शिमला: हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने अंबुजा सीमेंट कंपनी अर्की के कर्मचारियों को बड़ी राहत दी है. अंबुजा सीमेंट प्रबंधन अब अपने माल की ढुलाई के लिए लगाए गए अपने कर्मचारियों के ट्रकों को फिलहाल कंपनी से नहीं हटा सकेगी. हिमाचल प्रदेश हाई कोर्ट के न्यायाधीश न्यायमूर्ति सत्येन वैद्य ने अंबुजा कंपनी द्वारा दायर विभिन्न याचिकाओं को खारिज करते हुए कर्मचारियों को यह राहत दी है.
अंबुजा कंपनी ने दीवानी अदालत अर्की एवं अपीलीय अदालत सोलन के अंतरिम राहत से जुड़े आदेशों को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी. कर्मियों ने 28 अगस्त 2023 को कंपनी ने अडानी ग्रुप के स्वामित्व वाली अंबुजा सीमेंट कंपनी दाडलाघाट ने माल ढुलाई में लगे ट्रकों पर चेक रखते हुए अपने कर्मचारियों के ट्रक कंपनी के काम से हटाने को कहा था. उन्हें कहा गया था कि वे या तो कंपनी के कर्मचारी होने से इस्तीफा दे या अपने ट्रकों को कंपनी से हटा दे.
सीमेंट कंपनी ने भूमि अधिग्रहण मुआवजे के तहत भूमि अधिग्रहण से प्रभावितों को केवल एक लाभ देने की अनुमति का विकल्प दिया था. अंबुजा दाडला कशलोग मांगू (एडीकेम) के सदस्यों ने कंपनी के इस फैसले को सिविल कोर्ट अर्की के समक्ष चुनौती दी है और वहां से अंतरिम राहत देते हुए कोर्ट ने कंपनी के उक्त फैसले पर रोक लगा दी थी. इसे कंपनी ने अपील के माध्यम से अपीलीय अदालत सोलन के समक्ष भी चुनौती दी थी.
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