं से दोनों की दोस्ती शुरू हुई.
हाई स्कूल के बाद भी दोनों मिलते जुलते रहे. आगे चलकर यही रिश्ता शादी के बंधन में भी बधने के लिए मजबूर किया. बताया जा रहा है की संचिता मुंबई में मॉडलिंग और फैशन की दुनिया से जुड़ती चली गई. जिसकी शूटिंग और फोटोग्राफी के लिए वह दुनिया के कई देशों में गई. मुंबई में रहते हुए उसे नशे की लत पड़ गई. ऐसा बताया जा रहा है, उसी के संगत में रह कर हरीश भी नशे का आदि हुआ.
नशे के लत के चलते ही संचिता की तबीयत बिगड़ी जिसके बाद दोनों को मुंबई छोड़कर गोरखपुर आना पड़ा. यहां रहते हुए हरीश की नौकरी भी चली गई. परिवार का तिरस्कार और नशे की लत पूरी नहीं कर पाने से हरीश टूटने लगा. और शुक्रवार 5 जुलाई को हरीश बगेश ने अपने गांव बिहार जाने का बहाना बनाकर घर से निकला तो वह वाराणसी के सारनाथ पहुंच गया. और वहीं उसने आत्महत्या कर अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली.
संचिता ने जापान, लंदन और चीन में फोटोग्राफी की. फोटोग्राफी में उसका इतना शौक था कि उसने अपने शादी करीब 2 लाख इसमें खर्च किया था. संचिता को पालतू जानवरों से भी बहुत प्रेम था. वह अपने घर पर कई तरह के जानवरों के साथ अक्सर इंजॉय करते देखी जाती थी. लेकिन ससुराल से संबंध ठीक नहीं रहने के चलते भी वह काफी डिप्रैस थी. वहीं यह भी कहा जा रहा है कि, संचिता को अपने मां के न होने की कमी भी बहुत खलती थी. बचपन से ही वह पढ़ाई को लेकर पिता से पहले ही दूर हो गई थी. यही दूरी शायद उसे नशे की लत की ओर खींच ले गई. वह मुंबई में चकाचौध भरी दुनिया में शामिल होती चली गई. प्रेम के इस अटूट संबंध को दर्शाने वाले जोड़े ने, साथ जीने- मरने की जो कसम खाई थी. वह उनकी मौत के साथ खत्म हो गई, लेकिन दोनों एक बड़ा दर्द परिवार को दे गए.
ये भी पढ़ें: MBA के बाद भी नहीं मिली नौकरी, बनारस में पति ने की खुदकुशी, तो गोरखपुर में पत्नी ने दे दी जान