बस्ती : जिले के सोनहा थाना क्षेत्र के शंकरपुर गांव में एक किशोरी ने आत्महत्या की कोशिश की. हालत बिगड़ने पर उसे जिला अस्पताल ले जाया गया. इस दौरान उसकी मौत हो गई. इसके बाद शव को अस्पताल की मोर्चरी में रखवा दिया गया. अगले दिन जब शव को पोस्टमार्टम के लिए बाहर निकाला गया तो उसकी दोनों आंखें गायब देख परिजन हैरान रह गए. उन्होंने अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप लगाया. वहीं डिप्टी सीएमओ ने आरोपों को खारिज किया है. उनका कहना है कि आंखें सही सलामत हैं.
लाश को पोस्टमार्टम के लिए ले जाते समय हुई जानकारी : सोनहा इलाके के शंकरपुर गांव निवासी मुन्नी देवी ने बताया कि उनकी 17 साल की बेटी शशिकला ने गुरुवार को आत्महत्या की कोशिश की. हालत बिगड़ने पर उसे आनन-फानन में जिला अस्पताल ले जाया गया. वहां उसका इलाज शुरू हुआ. चिकित्सक ने कमर में सुई लगाई. इसके कुछ ही देर बाद उसकी मौत हो गई. अस्पताल प्रशासन ने शव को मोर्चरी में रखवा दिया. कहा कि शुक्रवार को शव का पोस्टमार्टम किया जाएगा. परिवार के लोग अगले दिन पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे. शव को बाहर निकाला गया. इस दौरान देखा तो शव से दोनों आंखें गायब थीं. आंख वाली जगह से खून बाहर निकला हुआ था, ऐसा लग रहा था कि किसी ने दोनों आंखें निकाल ली हैं.
डिप्टी सीएमओ बोले-आंख के सभी पार्ट सुरक्षित : वहीं घटना के बाद अस्पताल परिसर में शव की बेकदरी की चर्चा होनी शुरू हो गई. कुछ लोग कहने लगे कि आंखों को चूहों ने कुतर दिया है. परिजनों की शिकायत के बाद डॉक्टरों की टीम ने शव का परीक्षण किया. डिप्टी सीएमओ डॉक्टर एके चौधरी ने बताया कि ऐसा पहली बार हुआ है. आंखों के सभी पार्ट हैं. केवल आंख के अंदर का लिक्विड जिसे विट्रस ह्यूमर बोला जाता है, यह एक जेली टाइप का होता है, यह गल जाने से आंखें चिपक गईं थीं. शव को डीप फ्रीजर में रखने के बाद प्रेशर बढ़ने पर आंख का लिक्विड निकल जाता है. इसके बाद ऐसा लगता है कि आंख है ही नहीं.
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