प्रयागराज: हिंदू मंदिरों में होने वाले मेलों मंदिरों के मेलों को सरकारी मेला घोषित करने के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती दी गयी है. राज्य सरकार के 2017 के फैसले के खिलाफ भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने जनहित याचिका दाखिल की है. याचिका पर सोमवार को मुख्य न्यायाधीश अरुण भंसाली और न्यायमूर्ति विकास बुधवार की पीठ में सुनवाई होगी.
याचिका में कहा गया है कि उत्तर प्रदेश सरकार की 18 सितंबर 2017 की अधिसूचना और 3 नवंबर 2017 के आदेश को रद्द किया जाए. याचिका में कहा गया है कि अधिसूचना भारतीय संविधान के धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकार का उल्लंघन करती है. यूपी सरकार असंवैधानिक तरीके से मंदिरों और उनके धार्मिक समारोहों के प्रशासन, प्रबंधन और नियंत्रण को अपने हाथ में लेने का प्रयास कर रही है. जनहित याचिका में राज्य सरकार को मंदिरों के मेलों का नियंत्रण अपने हाथ में लेने से रोकने का निर्देश देने की मांग की गई है.
इन प्रमुख मंदिरों के मेलों को घोषित किया गया है सरकारी: अधिसूचना के अनुसार, मां ललिता देवी शक्तिपीठ प्रयागराज, नैमिषारण्य जिला सीतापुर, मां विंध्यवासिनी शक्तिपीठ मिर्जापुर, मां पाटेश्वरी शक्तिपीठ देवीपाटन तुलसीपुर जिला बलरामपुर एवं शाकुंभरी माता मंदिर सहारनपुर में होने वाले मेलों को सरकारी मेला घोषित किया गया है.
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