माले : मालदीव ने भारत की यूपीआई सर्विस शुरू किए जाने को लेकर जरूरी कदम उठाने का फैसला लिया है. इस संबंध में राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के आफिस की ओर से जारी एक बयान में जानकारी दी गई. इसमें कहा गया कि इस कदम से मालदीव की अर्थव्यवस्था को लाभ मिलने की उम्मीद है. उन्होंने कहा कि मालदीव को भारत की यूपीआई सुविधा के साथ बेहतर फाइनेंशियल ट्रांजैक्शन के अलावा डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर को लेकर मदद मिलेगी.
उक्त निर्णय आर्थिक विकास एवं व्यापार मंत्री द्वारा कैबिनेट बैठक में पेश किए गए पत्र पर गहन विचार-विमर्श के बाद लिया गया. बयान के मुताबिक राष्ट्रपति डॉ. मुइज्जू ने मालदीव में यूपीआई शुरू करने के लिए एक कंसोर्टियम गठित किए जाने का निर्णय लिया है.
साथ ही राष्ट्रपति मुइज्जू ने सुझाव दिया कि देश में कार्यरत बैंकों, दूरसंचार कंपनियों, सरकारी स्वामित्व वाली कंपनियों के साथ ही फिनटेक कंपनियों को कंसोर्टियम में शामिल किया जाना चाहिए. उन्होंने इसके लिए ट्रेडनेट मालदीव कॉर्पोरेशन लिमिटेड को कंसोर्टियम की प्रमुख एजेंसी भी नियुक्त किया है.
राष्ट्रपति आफिस के द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक राष्ट्रपति ने मालदीव में यूपीआई को शुरू करने की देखरेख के लिए आर्थिक विकास और व्यापार मंत्रालय की अगुआई करने के लिए एक इंटर एजेंसी कोऑर्डिनेटिंग टीम बनाने का भी फैसला लिया है. इस टीम के अंतर्गत वित्त मंत्रालय, गृह सुरक्षा और प्रौद्योगिकी मंत्रालय के साथ ही मालदीव मौद्रिक प्राधिकरण को शामिल किया जाएगा.
बता दें कि इस वर्ष अगस्त में, विदेश मंत्री एस. जयशंकर की यात्रा के दौरान मालदीव और भारत ने मालदीव में यूपीआई लागू किए जाने के लिए एक एग्रीमेंट ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए थे. हालांकि भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम द्वारा संचालित वित्तीय इंटरफेस भारत से बाहर कई दूसरे देशों में पूर्व से ही प्रयोग किया जाता है. वहीं संयुक्त अरब अमीरात, श्रीलंका, फ्रांस, मलेशिया, सिंगापुर, नेपाल, यूके और मॉरीशस में यूपीआई का प्रयोग किया जाता है. वहीं, अब बहुत जल्द इन देशों की सूची में एक नया नाम मालदीव का जुड़ने जा रहा है.
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