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बकरीद पर एक पहल ऐसी भी, इस संस्था ने मुंहमांगे दामों पर 500 बकरों को खरीद कुर्बानी से बचाया - lives of 500 goats saved

बागपत के बकरा शाला जीव दया संस्थान ने इस बार 500 बकरों को मुंहमांगे दामों पर खरीदकर उनकी जान बचाई है. संस्थान के लोगों इसके बाद सभी बकरों को शाला में छोड़ दिया.

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500 बकरों की बची जान (photo credit-Etv Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jun 17, 2024, 1:04 PM IST

बागपत: ईद उल अजहा के मौके पर कुर्बानी के लिए आये बकरो की चर्चा तो चारो तरफ है. वही, बागपत में एक संस्था ने पिछले कुछ वर्षो से एक अनूठी ही मुहिम छेड़ी हुई है, जो ईद उल अजहा पर कुर्बानी के लिए बिकने आये बकरो को मुहमांगे दाम देकर खरीद लेते है. उन सभी बकरो को अमिनगर सराय कस्बे में स्थापित उत्तर भारत की एकमात्र "बकरा शाला" छोड़ दिया जाता है.

बकरा शाला के सहयोगी गौरव जैन ने दी जानकारी (video credit- etv bharat)

8 साल पहले कुर्बानी के लिए बिकने वाले बकरो की जान बचाने के उद्देश्य से स्थापित बकरा शाला में अब देश के अन्य राज्यो से भी बकरे पहुंचाये जाते हैं.
पिछले वर्ष जीव दया संस्थान ने करीब 300 बकरो को ऊंचे दामों पर खरीद कर उनका जीवन बचाया था. इस बार कुर्बानी के लिए आये 600 से भी ज्यादा बकरो को खरीद कर बकरा शाला में भेजा गया है.


इसे भी पढ़े-इस्लामिक सेंटर ऑफ इंडिया ने ईद पर जारी की एडवाइजरी, कहा- सार्वजनिक स्थानों पर न करें कुर्बानी - guidelines for eid ul adha 2024

गौ शाला तो बहुत देखी और सुनी होंगी, लेकिन हम आपको आज उत्तर भारत की एकमात्र बकरा शाला से रूबरू करा रहे है. तस्वीरों में आप देख रहे है की एक बड़ी बाउंड्री वॉल के अंदर ये बेफिक्र घूमते बकरे अनेको स्थानों पर कुर्बानी के लिए लाये गए थे. इनको जीव दया संस्थान के लोगों ने मुह मांगी कीमत पर खरीद लिया और बकरा शाला में छोड़ दिया.


बता दें, कि इस बकरा शाला में बकरो के लिए खाने और पीने का तो पूरा इंतजाम है ही साथ ही साथ बकरो की नियमित स्वास्थ जांच के लिए बकायदा पशु डॉक्टरों को भी तैनात किया गया है. इस वक्त बकरा शाला में करीब 900 बकरे अपना जीवन जी रहे है. जीव दया संस्थान की ये अनोखी बकरा शाला पूरे देश में चर्चा का विषय बनी हुई है.

यह भी पढ़े-बकरीद पर खास तोहफा, आज ताजमहल में फ्री रहेगी एंट्री, योग दिवस पर भी सभी स्मारक रहेंगे फ्री - Eid al Adha Taj Mahal Entry free

बागपत: ईद उल अजहा के मौके पर कुर्बानी के लिए आये बकरो की चर्चा तो चारो तरफ है. वही, बागपत में एक संस्था ने पिछले कुछ वर्षो से एक अनूठी ही मुहिम छेड़ी हुई है, जो ईद उल अजहा पर कुर्बानी के लिए बिकने आये बकरो को मुहमांगे दाम देकर खरीद लेते है. उन सभी बकरो को अमिनगर सराय कस्बे में स्थापित उत्तर भारत की एकमात्र "बकरा शाला" छोड़ दिया जाता है.

बकरा शाला के सहयोगी गौरव जैन ने दी जानकारी (video credit- etv bharat)

8 साल पहले कुर्बानी के लिए बिकने वाले बकरो की जान बचाने के उद्देश्य से स्थापित बकरा शाला में अब देश के अन्य राज्यो से भी बकरे पहुंचाये जाते हैं.
पिछले वर्ष जीव दया संस्थान ने करीब 300 बकरो को ऊंचे दामों पर खरीद कर उनका जीवन बचाया था. इस बार कुर्बानी के लिए आये 600 से भी ज्यादा बकरो को खरीद कर बकरा शाला में भेजा गया है.


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बता दें, कि इस बकरा शाला में बकरो के लिए खाने और पीने का तो पूरा इंतजाम है ही साथ ही साथ बकरो की नियमित स्वास्थ जांच के लिए बकायदा पशु डॉक्टरों को भी तैनात किया गया है. इस वक्त बकरा शाला में करीब 900 बकरे अपना जीवन जी रहे है. जीव दया संस्थान की ये अनोखी बकरा शाला पूरे देश में चर्चा का विषय बनी हुई है.

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