बीजापुर: बफर लिमिट से ज्यादा धान खरीदी के बावजूद बीजापुर जिले के धान उपार्जन केंद्रों में धान का उठाव ना होने से खरीदी केंद्रों में धान जाम की स्थिति बन गई है. कई केंद्रों में क्विंटल तो दूर किलो भर धान रखने की जगह नहीं हैं.
धान उठाव के लिए कलेक्टर से गुहार: खरीदी केंद्र प्रभारियों ने सीधे कलेक्टर से धान उठाव के लिए गुहार लगाई है. 5 जनवरी तक बफर लिमिट के ऊपर धान का परिवहन ना होने की स्थिति में 6 जनवरी से जिले के सभी धान उपार्जन केंद्रों में खरीदी बंद कर दी जाएगी.
बीजापुर जिला सहकारी समिति संघ ने दी चेतावनी: जिला सहकारी समिति संघ ने इस समस्या को लेकर प्रशासन को ज्ञापन दिया है. संघ के पदाधिकारियों ने प्रशासन को साफ चेतावनी भी दी है कि बफर स्टॉक से ऊपर धान उठाव को लेकर प्रशासन कोई कदम नहीं उठाता है तो 6 जनवरी से जिले के सभी उपार्जन केंद्रों में खरीदी बंद कर दी जाएगी.
बीजापुर जिले में धान खरीदी और धान उठाव के आंकड़े: 29 दिसंबर तक जिले के 30 उपार्जन केंद्रों में 4 लाख 37 हजार 737 क्विंटल धान की खरीदी हुई है. जिसमें से महज 51 हजार 850 क्विंटल का उठाव हुआ है यानी जिले भरी में अब तक महज 11.85 फीसदी धान का उठाव हुआ है. जबकि 3 लाख 85 हजार 886 क्विंटल धान का उठाव होना बाकी है. ये आंकड़े 29 दिसंबर के हैं. 30 और 31 दिसंबर को भी धान खरीदी हुई है, यानी यह आंकड़ा और बढ़ गया है.
सहकारी समितियों की चिंता क्यों बढ़ी: धान उठाव में हो रही देरी से धान खरीदी करने वाली समितियों की चिंता बढ़ गई है. मार्कफेड की नीति के बावजूद एक महीने से ज्यादा होने की वजह से सूखत बढ़ रही है. लगभग सभी समितियों में बफर स्टॉक से ज्यादा धान की खरीदी हो चुकी है. समितियों की मानें तो जिले में एक ही मिलर्स होने से ऐसी स्थिति बनी है. धान उठाव के लिए अंतर जिला डीओ और टीओ जारी किया जाता है तो समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है.