शिमला: हिमाचल प्रदेश में हाल ही में देशभर से क्षय रोग विशेषज्ञ शिमला में जुटे थे. यहां राष्ट्रीय क्षय रोग उन्मूलन कार्यक्रम के तहत राष्ट्रीय टास्क फोर्स की दो दिवसीय बैठक का आयोजन हुआ.
विधानसभा के मॉनसून सत्र में टीबी रोग की हिमाचल प्रदेश में मौजूदा स्थिती लेकर प्रश्न पूछा गया था बीजेपी के दो विधायकों डॉ. जनक राज और लोकेंद्र कुमार ने मौजूदा सरकार से प्रश्न किया था कि प्रदेश में टीबी मरीजों की संख्या कितनी है और हिमाचल प्रदेश के किस जिले में सबसे अधिक टीबी के मरीज हैं. केंद्र सरकार ने टीबी उन्मूलन के लिए प्रदेश सरकार को कब तक का लक्ष्य दिया गया है.
कांगड़ा जिले में हैं सबसे अधिक टीबी के मरीज
इसका जवाब देते हुए प्रदेश सरकार ने कहा मौजूदा समय में प्रदेश में टीबी के मरीजों की संख्या 12134 है और वर्तमान में कांगड़ा जिले में सबसे अधिक टीबी के मरीज हैं. कांगड़ा जिले में मौजूदा समय में 2070 टीबी के एक्टिव मरीज हैं. केंद्र सरकार ने देश से साल 2025 तक टीबी उन्मूलन का लक्ष्य रखा है.
वहीं, इसी को लेकर बीजेपी के दोनों विधायकों ने प्रश्न किया कि बीते तीन सालों में केंद्र सरकार ने प्रदेश को टीबी उन्मूलन के लिए क्या सहायता दी है. टीबी उन्मूलन कार्यक्रम के तहत सरकार कब तक रिक्त पदों को भरेगी.
इस प्रश्न का जवाब देते हुए प्रदेश सरकार ने कहा टीबी उन्मूलन कार्यक्रम के तहत विभिन्न गतिविधियों के लिए साल 2022-23 में ₹3230.49 लाख, साल 2023-24 में ₹2936.81 लाख और साल 2024-25 के लिए ₹2741.16 लाख स्वीकृत किए गए हैं.
टीबी उन्मूलन कार्यक्रम के तहत मेडिकल, पैरामेडिकल सुपरवाईजर व स्पोर्ट स्टाफ के 454 पद स्वीकृत हैं जिसमें से 339 पद भरे गए हैं और बाकी बचे हुए 115 पद रिक्त हैं. रिक्त पदों को भरा जाना एक निरंतर प्रक्रिया है.
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