सहरसा: बिहार में बिजली विभाग की ओर से लगाए जा रहे स्मार्ट मीटर की खासियत के बारे में सभी नहीं जानते होंगे. दरअसल, फिलहाल इसको लेकर अलग अलग तरह की भ्रांतिया फैलायी जा रही है जिसे प्रशासन ने पूरी तरह गलत बताया है. यह एक स्मार्ट मीटर नहीं बल्कि कमाई का एक अच्छा स्रोत भी है. बिजली उपभोक्ता इससे अच्छी कमाई कर सकते हैं.
स्मार्ट मीटर से कमाईः सहरसा डीएम वैभव चौधरी ने प्रेसवार्ता कर स्मार्ट मीटर का डेमो दिखाया. उन्होंने इसे लगाने और उससे होने वाले लाभ को विस्तार से बताते हुए लोगों को स्मार्ट मीटर लगाकर इसका लाभ उठाने के लिए जागरूक किया. डीएम ने कहा कि स्मार्ट मीटर को लेकर जो लोगों में भ्रांतियां है उसी को दूर करने के लिए प्रशासन आगे आ रहा है. उन्होंने बताया कि स्मार्ट मीटर से उभोक्ता कमाई भी कर सकते हैं.
"स्मार्ट मीटर में 2000 की राशि पर उपभोक्ता को ब्याज देने की सुविधा. मीटर रीडिंग के झंझट से मुक्ति. एरियर के पैसे को किस्तों में जमा करने की सुविधा. पर्यावरण लाभ, पेपर लेश की सुविधा के अलावे मानव हस्तक्षेप बंद और पारदर्शी की सुविधा है. उपभोक्ता को ब्याज मिलने से कमाई भी होगी." -वैभव चौधरी, डीएम, सहरसा
कितना मिलेगा ब्याजः एनबीपीडीसीएल और एसबीपीडीसीएल स्मार्ट मीटर वाले उपभोक्ताओं को ब्याज देगी. अगर स्मार्ट मीटर में 2,000 रुपये से ज्यादा का रिचार्ज 3-6 महीने तक जमा रहता है तो 6.75% से 7.25% तक ब्याज दिया जाएगा.
'अफवाह ना फैलाएं': डीएम ने इस दौरान स्मार्ट मीटर कैसे काम करता है इसका डेमो भी दिखाया. इसके संदर्भ में जो भी कंफ्यूजन है उसे सभी उपभोक्ता के साथ मीडिया बंधुओं को भो दिखाया गया. जिस तरह से नकारात्मक नीचे लेवल पर फैली हुई है या कुछ लोगों के द्वारा अपने व्यक्तिगत आर्थिक लाभ के लिए अफवाह फैलाई जा रही है, उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
किसानों को राहतः लोगों से अपील करते हुए कहा कि जो विश्वस्त बाते हैं उसे ही उपभोक्ताओं को बताएं. इसके अलावे बिहार सरकार के द्वारा सब्सिडी दी जा रहा है, उसके बारे में बताया गया. डीएम ने बताया कि कृषि कार्य के लिए मात्र 55 पैसा प्रति यूनिट लिया जा रहा है.
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