वाराणसी : बिजली की खपत कम करने और बिल से राहत पाने के लिए अब लोगों के साथ सरकारी विभाग भी सौर ऊर्जा को तवज्जो देने लगे हैं. इसी कड़ी वाराणसी के कई सरकारी विभागों ने सोलर रूफटॉप (ग्रिड कनेक्टिविटी) लगवाए हैं. इसमें वाराणसी के 10 महत्वपूर्ण भवन अग्रणी भूमिका निभा रहे हैं. नेडा एवं विभिन्न विभागों द्वारा लगाए गए सोलर रूफटॉप (ग्रिड कनेक्टिविटी) से 32 लाख 36 हजार 820 यूनिट बिजली की बचत प्रति वर्ष हो रही है. सरकारी भवनों पर सोलर रूफटॉप योजना के अंतर्गत सोलर सिटी बनाने की योजना वाराणसी में सफल होती दिख रही है.
वाराणसी के सरकारी कार्यालय और शैक्षणिक संस्थान सोलर ऊर्जा से रोशन होकर अतिरिक्त ऊर्जा को बढ़ावा देने के साथ पैसे भी बचा रहे हैं. वाराणसी के 10 सरकारी भवनों पर नेडा एवं अन्य विभागों द्वारा लगाए गए 2,217 किलोवाॅट का सोलर पाॅवर प्लांट ऑन ग्रिड सिस्टम स्थापित हो चुका है. इससे हर साल 32 लाख 36 हजार 820 यूनिट बिजली की बचत होने से दो करोड़ 26 लाख 57 हजार 740 रुपये बच रहे हैं. ऑन ग्रिड सिस्टम से सरकारी भवनों से बिजली का उत्पादन भी हो रहा है.
यूपी नेडा के वरिष्ठ परियोजना प्रबंधक एसके गुप्ता ने बताया कि सौर ऊर्जा नीति-2022 के तहत आवासीय क्षेत्र के लिए राज्य सरकार की सब्सिडी 15 हजार रुपये किलोवाॅट से अधिकतम 30 हजार रुपये प्रति उपभोक्ता केंद्र सरकार के सीएफए के अतिरिक्त उपलब्ध है. उपभोक्ता को सिस्टम की पूरी लागत का भुगतान करने की आवश्यकता है और सरकार की ओर से प्रत्यक्ष लाभ सब्सिडी उनके बैंक खाते में जमा की जाएगी. आवासीय उपभोक्ता सिटी या ग्रामीण सोलर रूफटॉप सिस्टम लगाने के लिए ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं. ऑनलाइन पोर्टल के लिए www.solarrooftop.gov.in पर रजिस्ट्रेशन का प्रोसेस पूरा करके उत्तर प्रदेश के 300 रजिस्टर्ड सोलर वेंडर से संपर्क करके उचित दर पर सोलर संयंत्र हासिल कर सकते हैं.
सौर ऊर्जा नीति-2022 के नियम व मानक : तीन किलोवाॅट की क्षमता का सोलर प्लांट के लिए 14 हजार 588 रुपये प्रति किलोवाॅट की सब्सिडी मिलती है. तीन किलोवाट से अधिक और 10 किलोवाॅट तक 14 हजार 588 प्रति किलोवाॅट पहले 3 किलो वाॅट के लिए और उसके बाद 7294 रुपये प्रति किलो वाॅट सब्सिडी सरकार की तरफ से दी जाती है. 10 किलोवाॅट से अधिक के लिए 94 हजार 822 रुपये की सब्सिडी है. यदि आपकी खाली छत है तो छत पर संयंत्र को लगाने से 3 किलोवाट पर 3000 रुपये प्रति माह 5 किलोवाॅट पर 5000 रुपये और 10 किलो वाॅट पर लगभग 10 हजार रुपये की बचत हर माह की जा सकती है. 25 साल तक इस संयंत्र का इस्तेमाल करने से लगभग 10 लाख रुपये की बचत सुनिश्चित हो सकती है.
हिमांशु नागपाल ने बताया कि सोलर रूफटॉप ऑन ग्रिड सिस्टम योजना में वाराणसी उत्तर प्रदेश में पहले स्थान पर है. वाराणसी में हर घर सोलर योजना में 25 हजार घरों में सोलर रूफटॉप ऑन ग्रिड सिस्टम का लक्ष्य था. जिसके सापेक्ष 28 हजार 423 रजिस्ट्रेशन हो चुके हैं. 1045 लोगों के घरों में सौर ऊर्जा से बिजली जलने लगी है. सोलर योजना का लाभ उठा रहे उपभोक्ताओं को 4 लाख 7 हजार 250 यूनिट की बचत हुई है.
जिससे अब तक 31 लाख 35 हजार रुपयों की बचत हुई है. मुख्य विकास अधिकारी ने बताया कि अगले तीन से चार महीनों में नया लक्ष्य पूरा करने का प्रयास रहेगा. योजना के अंतर्गत राज्य सरकार एक किलोवाॅट से लेकर 10 किलोवॉट तक सोलर लगवाने पर 45 हजार से लेकर 1 लाख 8 हजार तक की सब्सिडी दे रही है.