नैनीताल: उत्तर प्रदेश के बदायूं और शाहजहांपुर से नैनीताल काम करने आए तीन मजदूरों की कोयले की गैस लगने से मौत हो गई है. पोस्टमॉर्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिए गए हैं. घटना की जानकारी 24 घंटे बाद पता चला जब ठेकेदरा मजदूरों के कमरे पर पहुंचा. कमरा खोलते ही वहां का दृश्य डराने वाला था.
जानकारी के मुताबिक, बदायूं और शाहजहांपुर निवासी तीन युवक मल्लीताल हाईकोर्ट के समीप मजदूरी का काम कर रहे थे. रविवार रात ठंड के चलते मजदूरों ने कमरे की खिड़की दरवाजे बंद कर अंगीठी में कोयले जलाए और सो गए. इस दौरान बंद कमरे में गैस लगने से तीनों की हालत बिगड़ गई. अगले दिन सुबह मजदूरों के परिजनों ने उनसे संपर्क करने की कोशिश की. लेकिन तीनों ने ही फोन नहीं उठाया. सोमवार शाम तक भी मजदूरों ने फोन नहीं उठाया तो परिजनों ने ठेकेदार को फोन किया. ठेकेदार की ओर से भी बार-बार फोन करने पर भी फोन नहीं उठाया गया तो देर रात ठेकेदार हल्द्वानी से नैनीताल पहुंचा.
सोमवार और मंगलवार के मध्य रात 12 बजे ठेकेदार मजदूरों के कमरे में पहुंचा तो कमरा अंदर से बंद था. काफी आवाज देने के बाद भी जब मजदूरों ने कोई जवाब नहीं दिया तो ठेकेदार खिड़की का कांच तोड़कर कमरे में गया. ठेकेदार ने देखा कि तीनों अचेत अवस्था में पड़े हैं. इसके बाद ठेकेदार पुलिस को सूचना दी गई. सूचना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने तीनों मजदूरों को बीडी पांडे अस्पताल पहुंचाया. जहां डॉक्टर ने बदायूं निवासी राजकुमार (21 वर्ष) और अवनेश (24 वर्ष) को मृत घोषित कर दिया. जबकि शाहजहांपुर मुनेन्दर (21 वर्ष) की हालत गंभीर होने पर उसको सुशीला तिवारी अस्पताल रैफर कर दिया गया है. लेकिन वहां पहुंचते ही उसने दम तोड़ दिया.
डॉ. हाशिम अंसारी ने बताया कि अंगीठी की गैस लगने से मजदूरों की मौत की आशंका जताई गई है. बताया कि मौत के स्पष्ट कारणों का पता पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही पता चल पाएगा. इधर कोतवाल धर्मवीर सोलंकी ने बताया कि मृतकों के परिजनों के आने के बाद पंचनामा भर और पोस्टमॉर्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिए गए हैं.
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