मुजफ्फरपुर: बिहार के मुजफ्फरपुर में कैंसर की नकली दवा सप्लाई करने के आरोप में आदित्य कृष्ण को दिल्ली क्राइम ब्रांच की टीम ने गिरफ्तार कर लिया है. उसे शहर के नगर पुलिस के सहयोग से पकड़ा गया है. क्राइम ब्रांच के एसआइ गौरव कुमार की टीम दो दिनों से ही शहर में डेरा डाले हुए थे. क्राइम ब्रांच की टीम उसे लेकर दिल्ली निकल गई है.
बीएचयू से बीटेक है आदित्य: मिली जानकारी के अनुसार, नगर थाना क्षेत्र से 23 साल के आदित्य कृष्णा को पकड़ा गया है, उसने आईआईटी बीएचयू से बीटेक किया है. आदित्य का छोटी कल्याणी रोड में दवा का दुकान भी है. दिल्ली पुलिस के हत्थे चढ़ा नीरज चौहान से कैंसर की नकली दवाइयां खरीद कर आदित्य उसे उत्तर बिहार सहित पुणे और एनसीआर में सप्लाई करता था.
मेडिकल वोकेशनल कोर्स भी किया: नीरज चौहान मूल रूप से यूपी के बागपत का है, वह ग्रेजुएट है. उसने दिल्ली के एक निजी संस्थान से मेडिकल ट्रांसक्रिप्शन में वोकेशनल कोर्स भी किया है. वह 2006-2022 तक दिल्ली और गुरुग्राम के प्रतिष्ठित अस्पतालों के ऑन्कोलॉजी विभाग में प्रबंधक के रूप में कार्यरत था.
कम कीमत पर उपलब्ध करता इंजेक्शन: 2022 में उसने विफिल जैन के साथ काम करना शुरू किया. चिकित्सा क्षेत्र में अपने लंबे अनुभव के कारण वह लोगों को सस्ती दरों पर महंगे कीमी इंजेक्शन उपलब्ध कराता था. वह मेडिकल टूरिज्म के लिए अपनी कंपनी भी चलाता था. ऐसे लोगों को टारगेट करता था, जो कैंसर के इलाज के लिए भारत आते हैं. वह अपने चचेरे भाई तुषार के जरिए बाजार में इंजेक्शन सप्लाई करता था. दोनों भाइयों से आदित्य का संपर्क था, ज्यादा मुनाफा की लालच में वह इस रैकेट से जुड़ गया.
4 करोड़ की नकली दवा बरामद: दिल्ली क्राइम ब्रांच को एक सूचना मिली थी कि नकली कैंसर की दवा का निर्माण मोतीनगर इलाके में हो रहा है. सूचना मिलते ही एक टीम का गठन किया गया. टीम ने मोतीनगर, गुरुग्राम सहित चार स्थानों पर छापेमारी कर 1.75 करोड़ की चार ब्रांडों के 140 भरे हुए इंजेक्शन को शीशी बरामद की. साथ ही पचास हजार नकदी समेत कई खाली शीशी भी मिली. साउथ सिटी गुरुग्राम स्थित नीरज चौहान के घर से नकली कैंसर इंजेक्शनों की 137 शीशी, 519 खाली शोशी सहित सात अंतरराष्ट्रीय ब्रांड के 137 इंजेक्शन मिले, जिसकी कीमत 2.15 करोड़ आंकी गयी.
7 गिरफ्तार, 89 लाख रुपये मिले: छापेमारी के दौरान नीरज चौहान, विफिल जैन, सूरज सात, तुषार बौहान, परवेज, कोमल तिवारी, अभिनव कोहली की गिरफ्तारी की गयी थी. उनके पास से 89 लाख रुपये, 18 हजार अमेरिकी डॉलर सहित कई सामान बरामद किये गये थे, उनसे पूछताछ के आधार पर एक टीम बिहार के मुजफ्फरपुर पहुंची थी.
बेच रहा था कैंसर का नकली इंजेक्शन: मूल रूप से यूपी के बागपत का रहने वाला विफिल जैन का बचपन दिल्ली के सीलमपुर में गुजरा है. वह मैट्रिक पास भी नहीं है. वह सीलमपुर के एक स्थानीय मेडिकल स्टोर में काम करता था. दो साल पहले उसके मन में नकली कैसर इंजेक्शनों को दोबारा भरने का विचार आया. उसने सोचा कि जीवन रक्षक दवा होने के कारण इससे वह मोटी कमाई कर सकता है. इसलिए वह इस धंधे में उतर गया.
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