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उत्तरकाशी में फिर वरुणावत पर्वत से भूस्खलन, मलबे में दबे कई वाहन, पहाड़ी से बोल्डर गिरने से दहशत में लोग - Uttarkashi Varunavat Landslide

Uttarkashi Varunavat Mountain Landslide उत्तरकाशी जिला आपदा की दृष्टि से अतिसंवेदनशील माना जाता है. वहीं बीती रात वरुणावत की पहाड़ी से बोल्डर गिरने से लोग सहम गए और घरों से बाहर निकल आए. वहीं लोग काफी देर तक पत्थर गिरना बंद होने का इंतजार करते दिखाई दिए. वहीं कुछ लोगों ने अपने रिश्तेदार व परिचितों के यहां शरण ली है. वहीं प्रशासन द्वारा गोफियारा क्षेत्र के कुछ लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट करने की तैयारी है.

Uttarkashi Varunavat Mountain Landslide
उत्तरकाशी में वरुणावत पर्वत से गिरे बोल्डर (Photo- ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Aug 28, 2024, 7:37 AM IST

Updated : Aug 28, 2024, 8:52 AM IST

उत्तरकाशी में वरुणावत पर्वत से गिरे बोल्डर (Video- ETV Bharat)

उत्तरकाशी (उत्तराखंड): बीती रात वरुणावत पर्वत से रूक-रूककर बोल्डर गिरे, जिससे घबरा कर गोफियारा क्षेत्र में कई परिवार अपने घरों से बाहर निकल आए. वहीं, मूसलाधार बारिश से गाड़-गदेरे उफान पर हैं. गोफियारा क्षेत्र में एक गदेरे के उफान पर आने से सड़क पर खड़े दोपहिया वाहन मलबे में दब गए. वहीं डीएम डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट ने भूस्खलन से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट करने के निर्देश दिए हैं. पुलिस अधीक्षक अर्पण यदुवंशी ने मौके पर जाकर स्थिति का जायजा लिया और लोगों से अलर्ट रहने की अपील की.

गौर हो कि मूसलाधार बारिश से शहर के गोफियारा से लेकर पल्ला ज्ञानसू तक कई गाड़-गदेरे उफान पर आ गए. गोफियारा क्षेत्र में गदेरे के उफान पर आने से मलबे में दबे वाहनों को लोगों ने जेसीबी बुलाकर निकाला. वहीं, भारी बारिश से पाडुली गदेरे, ज्ञानसू और मैणा गाड़ भी उफान पर है, जिससे चलते इनमें जमा कचरा सड़क फैल गया. वहीं बस अड्डे से लेकर ज्ञानसू तक जगह-जगह गंगोत्री हाईवे पर पानी भर गया. रात में बारिश कम होने पर लोगों ने राहत की सांस ली. लेकिन तभी वरुणावत पर्वत से बोल्डर गिरना शुरू हो गए.

भटवाड़ी रोड के साथ ये बोल्डर मस्जिद मोहल्ले क्षेत्र में गिर रहे हैं, इससे डरे-सहमे गोफियारा क्षेत्र के कई परिवार घरों से निकलकर जल निगम रोड पर आ गए और पत्थर गिरना बंद होने का इंतजार करते दिखाई दिए. क्षेत्र के प्रताप सिंह रावत ने बताया कि पत्थर गिरने के बीच भूस्खलन जैसी तेज आवाज आई. जिससे लोग ज्यादा डरे-सहमे हुए हैं. कुछ परिवारों ने अपने रिश्तेदार व परिचितों के यहां शरण ली है. जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि सुरक्षा की दृष्टि से गोफियारा क्षेत्र के कुछ लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जाएगा.

जिलाधिकारी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट आपातकालीन परिचालन केंद्र में मौजूद रहे. जिलाधिकारी के निर्देश पर एसडीआएफ व प्रशासन की टीम गोफियारा क्षेत्र में डटी रही. गौफियारा जल संस्थान के ऊपर पहाड़ी से पत्थर गिरने के कारण जिलाधिकारी ने भूस्खलन से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने एवं अन्य व्यवस्थाएं करने हेतु दिशा निर्देश संबंधित अधिकारियों एवं कर्मचारियों को दिए. बता दें कि वर्ष 2003 में वरुणावत पर्वत से भारी भूस्खलन हुआ था, जिसके चलते कई बहुमंजिला होटल ध्वस्त हो गए थे, उस त्रासदी को याद कर आज भी लोग कांप उठते हैं.

पढ़ें-अल्मोड़ा में उफान पर आया बरसाती नाला, देर रात जंगल में फंसे 300 लोग, नवजात को ले जा रही एंबुलेंस भी फंसी

उत्तरकाशी में वरुणावत पर्वत से गिरे बोल्डर (Video- ETV Bharat)

उत्तरकाशी (उत्तराखंड): बीती रात वरुणावत पर्वत से रूक-रूककर बोल्डर गिरे, जिससे घबरा कर गोफियारा क्षेत्र में कई परिवार अपने घरों से बाहर निकल आए. वहीं, मूसलाधार बारिश से गाड़-गदेरे उफान पर हैं. गोफियारा क्षेत्र में एक गदेरे के उफान पर आने से सड़क पर खड़े दोपहिया वाहन मलबे में दब गए. वहीं डीएम डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट ने भूस्खलन से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट करने के निर्देश दिए हैं. पुलिस अधीक्षक अर्पण यदुवंशी ने मौके पर जाकर स्थिति का जायजा लिया और लोगों से अलर्ट रहने की अपील की.

गौर हो कि मूसलाधार बारिश से शहर के गोफियारा से लेकर पल्ला ज्ञानसू तक कई गाड़-गदेरे उफान पर आ गए. गोफियारा क्षेत्र में गदेरे के उफान पर आने से मलबे में दबे वाहनों को लोगों ने जेसीबी बुलाकर निकाला. वहीं, भारी बारिश से पाडुली गदेरे, ज्ञानसू और मैणा गाड़ भी उफान पर है, जिससे चलते इनमें जमा कचरा सड़क फैल गया. वहीं बस अड्डे से लेकर ज्ञानसू तक जगह-जगह गंगोत्री हाईवे पर पानी भर गया. रात में बारिश कम होने पर लोगों ने राहत की सांस ली. लेकिन तभी वरुणावत पर्वत से बोल्डर गिरना शुरू हो गए.

भटवाड़ी रोड के साथ ये बोल्डर मस्जिद मोहल्ले क्षेत्र में गिर रहे हैं, इससे डरे-सहमे गोफियारा क्षेत्र के कई परिवार घरों से निकलकर जल निगम रोड पर आ गए और पत्थर गिरना बंद होने का इंतजार करते दिखाई दिए. क्षेत्र के प्रताप सिंह रावत ने बताया कि पत्थर गिरने के बीच भूस्खलन जैसी तेज आवाज आई. जिससे लोग ज्यादा डरे-सहमे हुए हैं. कुछ परिवारों ने अपने रिश्तेदार व परिचितों के यहां शरण ली है. जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि सुरक्षा की दृष्टि से गोफियारा क्षेत्र के कुछ लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जाएगा.

जिलाधिकारी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट आपातकालीन परिचालन केंद्र में मौजूद रहे. जिलाधिकारी के निर्देश पर एसडीआएफ व प्रशासन की टीम गोफियारा क्षेत्र में डटी रही. गौफियारा जल संस्थान के ऊपर पहाड़ी से पत्थर गिरने के कारण जिलाधिकारी ने भूस्खलन से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने एवं अन्य व्यवस्थाएं करने हेतु दिशा निर्देश संबंधित अधिकारियों एवं कर्मचारियों को दिए. बता दें कि वर्ष 2003 में वरुणावत पर्वत से भारी भूस्खलन हुआ था, जिसके चलते कई बहुमंजिला होटल ध्वस्त हो गए थे, उस त्रासदी को याद कर आज भी लोग कांप उठते हैं.

पढ़ें-अल्मोड़ा में उफान पर आया बरसाती नाला, देर रात जंगल में फंसे 300 लोग, नवजात को ले जा रही एंबुलेंस भी फंसी

Last Updated : Aug 28, 2024, 8:52 AM IST
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