पटना: बिहार में गर्मी ने अपना असली रंग दिखाना शुरू कर दिया है. उमस भरी गर्मी ने लोगों की मुसीबतें बढ़ा दी है. मौसम की मार से बड़ी संख्या में लोग बीमार हो रहे हैं. अस्पतालों में और चिकित्सकों के क्लीनिक पर उलटी, दस्त, डिहाईड्रेशन, डिसेंट्री, जी मचलना, चक्कर आना जैसी शिकायत को लेकर मरीज पहुंच रहे हैं. डॉक्टरों का कहना है कि इन दिनों हर 10 में तीन मरीज मौसमी बीमारी से ग्रसित हो रहे हैं.
गर्मी की वजह से उल्टी दस्त की शिकायत बढ़ी: गर्मी बढ़ते ही मौसमी बीमारी होने की संभावना बढ़ जाती है. इसमें डायरिया, त्वचा, लू लगना, पानी की कमी, फूड पॉइजनिंग आदि बीमारी शामिल है. पटना के वरिष्ठ चिकित्सक डॉक्टर दिवाकर तेजस्वी ने बताया कि शरीर से जब पसीना निकलता है तो शरीर में पानी और नमक की मात्रा काफी कम हो जाती है. इससे शरीर की पाचन प्रक्रिया प्रभावित होती है. इस वजह से उल्टी और दस्त की शिकायत बढ़ जाती है.
11 से चार बजे तक बच्चों को घर में रखें: डॉक्टर दिवाकर तेजस्वी ने बताया कि इस मौसम में नियमित अंतराल पर खूब पानी पिएं और अधिक पसीना निकल रहा है तो दिन में ओआरएस का घोल जरूर पिएं. बच्चे को 11 से शाम 4 बजे तक धूप के संपर्क में ना आने दें. मौसमी फलों का सेवन करें और खाने-पीने में तैलिय पदार्थ का सेवन कम करें.
गर्मी में ब्लड हो जाता है गाढ़ा: डॉ दिवाकर तेजस्वी ने बताया कि शरीर से अधिक पसीना निकलने के कारण रक्त थक्का हो जाता है. पसीना जब निकलता है तो शरीर से पानी काफी कम हो जाता है और शरीर का रक्त गाढ़ा हो जाता है. रक्त गाढ़ा होने के कारण स्ट्रोक के मामले बढ़ जाते हैं. पसीना निकालने के कारण शरीर से मिनरल्स की भी कमी होती है और इस वजह से चक्कर आना सर दर्द की शिकायतें भी बढ़ जाती हैं.
हीट स्ट्रोक से ऐसे बचे : डॉ दिवाकर तेजस्वी ने बताया कि हीट स्ट्रोक से बचने के लिए दिन के सबसे ज्यादा गर्मी वाले समय में, घर से बाहर नहीं निकलें. अत्यधिक मात्रा में पानी और जूस पीएं, ताकि शरीर में पानी की कमी न हो. ढीले ढाले लाइट कलर के सूती कपड़े पहने जो पसीना को अच्छे से शोख लेता है.
उमस से एलर्जी के मरीज पर पड़ता है असर: डॉ दिवाकर तेजस्वी ने बताया ने बताया कि उमस का असर एलर्जी के मरीज पर पड़ता है. इससे उनको सांस लेने में तकलीफ बढ़ जाती है. अगर उमस ज्यादा बढ़ता है, तो घुटन के कारण बेहोशी के मामले भी देखने को मिलते हैं. घुटन से बीपी लो हो जाता है. पल्स तेज हो जाता है. जब परेशानी ज्यादा बढ़ जाती है, तो पल्स कम होने लगता है. शरीर में नमक-पानी और पोटेशियम आदि इलेक्ट्रोलाइट्स की कमी हो जाती है.
19 मई को बारिश के आसार: बता दें कि प्रदेश में अगले 18 मई तक बारिश के आसार नहीं बन रहे हैं. हालांकि 19 मई से एक बार फिर से बारिश होने की संभावना है. उत्तर बिहार के कुछ जिलों में 19 मई को बारिश देखने को मिलेगी और उसके बाद अगले दो दिनों के लिए पूरे बिहार में बारिश की स्थिति बन रही है. पटना मौसम विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिकों का कहना है कि अभी के समय आसमान में बदल मंडराएंगे जरूर, लेकिन इससे बारिश नहीं होगी.
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