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तालों की नगरी अलीगढ़ में चमक रहे पीतल-तांबे के टिफिन, विदेश तक डिमांड - COPPER AND BRASS UTENSILS

अलीगढ़ की एक कंपनी तांबे, पीतल, और कांसे के बर्तनों के साथ-साथ गिफ्ट आइटम्स की एक बड़ी रेंज भी तैयार करती है, जो पारंपरिक और आधुनिक डिजाइनों का मेल है. इसकी मांग विदेशों में भी बढ़ती जा रही है. तालों की नगरी अलीगढ़ में पीतल-तांबे के स्पेशल टिफिन-बर्तन, विदेश

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Sep 14, 2024, 1:54 PM IST

अलीगढ़: जिला को विश्व में तालीम और ताले के नाम से जाना जाता है. यहां के ताले विश्व में अपनी मजबूती के लिए जाने जाते हैं. ऐतिहासिक अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय अपनी तालीम और तबीयत की वजह से दुनिया भर में जानी जाती है. जिला अलीगढ़ में एक कंपनी ऐसी भी है जो तांबे, पीतल, और कांसे के बर्तनों के साथ-साथ गिफ्ट आइटम्स की एक बड़ी रेंज तैयार करती है. जो पारंपरिक और आधुनिक डिजाइनों का मेल है. पारंपरिक धातुओं का उपयोग करने के लिए प्रेरित करना ही इसका उद्देश्य है. जो सांस्कृतिक और स्वास्थ्य दोनों दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण हैं. तांबे के बने 70 और 80 के दशक के टिफिन की मांग विदेशों में बढ़ती जा रही है. जिसकी वजह से इस कंपनी की एक अलग पहचान होती जा रही है.

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तांबे के बने 70 और 80 के दशक के टिफिन की मांग विदेशों में (etv bharat)
कंट्री क्राफ्ट कंपनी का उद्देश्य: कंट्री क्राफ्ट कंपनी का उद्देश्य केवल व्यवसाय करना नहीं है, बल्कि मुरादाबाद और अलीगढ़ के पीतल और तांबे के कारीगरों को रोजगार के अवसर प्रदान करना भी है. यह कंपनी तांबे के बर्तनों की एक बड़ी रेंज बाजार में लाई है, जिसे लोग काफी पसंद कर रहे हैं. कंट्री क्राफ्ट इन पारंपरिक कारीगरों को आधुनिक व्यापार से जोड़ते हुए उन्हें सशक्त बनाना चाहती है, ताकि उनके कौशल का सही मूल्यांकन हो सके और वे आर्थिक रूप से समृद्ध हो सकें.
व्यवसायी आतिफ उर रहमान और खरीदार अरशद अहमद ने दी जानकारी (video credit- etv bharat)
इसे भी पढ़े-आगरा में उद्योग व्यापार मंडल का अधिवेशन, वित्त मंत्री सुरेश खन्ना बोले- यूपी में तेजी से हो रहा औद्योगिक विकास, अखिलेश के नाम पर भड़के - Finance Minister Suresh Khanna

साल 2018 में शुरू हुई कंट्री क्राफ्ट कंपनी ने न सिर्फ घरेलू बाजार में अपनी मजबूत पहचान बनाई है, बल्कि अब अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भी अपनी पहुंच बनानी शुरू कर दी है. अपने उच्च गुणवत्ता वाले तांबे और पीतल के उत्पादों के कारण यह कंपनी विदेशी ग्राहकों के बीच भी लोकप्रिय हो रही है. कंपनी का फोकस परंपरागत कारीगरी को वैश्विक स्तर पर पहुंचाने और कारीगरों को अंतरराष्ट्रीय मंच प्रदान करने पर है.

लगभग 500 प्रकार के बर्तन बनाए जाते हैं, जिसका 10% कारोबार विदेश में होता है. बाकी 90% हिंदुस्तान में. विदेशो में खासकर पीतल और तांबे के टिफिन की मांग बढ़ती जा रही है, जिसकी वजह से विदेशो में कारोबार बढ़ रहा है. पीतल और तांबे के बर्तनों के कारोबार को बढ़ता देख अलीगढ़ जिले के दुसरे कारोबारी भी पीतल तांबे के बर्तनों का कारोबार शुरू कर सकते हैं, जिससे कारीगरों को भी रोजगार मिलेगा.

पीतल के बर्तनों में पका खाना सेहत के लिए लाभकारी क्यो माना जाता है? एक्सपर्ट्स के मुताबिक, कुछ खास धातुओं से बने बर्तनों में पका खाना आपकी सेहत को कई तरह से फायदा पहुंचाता है. इन बर्तनों में मौजूद पोषक तत्व पके हुए खाने के साथ सीधे शरीर में प्रवेश करते हैं. पीतल के बर्तन पर्याप्त मात्रा में मेलानिन पैदा करते हैं. मेलानिन स्किन हेल्थ के लिए जरूरी है. ये त्वचा को हानिकारक यूवी किरणों से बचाता है. पीतल के बर्तनों में खाना पकाने की प्रक्रिया के दौरान इससे जिंक निकलता है, जो खाने में मिल जाता है और ब्लड को प्यूरीफाई करने में मदद करता है. साथ ही इससे हीमोग्लोबिन काउंट भी बढ़ता है.

कंट्री क्राफ्ट कंपनी से जुड़े व्यवसायी आतिफ उर रहमान ने ईटीवी भारत को खास बातचीत ने बताया, कि कंपनी का उद्देश्य केवल पैसा कमाना नहीं है, बल्कि तांबे और पीतल के बर्तनों के स्वास्थ्य लाभों के बारे में लोगों को जागरूक करना भी है. उनका मानना है, कि इन धातुओं के बर्तन न सिर्फ पारंपरिक और सौंदर्यपूर्ण होते हैं, बल्कि इनसे पानी और भोजन में मौजूद विषैले तत्वों को कम करने और शरीर को आवश्यक खनिज तत्व प्रदान करने में मदद मिलती है. कंपनी इसी दृष्टिकोण से लोगों को स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करने का प्रयास कर रही है.

अलीगढ़ और मुरादाबाद के तकरीबन 25 से 30 पारंपरिक कारीगरों को आधुनिक व्यापार से जोड़ कर रोजगार के अवसर प्रदान कर रहे है. सऊदी अरब, यूएई, अमेरिका और यूरोप के देशों में तांबे और पीतल के बर्तनों में खासकर पीतल और तांबे से बने टिफिन की मांग ज्यादा है. कंपनी का मकसद न सिर्फ ग्राहकों को उच्च गुणवत्ता वाले उत्पाद प्रदान करना है, बल्कि उन्हें उपहार के रूप में भी इन पारंपरिक धातुओं का उपयोग करने के लिए प्रेरित करना है.

स्थानीय निवासी खरीदार अरशद अहमद ने बताया, कि ये कंपनी तांबे, पीतल, और कांसे के बर्तनों के साथ-साथ गिफ्ट आइटम्स की एक बड़ी रेंज भी तैयार करती है. यह गिफ्ट रेंज पारंपरिक और आधुनिक डिजाइनों का मेल है, जो विशेष अवसरों और त्योहारों के लिए उपयुक्त होती है. मैं भी यहां से पीतल और तांबे के बर्तन खरीदे थे. जिनका इस्तेमाल मैं खुद भी करता हूं. मैंने पानी की तांबे की बोतल अपने मित्रों को भी दी थी.

यह भी पढ़े-यूपी में युवाओं को उद्यमी बनाएगी योगी सरकार 10 लाख रुपये तक मिलेगा लोन, जानें योग्यता और प्रक्रिया - Yogi Government

अलीगढ़: जिला को विश्व में तालीम और ताले के नाम से जाना जाता है. यहां के ताले विश्व में अपनी मजबूती के लिए जाने जाते हैं. ऐतिहासिक अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय अपनी तालीम और तबीयत की वजह से दुनिया भर में जानी जाती है. जिला अलीगढ़ में एक कंपनी ऐसी भी है जो तांबे, पीतल, और कांसे के बर्तनों के साथ-साथ गिफ्ट आइटम्स की एक बड़ी रेंज तैयार करती है. जो पारंपरिक और आधुनिक डिजाइनों का मेल है. पारंपरिक धातुओं का उपयोग करने के लिए प्रेरित करना ही इसका उद्देश्य है. जो सांस्कृतिक और स्वास्थ्य दोनों दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण हैं. तांबे के बने 70 और 80 के दशक के टिफिन की मांग विदेशों में बढ़ती जा रही है. जिसकी वजह से इस कंपनी की एक अलग पहचान होती जा रही है.

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तांबे के बने 70 और 80 के दशक के टिफिन की मांग विदेशों में (etv bharat)
कंट्री क्राफ्ट कंपनी का उद्देश्य: कंट्री क्राफ्ट कंपनी का उद्देश्य केवल व्यवसाय करना नहीं है, बल्कि मुरादाबाद और अलीगढ़ के पीतल और तांबे के कारीगरों को रोजगार के अवसर प्रदान करना भी है. यह कंपनी तांबे के बर्तनों की एक बड़ी रेंज बाजार में लाई है, जिसे लोग काफी पसंद कर रहे हैं. कंट्री क्राफ्ट इन पारंपरिक कारीगरों को आधुनिक व्यापार से जोड़ते हुए उन्हें सशक्त बनाना चाहती है, ताकि उनके कौशल का सही मूल्यांकन हो सके और वे आर्थिक रूप से समृद्ध हो सकें.
व्यवसायी आतिफ उर रहमान और खरीदार अरशद अहमद ने दी जानकारी (video credit- etv bharat)
इसे भी पढ़े-आगरा में उद्योग व्यापार मंडल का अधिवेशन, वित्त मंत्री सुरेश खन्ना बोले- यूपी में तेजी से हो रहा औद्योगिक विकास, अखिलेश के नाम पर भड़के - Finance Minister Suresh Khanna

साल 2018 में शुरू हुई कंट्री क्राफ्ट कंपनी ने न सिर्फ घरेलू बाजार में अपनी मजबूत पहचान बनाई है, बल्कि अब अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भी अपनी पहुंच बनानी शुरू कर दी है. अपने उच्च गुणवत्ता वाले तांबे और पीतल के उत्पादों के कारण यह कंपनी विदेशी ग्राहकों के बीच भी लोकप्रिय हो रही है. कंपनी का फोकस परंपरागत कारीगरी को वैश्विक स्तर पर पहुंचाने और कारीगरों को अंतरराष्ट्रीय मंच प्रदान करने पर है.

लगभग 500 प्रकार के बर्तन बनाए जाते हैं, जिसका 10% कारोबार विदेश में होता है. बाकी 90% हिंदुस्तान में. विदेशो में खासकर पीतल और तांबे के टिफिन की मांग बढ़ती जा रही है, जिसकी वजह से विदेशो में कारोबार बढ़ रहा है. पीतल और तांबे के बर्तनों के कारोबार को बढ़ता देख अलीगढ़ जिले के दुसरे कारोबारी भी पीतल तांबे के बर्तनों का कारोबार शुरू कर सकते हैं, जिससे कारीगरों को भी रोजगार मिलेगा.

पीतल के बर्तनों में पका खाना सेहत के लिए लाभकारी क्यो माना जाता है? एक्सपर्ट्स के मुताबिक, कुछ खास धातुओं से बने बर्तनों में पका खाना आपकी सेहत को कई तरह से फायदा पहुंचाता है. इन बर्तनों में मौजूद पोषक तत्व पके हुए खाने के साथ सीधे शरीर में प्रवेश करते हैं. पीतल के बर्तन पर्याप्त मात्रा में मेलानिन पैदा करते हैं. मेलानिन स्किन हेल्थ के लिए जरूरी है. ये त्वचा को हानिकारक यूवी किरणों से बचाता है. पीतल के बर्तनों में खाना पकाने की प्रक्रिया के दौरान इससे जिंक निकलता है, जो खाने में मिल जाता है और ब्लड को प्यूरीफाई करने में मदद करता है. साथ ही इससे हीमोग्लोबिन काउंट भी बढ़ता है.

कंट्री क्राफ्ट कंपनी से जुड़े व्यवसायी आतिफ उर रहमान ने ईटीवी भारत को खास बातचीत ने बताया, कि कंपनी का उद्देश्य केवल पैसा कमाना नहीं है, बल्कि तांबे और पीतल के बर्तनों के स्वास्थ्य लाभों के बारे में लोगों को जागरूक करना भी है. उनका मानना है, कि इन धातुओं के बर्तन न सिर्फ पारंपरिक और सौंदर्यपूर्ण होते हैं, बल्कि इनसे पानी और भोजन में मौजूद विषैले तत्वों को कम करने और शरीर को आवश्यक खनिज तत्व प्रदान करने में मदद मिलती है. कंपनी इसी दृष्टिकोण से लोगों को स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करने का प्रयास कर रही है.

अलीगढ़ और मुरादाबाद के तकरीबन 25 से 30 पारंपरिक कारीगरों को आधुनिक व्यापार से जोड़ कर रोजगार के अवसर प्रदान कर रहे है. सऊदी अरब, यूएई, अमेरिका और यूरोप के देशों में तांबे और पीतल के बर्तनों में खासकर पीतल और तांबे से बने टिफिन की मांग ज्यादा है. कंपनी का मकसद न सिर्फ ग्राहकों को उच्च गुणवत्ता वाले उत्पाद प्रदान करना है, बल्कि उन्हें उपहार के रूप में भी इन पारंपरिक धातुओं का उपयोग करने के लिए प्रेरित करना है.

स्थानीय निवासी खरीदार अरशद अहमद ने बताया, कि ये कंपनी तांबे, पीतल, और कांसे के बर्तनों के साथ-साथ गिफ्ट आइटम्स की एक बड़ी रेंज भी तैयार करती है. यह गिफ्ट रेंज पारंपरिक और आधुनिक डिजाइनों का मेल है, जो विशेष अवसरों और त्योहारों के लिए उपयुक्त होती है. मैं भी यहां से पीतल और तांबे के बर्तन खरीदे थे. जिनका इस्तेमाल मैं खुद भी करता हूं. मैंने पानी की तांबे की बोतल अपने मित्रों को भी दी थी.

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