मुजफ्फरपुर: बिहार के मुजफ्फरपुर के डॉ. नबी हसन एक ऐसे शख्स हैं जो 15 बार चुनाव लड़ चुके हैं. इसमें 11 बार पंचायत स्तर पर अलग-अलग चुनाव लड़े. कई बार जीत मिली. 2-2 बार लोकसभा और विधानसभा चुनाव लड़ चुके हैं. डॉ. नबी हसन ने अब तक जितने चुनाव लड़े निर्दलीय ही लड़े. उन्होंने अभी तक कोई राजनीतिक पार्टी ज्वाइन नहीं की है.
वैशाली लोकसभा से लड़ेंगे चुनाव: जानकर हैरानी हो रही है कि 40 साल की उम्र में इतनी बार चुनाव लड़ चुके हैं जो एक बड़े से बड़े नेता नहीं लड़ पाते. हार मिलने के बाद छटपटाने लगते हैं. ईटीवी भारत से बातचीत में उन्होंने लोकसभा चुनाव 2024 लड़ने की बात कही है. वैशाली लोकसभा क्षेत्र से नामांकन करने की तैयारी कर रहे हैं.
देश-विदेश में देते हैं कराटे की ट्रेनिंगः डॉ. नबी हसन मूल रूप से जिले के मिल्की काजीचक के रहने वाले. इनका संसदीय क्षेत्र वैशाली लोकसभा के अंदर आता है. पेशे से कर्राटा ट्रेनर के साथ-साथ इंटरियर डिजाइनर भी हैं. देश-विदेश में कराटे की ट्रेनिंग भी देते हैं. उन्होंने बताया कि नेपाल और भूटान के अलावा अपने देश में प्राइवेट और सरकारी स्कूल में बच्चों को कराटा सिखाते हैं. 6 भाई में वे दूसरे स्थान पर हैं.
''पिता मो. हनीफ कोलकाता में रहकर दैनिक काम करते थे. वर्ष 2006 में पिता का देहांत हो गया. इसके बाद सारे परिवार साहेबगंज आ गए. बच्चों को कराटा सिखाने के अलावा इंटीरियर डिजाइन का काम करने लगे. मुझे सामाजिक कार्यों में भी मन लगता था. 2006 में गांव के लोगों की सलाह पर पंच का चुनाव लड़े और जीत मिली. यहां से समाज सेवा का कारवां शुरू हो गया.''- डॉ. नबी हसन
एक जीत की खुशी पर 15 चुनाव लड़ेः नबी हसन ने बताया कि पहली जीत से हौसला बढ़ चुका था. पंच का चुनाव जीतने के बाद उन्होंने 7 बार पार्षद, एक बार सभापति, एक बार उपसभापति और एक बार MLC का चुनाव लड़े. पहली बार 2006 में पंच के चुनाव और 2018 में पार्षद के चुनाव में जीत मिली. विधानसभा की बात करें तो 2010 और 2020 में चुनाव लड़े. 2014 और 2019 में लोकसभा का चुनाव लड़े. 2014 लोकसभा चुनाव में 22455 वोट मिले थे.
नॉमिनेशन के दिन पुलिस ने किया गिरफ्तारः यहां तक पहुंचने के लिए डॉ. हसन की राह आसान नहीं रहा. कई समस्याओं का सामना करना पड़ा. उन्होंने बताया कि 2019 लोकसभा चुनाव का समय था. उस वक्त पार्षद थे. गांव में एक मेला लगा था. कुछ ग्रामीण लड़ लिए थे. आचार संहिता का उल्लंघन के मामले में केस दर्ज हुआ था. कुछ लोगों ने कोर्ट में उनके खिलाफ केस दर्ज कर दिया था.
जेल से आने के बाद भी चुनाव लड़ेः उन्होंने बताया कि उन्हें इस केस के बारे में कोई जानकारी नहीं थी. लोकसभा चुनाव के लिए जब नॉमिनेशन करने के लिए गए तो इसी दौरान पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया. करीब 2 महीने 10 दिन वे जेल में रहे. जमानत पर बाहर निकले और फिर 2020 विधानसभा का चुनाव लड़े लेकिन इसमें उनको हार मिली थी. इस बार लोकसभा चुनाव 2024 में वैशाली लोकसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ने की तैयारी है. समर्थकों के साथ उनकी मंथन जारी है. जल्द ही इसके लिए नामांकन करेंगे.
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