कोटा. शहर के नांता का इलाके में एक ट्रेंचिंग ग्राउंड है, जिसमें लंबे समय से कचरे के ढेर में आग लगी हुई है. ऐसे में आसपास का क्षेत्र वायु प्रदूषण की जद में आ गया है. दूसरी तरफ कचरे में सड़ांध भी होने लगी है, जिससे लोगों को दिक्कत हो रही है. इसका सीधा असर नजदीक की बस्तियों और कॉलोनी में पड़ रहा है. नांता, करणी नगर और बरड़ा बस्ती के हजारों लोगों ने बीते लंबे समय से ट्रेंचिंग ग्राउंड को हटाने के लिए अभियान छेड़ा हुआ है. आज रविवार को इसी अभियान के तहत इन लोगों ने लोकसभा चुनाव के तहत मतदान का बहिष्कार कर दिया है. इस संबंध में स्थानीय लोगों ने आज शांतिपूर्वक प्रदर्शन भी किया.
स्थानीय निवासी विनोद गौड़ का कहना है कि उन्होंने प्रशासन को जगाने के लिए हाथों में तख्तियां लेकर सामान्य मार्च निकाला है. इन तख्तियों में चुनाव बहिष्कार की घोषणा है. यह प्रशासन के खिलाफ उनकी चेतावनी और नाराजगी का नमूना भी है. लंबे समय से आंदोलन के बावजूद उनकी बात को नहीं सुना जा रहा है.
ट्रेंचिंग ग्राउंड से वन्य जीव को खतरा : दूसरी तरफ, इस संबंध में उपवन संरक्षक वन्यजीव अनुराग भटनागर ने भी जिला कलेक्टर को पत्र लिखा है और नांता स्थित ट्रेंचिंग ग्राउंड को दूसरी जगह शिफ्ट करने की मांग की है. उनका कहना है कि इसके पहले भी बीते 4 सालों में करीब कई बार पत्र लिखे जा चुके हैं.
पर्यटन भी हुआ प्रभावित : बता दें कि बीते 2 महीनों से शाम के समय धुंए के कारण वन्य जीव और रह रहे स्टाफ के साथ पर्यटकों को भी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. हर रोज करीब 700 तक पर्यटक यहां पहुंच रहे हैं. इस कचरे के चलते दुर्गंध और प्रदूषण भी होता है. ग्रीन बेल्ट में 24 घंटे आग लगने की संभावना भी बनी रहती है. ऐसे में वन्यजीव, स्टाफ, पर्यटकों को बीमारियों से बचाने के लिए इसे शिफ्ट करना आवश्यक है.