प्रयागराज: बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित इंग्लिश मीडियम स्कूलों में चयनित शिक्षकों की नियुक्ति पिछले 5 वर्षों से लटकी हुई है जिसकी वजह से परिषद के स्कूलों को इंग्लिश मीडियम स्कूल में परिवर्तित करने की पूरी योजना खटाई में पड़ गई है. अधिकारियों की इस हीला हवाली पर नाराजगी जताते हुए हाईकोर्ट ने बेसिक शिक्षा परिषद के विशेष सचिव लखनऊ तथा निदेशक बेसिक शिक्षा परिषद को शुक्रवार को अदालत के समक्ष उपस्थित होने का निर्देश दिया है. उमेश कुमार वर्मा व अन्य की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश न्यायमूर्ति सौरभ श्याम शमशेरी ने दिया है. अदालत इस मामले की सुनवाई प्रतिदिन कर रही है.
याचियो के अधिवक्ता नवीन कुमार शर्मा का कहना था की बेसिक शिक्षा परिषद ने वर्ष 2019 में कुछ स्कूलों में अंग्रेजी माध्यम से शिक्षण कार्य करने का निर्णय लिया. इसके लिए विशेष योग्यता के अध्यापकों की आवश्यकता थी. परिषद ने कार्यरत अध्यापकों से योग्यता के आधार पर इंग्लिश मीडियम स्कूल में पढ़ाने हेतु आवेदन आमंत्रित किया जिन अध्यापकों ने आवेदन किया उनकी लिखित परीक्षा व साक्षात्कार के बाद उनको विद्यालय आवंटित कर दिए गए. आज तक किसी भी अध्यापक को आवंटित विद्यालय में नियुक्ति नहीं दी गई. कोर्ट ने इस मामले में बेसिक शिक्षा परिषद के अधिवक्ता से जानकारी मांगी मगर वह कोई स्पष्ट जानकारी उपलब्ध कराने की स्थिति में नहीं थे. इस पर कोर्ट ने विशेष सचिव और निर्देशक को शुक्रवार को अदालत में उपस्थित होकर बताने के लिए कहा है कि किन कर्म से चयनित किए गए अध्यापकों को नियुक्ति नहीं दी जा रही है.