पलवल: पूर्व विधायक सुभाष चौधरी की ब्रेन हेमरेज के इलाज के दौरान मौत हो गई है. 12 सितंबर को सुभाष चौधरी की अचानक तबियत खराब हो गई थी, जिसके बाद चौधरी को इलाज के लिए फरीदाबाद के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था. ब्रेन हेमरेज के कारण आज मंगलवार को उनकी मौत हो गई है.
बता दें कि पूर्व विधायक सुभाष चौधरी ने लोकसभा चुनाव में भाजपा को छोड़कर फरीदाबाद लोकसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी महेंद्र प्रताप को अपना समर्थन दिया था और 2024 के विधानसभा चुनाव के लिए चौधरी ने गुर्जरों की पंचायत कर फैसला लिया था कि यदि उन्हें कांग्रेस पार्टी टिकट देती है तो वो अंतिम चुनाव लड़ेंगे और पार्टी का टिकट नहीं मिला तो समाज किसी को भी अपना उम्मीदवार बना सकता है, वो उनके साथ रहेंगे. जानकारी के मुताबिक, सुभाष चौधरी ने पलवल विधानसभा सीट से कांग्रेस के टिकट के लिए आवेदन किया, लेकिन जब कांग्रेस की सूची में पलवल से करण सिंह दलाल का नाम सामने आया तो वो मानसिक रूप से परेशान रहने लगे.
12 से अस्पताल में भर्ती थे : जानकारी के अनुसार, 12 सितंबर को वो अपने घर पर समाज के लोगों के साथ बैठकर बात कर रहे थे. अचानक से उनकी तबीयत बिगड़ी. इलाज के लिए उनको फरीदाबाद के निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया. डॉक्टर ने बताया कि उन्हें ब्रेन हेमरेज हुआ था, जिसका लगातार इलाज चल रहा था, लेकिन आज अचानक उनकी मौत हो गई.
पलवल में सुभाष चौधरी का बड़ा नाम : बता दें कि पूर्व विधायक सुभाष चौधरी पलवल में राजनीति के एक जाने-माने चेहरा थे. उन्होंने सन् 2009 के चुनाव में इनेलो के टिकट पर पलवल से पूर्व मंत्री व कांग्रेस के कद्दावर नेता करण दलाल को हराया था. विधायक रहते हुए सुभाष चौधरी ने पलवल की आवाज को विधानसभा में बुलंद किया. पूर्व विधायक सुभाष चौधरी की मौत से राजनीतिक जगत को गहरा सदमा लगा है.