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हाईकोर्ट में सरकारी वकील नहीं पहुंचा, स्पष्टीकरण देने सीएस को बुलाया - High court expressed displeasure

पूर्व जयपुर राजपरिवार के संपत्ति विवाद को लेकर चल रही मामले की सुनवाई में सरकारी वकील के नहीं पहुंचने पर नाराजगी जाहिर की है.

Rajasthan High Court
राजस्थान हाईकोर्ट
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Mar 12, 2024, 9:17 PM IST

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने जयपुर के पूर्व राजपरिवार की संपत्तियों पर कब्जे को लेकर राज्य सरकार और पद्मिनी देवी व दीया कुमारी के बीच चल रहे विवाद पर सुनवाई के दौरान सरकारी वकील के नहीं पहुंचने पर नाराजगी जताई है. इसके साथ ही अदालत ने मुख्य सचिव को बुधवार दोपहर 2 बजे वीसी के जरिए बुलाया.

हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि लगता है राज्य सरकार को राज्य हित की परवाह नहीं है. अदालत ने कहा कि इस मामले में महाधिवक्ता व अतिरिक्त महाधिवक्ता हाजिर नहीं होने के लिए मुख्य सचिव जिम्मेदार हैं. जस्टिस अशोक कुमार जैन ने यह आदेश राज्य सरकार की ओर से दायर रिवीजन याचिकाओं पर यह आदेश दिए. राज्य सरकार ने चार रिवीजन याचिकाएं दायर कर राजधानी स्थित पुरानी विधानसभा के भवन टाउन हॉल, पुराना पुलिस मुख्यालय व जलेब चौक की संपत्तियों को लेकर पूर्व राजपरिवार के सिविल दावे को चुनौती दी है.

पढ़ें: जयपुर के टाउन हॉल और होमगार्ड कार्यालय परिसर के कब्जे को लेकर पूर्व राजपरिवार की अपील खारिज

जयपुर के पूर्व राजपरिवार की सदस्य पद्मिनी देवी, दीया कुमारी व अन्य ने इन संपत्तियों का कब्जा दिलाने के लिए जयपुर के अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय में सिविल दावा किया है. राज्य सरकार ने इस पर प्रार्थना पत्र पेश किया कि कोवेनेंट से संबंधित मामलों में सिविल दावे पर संविधान के अनुसार कोई कोर्ट सुनवाई नहीं कर सकती. अधीनस्थ न्यायालय से प्रार्थना पत्र खारिज होने पर राज्य सरकार ने हाईकोर्ट में रिवीजन याचिकाएं दायर की हैं.

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने जयपुर के पूर्व राजपरिवार की संपत्तियों पर कब्जे को लेकर राज्य सरकार और पद्मिनी देवी व दीया कुमारी के बीच चल रहे विवाद पर सुनवाई के दौरान सरकारी वकील के नहीं पहुंचने पर नाराजगी जताई है. इसके साथ ही अदालत ने मुख्य सचिव को बुधवार दोपहर 2 बजे वीसी के जरिए बुलाया.

हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि लगता है राज्य सरकार को राज्य हित की परवाह नहीं है. अदालत ने कहा कि इस मामले में महाधिवक्ता व अतिरिक्त महाधिवक्ता हाजिर नहीं होने के लिए मुख्य सचिव जिम्मेदार हैं. जस्टिस अशोक कुमार जैन ने यह आदेश राज्य सरकार की ओर से दायर रिवीजन याचिकाओं पर यह आदेश दिए. राज्य सरकार ने चार रिवीजन याचिकाएं दायर कर राजधानी स्थित पुरानी विधानसभा के भवन टाउन हॉल, पुराना पुलिस मुख्यालय व जलेब चौक की संपत्तियों को लेकर पूर्व राजपरिवार के सिविल दावे को चुनौती दी है.

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जयपुर के पूर्व राजपरिवार की सदस्य पद्मिनी देवी, दीया कुमारी व अन्य ने इन संपत्तियों का कब्जा दिलाने के लिए जयपुर के अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय में सिविल दावा किया है. राज्य सरकार ने इस पर प्रार्थना पत्र पेश किया कि कोवेनेंट से संबंधित मामलों में सिविल दावे पर संविधान के अनुसार कोई कोर्ट सुनवाई नहीं कर सकती. अधीनस्थ न्यायालय से प्रार्थना पत्र खारिज होने पर राज्य सरकार ने हाईकोर्ट में रिवीजन याचिकाएं दायर की हैं.

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