बीजापुर : बीजापुर जिले में मलेरिया का कहर जारी है. सरकार और प्रशासन बस्तर संभाग को मलेरिया मुक्त बनाने में जुटे हैं.बावजूद इसके छत्तीसगढ़ में मलेरिया से लोगों की जान जा रही है. जिले की बात करें तो पोटाकेबिन में रहकर पढ़ने वाले दो बच्चों की मलेरिया से मौत हो गई.वहीं 187 से ज्यादा बच्चे बीमार हैं.छात्रों की मौत के बाद स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल, पूर्व वनमंत्री महेश गागड़ा और स्वास्थ्य विभाग के सचिव ने बीजापुर का दौरा किया.इस दौरान सभी ने बच्चों का हाल चाल जाना.साथ ही साथ उनका अच्छा इलाज करने के निर्देश दिए.
बीमार छात्रों से की मुलाकात : बीजापुर में मलेरिया के प्रकोप के देखते हुए छत्तीसगढ सरकार के स्वास्थ्य मंत्री श्यामबिहारी जायसवाल अपनी टीम के साथ बीजापुर पहुंचे.जहां उन्होंने बीजापुर जिला अस्पताल जाकर छात्रों से जानकारी ली. इसके बाद बीजापुर मुख्यालय में स्थित आवासीय विद्यालय पोटाकेबिन जाकर छात्रों की समस्याओं को सुना.स्वास्थ्य मंत्री ने बीजापुर पोटाकेबिन के छात्रों को स्वच्छता बनाए रखने के साथ रात को सोते समय मच्छरदानी लगाने के लिए कहा.इस दौरान मंत्री ने सभी आवासीय विद्यालयों में मेडिकेटेड मच्छरदानी भिजवाने की बात भी कही है.जिला चिकित्सालय में उपचार करा रहे पीड़ित छात्रों से मुलाकात के बाद स्वास्थ्य मंत्री ने उनके जल्द स्वस्थ्य होने की कामना की. इसके साथ ही जिला अस्पताल की समस्याओं को जल्द दुरुस्त करने का वादा किया.
'' जितने भी मरीज अस्पताल में भर्ती हैं उन सभी ने बताया कि उनका अच्छा इलाज हो रहा है.प्रदेश का हर एक व्यक्ति सरकार के लिए महत्वपूर्ण है.किसी के भी इलाज में कोई कोताही नहीं बरती जाएगी.मलेरिया की रोकथाम के लिए स्वास्थ्य विभाग के अफसरों से आगे चर्चा की जाएगी.'' श्यामबिहारी जायसवाल, स्वास्थ्यमंत्री
क्या है पूरा मामला ?: आपको बता दें कि बीजापुर जिले के पोटाकेबीन आवासीय स्कूल तरलागुडा में दीक्षिता और संगमपल्ली की वैदिका जव्वा की मौत मलेरिया के कारण हुई थी. छात्रों के मौत के बाद जिला कलेक्टर अनुूराग पाण्डेय ने तत्काल सभी छात्रों की खून जांच करने का आदेशा जारी कर किए .आवासीय छात्रों में खून जांच के बाद अब तक 187 छात्र छात्राओं में मलेरिया पॉजिटिव मिला है.जिनका इलाज किया जा रहा है.