किडनी इंसान के शरीर के लिए बहुत महत्वपूर्ण अंग है. हेल्दी किडनी शरीर के अच्छे कामकाज के लिए बेहद जरूरी है, अगर किसी व्यक्ति की किडनी ठीक से काम करना बंद कर देती है, तो उसे किडनी फेलियर या यूरेमिया कहा जाता है. इस स्थिति में, शरीर में अतिरिक्त पानी और अपशिष्ट पदार्थ जमा हो जाते हैं. जिससे इंसान की मौत हो जाती है. वैसे तो किडनी फेलियर के इलाज के लिए डायलिसिस या किडनी ट्रांसप्लांट किया जा सकता है. लेकिन डायलिसिस पर रहने वाले कुछ लोग 30 साल या उससे कम सालों तक ही जीवित रह पाते हैं.
ऐसे में किडनी फेलियर से बचने के लिए, सही आहार लेना और जीवनशैली में बदलाव करना बेहद जरूरी होता है. आजकल बहुत से लोग किडनी से जुड़ी समस्याओं से पीड़ित हैं. बहुत से लोग कम उम्र में ही किडनी संक्रमण से पीड़ित हो जाते हैं और यह सब होता है अनहेल्दी डाइट और खराब लाइफस्टाइल के चलते. ऐसे में इस खबर के माध्यम से जानें कि किडनी में इंफेक्शन होने पर शरीर में किस तरह के लक्षण दिखाई देने लगते हैं...
शरीर में प्यूरीफायर की तरह करता है काम
किडनी खराब होने से पूरे शरीर पर असर पड़ता है. दरअसल, यूरिनरी सिस्टम और मूत्र नली, शरीर से खराब पदार्थों को निकालने का काम करती हैं. किडनी खून से अपशिष्ट पदार्थों और अतिरिक्त पानी को छानकर मूत्र बनाते हैं. यूरिनरी सिस्टम, शरीर को हेल्दी रखने के लिए बहुत जरूरी है. अगर यह ठीक से काम न करे, तो शरीर में खराब पदार्थ और ज्यादा पानी जमा हो सकता है. इससे हार्ट सिस्टम जैसी दूसरी प्रणालियां भी खराब हो सकती हैं और गंभीर बीमारियां हो सकती हैं. ऐसे में किडनी को स्वस्थ रखने के लिए सिर्फ पानी पीना ही काफी नहीं है. किडनी को नुकसान पहुंचना जीवन के लिए खतरा है, ऐसे में जानें किडनी खराब होने के शुरुआती लक्षणों के बारे में...
शरीर में कई तरह की समस्याएं हो सकती हैं जैसे कि...
नेशनल किडनी फाउंडेशन के अनुसार, यदि आपको सुबह में मतली, बार-बार उल्टी, पेशाब में पानी, पेशाब में खून, पीठ में तेज दर्द, पेट के निचले हिस्से में तेज दर्द का अनुभव हो तो आपको तुरंत डॉक्टर से परामर्श लेना चाहिए. इसके अलावा चक्कर आना, आंखों के आसपास और पैरों के आसपास सूजन भी कुछ ऐसे लक्षण हैं जो किडनी की समस्या शुरू होने से पहले दिखाई देते हैं.
पॉइंट्स में जानिए किडनी फेलियर के शुरुआती लक्षणों के बारे में...
- बार-बार पेशाब आने की समस्या
- पेशाब के रंग में बदलाव आना या पेशाब में झाग या बुलबुले का आना
- हाथ, पांव, और टांगों में सूजन और दर्द रहना
- कंसन्ट्रेट करने में परेशानी का सामना करना
- नींद की कमी हो जाना
- अधिक थकान और कमजोरी महसूस होना
- सांस लेने में तकलीफ होना
- भूख ना लगना, कुछ भी खाने का मन नहीं करना
- स्किन पर खुजली या फिर रैशेज होना
- वेट का कम हो जाना, यी फिर अचानक से ज्यादा बढ़ जाना
(डिस्क्लेमर: यहां आपको दी गई सभी स्वास्थ्य संबंधी जानकारी और सलाह केवल आपकी जानकारी के लिए है. हम यह जानकारी वैज्ञानिक अनुसंधान, अध्ययन, चिकित्सा और स्वास्थ्य पेशेवर सलाह के आधार पर प्रदान कर रहे हैं. बेहतर होगा कि इन पर अमल करने से पहले आप अपने निजी डॉक्टर की सलाह ले लें.)