नई दिल्ली: ब्रिटेन की मुख्य विपक्षी पार्टी लेबर पार्टी ने 14 साल बाद कंजर्वेटिव पार्टी को हरा कर सत्ता में वापसी कर ली है. लेबर पार्टी को 2024 के ब्रिटेन संसदीय चुनाव में जीत हासिल की है. अभी तक आये परिणामों के मुताबिक यब लगभग तय है कि लेबर पार्टी के कीर स्टारमर नारायण मूर्ति के दामाद ऋषि सुनक की जगह ब्रिटेन के नए प्रधानमंत्री होंगे. ऋषि सुनक अब तक भारत के साथ अच्छे संबंध बनाए हुए थे. अपने शासन काल में सुनक ने भारत के साथ मिलकर विभिन्न नीतियों पर काम किया.
We said we will stop the chaos. And we will.
— Keir Starmer (@Keir_Starmer) July 5, 2024
We said we will turn the page. And we have.
The work of change begins today. pic.twitter.com/nROZuPdxNj
लेबर पार्टी के सत्ता में लौटने से ब्रिटेन की राजनीति में आए बदलाव का भारत के लिए क्या मतलब है? यह एक बड़ा सवाल है जिसमें सभी भारतीय लोगों की रूचि है. ईटीवी भारत से बात करते हुए को एक विशेषज्ञ ने कहा कि ब्रिटेन के नये प्रधानमंत्री और लेबर पार्टी के नेता कीर स्टारमर वैश्विक परिस्थियों में भारत की बढ़ती साख के मुताबिक काम करेंगे. वह एक आर्थिक शक्ति के रूप में भारत की पहचान को नजरअंदाज नहीं कर पायेंगे. इसके साथ ही इंडो-पैसिफिक ब्लॉक में भी भारत एक शक्तिशाली भागीदार के रूप में उभरा है जिसे उन्हें समझना होगा.
The work of change begins today. pic.twitter.com/DfP1UG1Upr
— Keir Starmer (@Keir_Starmer) July 5, 2024
विदेश नीति विशेषज्ञ डॉ. सुव्रोकमल दत्ता ने कहा ईटीवी भारत से बात करते हुए कहा कि मैं ब्रिटिश संसदीय चुनावों में ऐतिहासिक जीत के लिए लेबर पार्टी को बधाई देता हूं. हालांकि, ब्रिटेन में नई सरकार से भारत की उम्मीदें बहुत अधिक नहीं हैं. लेबर पार्टी का भारत के प्रति रवैया आमतौर से तटस्थ रहा है. अतीत में, ब्रिटेन की पिछली लेबर पार्टी सरकारें पाकिस्तान और चीन के करीब रही हैं. उन्होंने कहा कि हम उस सोच में बहुत बदलाव नहीं देखते हैं, हालांकि तब से भू-रणनीतिक संबंध और अंतर्राष्ट्रीय राजनीति में भारी बदलाव आया है.
Labour win the General Election by a landslide, ending the Conservative Party's 14-year reign...
— GRM Daily (@GRMDAILY) July 5, 2024
Keir Starmer is now the UK's new Prime Minister, replacing Rishi Sunak 🇬🇧 pic.twitter.com/zUfdv2IBeM
डॉ. दत्ता ने कहा कि पाकिस्तान एक डूबता हुआ विफल देश है. इसके अलावा पिछले कुछ सालों में ब्रिटेन और चीन के संबंध में भी दूरियां ही बढ़ी हैं. उम्मीद है कि नई लेबर पार्टी के प्रधानमंत्री और उनकी सरकार नई विश्व व्यवस्था की बदली हुई रूपरेखा के अनुसार काम करेगी. इसके साथ ही विश्व आर्थिक शक्ति के रूप में भारत की बढ़ती ताकत और इंडो-पैसिफिक में भारत की भूमिका भी उनकी भविष्य की नीतियों को प्रभावित करेंगी.
BREAKING: Rishi Sunak concedes defeat in UK election
— Shashank Mattoo 🇮🇳 (@MattooShashank) July 5, 2024
Even as he's speaking, someone comes up behind him with an " l" sign denoting "loser"
extraordinary stuff pic.twitter.com/M8DFRHtNDr
विदेश नीति विशेषज्ञ डॉ सुव्रोकमल दत्ता ने कहा कि हमें पूरी उम्मीद है कि ब्रिटेन में नई सरकार के तहत दोनों देशों के बीच संबंध मजबूत, दूरदर्शी और एकजुट होंगे. नई सरकार पिछली गलतियां नहीं दोहराईगी.
अपने चुनाव घोषणापत्र में, कीर स्टारमर ने भारत के साथ एक नई रणनीतिक साझेदारी स्थापित करने और यूके भारत संबंधों को मजबूत करने के लिए अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की है. उनका उद्देश्य कश्मीर मुद्दे पर लेबर पार्टी के रुख को संबोधित करना और एक मुक्त व्यापार समझौते की दिशा में काम करना भी है. इसके अतिरिक्त, घोषणापत्र में शिक्षा, जलवायु परिवर्तन, सुरक्षा और प्रौद्योगिकी में द्विपक्षीय सहयोग बढ़ाने की योजनाओं की रूपरेखा दी गई है, जिसमें भारत को सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक माना गया है.
कीर स्टारमर कौन हैं और भारत के प्रति उनका दृष्टिकोण क्या है?
कीर स्टारमर एक ब्रिटिश राजनेता हैं, जो अप्रैल 2020 से लेबर पार्टी के नेता और विपक्ष के नेता हैं. राजनीति में प्रवेश करने से पहले, उनका कानून में एक विशिष्ट करियर था, विशेष रूप से 2008 से 2013 तक लोक अभियोजन निदेशक (DPP) और क्राउन अभियोजन सेवा (CPS) के प्रमुख के रूप में कार्य किया.
2 सितंबर, 1962 को जन्मे स्टारमर ने रीगेट ग्रामर स्कूल में शिक्षा प्राप्त की. बाद में लीड्स विश्वविद्यालय और सेंट एडमंड हॉल, ऑक्सफोर्ड में कानून का अध्ययन किया. वह 2015 से होलबोर्न और सेंट पैनक्रास के लिए संसद सदस्य (एमपी) रहे हैं. लेबर पार्टी के नेता के रूप में, स्टारमर ने 2019 के आम चुनाव की हार के बाद पार्टी के पुनर्निर्माण पर ध्यान केंद्रित किया है.
कीर स्टारमर ने इस बार खुद को एक मध्यमार्गी के रूप में स्थापित किया है, जिसका लक्ष्य लेबर को कंजर्वेटिव सरकार का एक विश्वसनीय विकल्प बनाना है. अपने घोषणापत्र में, कीर स्टारमर ने यूनाइटेड किंगडम में रहने वाले भारतीय समुदाय के साथ संबंधों को बेहतर बनाने के महत्व पर प्रकाश डाला है. अपने एक प्रचार अभियान के दौरान, लेबर पार्टी के नेता ने 'हिंदूफोबिया' की निंदा की और होली और दिवाली जैसे भारतीय त्योहारों को मनाने और उन्हें अपनाने के महत्व को व्यक्त किया.
स्टारमर का मानना था कि ये गतिविधियां ब्रिटिश और भारतीय लोगों के बीच संबंधों को मजबूत करने में एक रचनात्मक भूमिका निभाएंगी, जो अंततः उनके आपसी विकास और वृद्धि में योगदान देंगी.