फिरोजाबाद : शारदीय नवरात्र की शुरुआत आज से हो चुकी है. पहले दिन कैला देवी शक्तिपीठ में भक्तों की भीड़ मां की पूजा-आराधना के लिए जुटी. राजस्थान के करौली जिले में स्थित माता कैला देवी की तर्ज पर यहां भी माता रानी के मंगला दर्शन के लिए भक्त पहुंचते हैं. यहां शारदीय नवदुर्गा महोत्सव 11 अक्टूबर तक चलेगा.
नवरात्र के 9 दिनों में माता रानी के नौ स्वरूपों शैलपुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कुष्मांडा, स्कन्द माता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी और सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है. जिले के राज राजेश्वरी कैला देवी मंदिर की ख्याति दूर-दूर तक है. नवरात्र में यहां भक्तों की भीड़ बढ़ जाती है. यहां मंगला दर्शन का काफी महत्व है. दर्शन सुबह 4 बजे से शुरू हो जाता है.
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मंगला दर्शन के दौरान माता रानी का एक झलक पाने के लिए भक्तों की भीड़ लगी रहती है. मान्यता है कि माता रानी के मंगल रूप के दर्शन करने मात्र से सभी मनोकामना पूरी हो जाती है. रामलीला परिसर स्थित माता कैला देवी का यह मंदिर फिरोजाबाद के सबसे प्रसिद्ध धार्मिक स्थलों में से एक है. इसकी स्थापना 31 वर्ष पूर्व की गई थी. इसमें राजस्थान के कैला देवी मंदिर से लाई गई अखंड ज्योति स्थापित की गई थी. तब से यह ज्योति निरंतर जल रही है.
नवरात्र में अन्य जिलों से भी श्रद्धालु यहां दर्शन के लिए पहुंचते हैं. मंदिर के मुख्य पुजारी शिव सुंदर शर्मा ने बताया कि प्रतिदिन सुबह 4 बजे मंगला दर्शन के लिए मंदिर के पट खोल दिए जाते हैं. मां कैला देवी के मुख्य मंदिर के साथ-साथ सामने स्थित भगवान लांगुर वीर के मंदिर में भी लोग पूजा-पाठ के लिए पहुंचते हैं. मातारानी के शैलपुत्री स्वरूप की जो भी भक्त सच्चे मन से पूजा करता है, माता रानी उसकी सभी मनोकामनाएं पूरी करती हैं.
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