शिमला: हिमाचल विधानसभा के इतिहास में पहली बार मानसून सेशन 11 दिन तक चला. इस सेशन के दौरान 11 बैठकें हुई और सत्र की उत्पादकता 96 फीसदी रही. वित्तीय स्थिति पर चर्चा को लेकर सीएम के जवाब के बाद सेशन समाप्त हुआ. विधानसभा स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने सेशन के बारे में जानकारी दी और बताया कि इस दौरान 480 तारांकित व 299 अतारांकित सवाल पूछे गए. सरकार ने इन सवालों का जवाब दिया. सेशन में सरकार ने कुल 25 बिल पारित किए गए.
कुलदीप पठानिया ने बताया कि सेशन में नियम-62 के तहत 14 विषय आए. इसके अलावा नियम-63 के तहत एक विषय पर चर्चा हुई. इस सेशन में 29 अगस्त व पांच सितंबर के तौर पर दो दिन गैर सरकारी सदस्य के रूप में थे. सदन के सदस्यों ने नियम-101 के तहत 8 गैर सरकारी संकल्प प्रस्तुत किए. इनमें से 3 संकल्पों पर सदन के सदस्यों ने बहुमूल्य सुझाव दिए. मंत्रियों ने इनके जवाब दिए और संकल्प पास भी हुए. इसी प्रकार नियम-102 के तहत कुल दो सरकारी संकल्प पारित हुए. नियम-130 में पांच विषयों पर चर्चा निर्धारित थी.
स्पीकर ने बताया कि नियम-324 में विशेष उल्लेख के माध्यम से 12 विषय सभी में उठाए गए. सरकार की तरफ से इस संबंध में सदस्यों को वस्तुस्थिति से अवगत करवाया गया. सेशन में सभा की समितियों ने 45 प्रतिवेदन पटल पर रखे. स्पीकर कुलदीप पठानिया ने कहा कि अभी इस कैलेंडर वर्ष में 23 बैठकें हो चुकी हैं.
उन्होंने कहा कि सेशन में स्कूलों व कॉलेजों के 1023 छात्र-छात्राओं ने सदन की कार्यवाही को देखा. कुलदीप पठानिया ने कहा कि पिछले सेशन में 12 बैठकों का आयोजन किया गया था, जिसकी कार्यवाही 56 घंटे तक चली थी. उस समय सेशन की उत्पादकता 94 प्रतिशत रही थी.
विधानसभा अध्यक्ष ने सेशन के सफल संचालन के लिए सत्ता पक्ष व विपक्ष सहित अन्य संबंधितों का आभार जताया. वहीं, मीडिया से बातचीत में स्पीकर ने कहा कि अगले सेशन से आधे घंटे का शून्यकाल शुरू किया जाएगा. इस बार शून्य काल को लेकर पहल की गई थी. आने वाले समय में इसे सुचारू रूप से प्रचलन में लाया जाएगा.