नई दिल्ली: बिहार की सत्ताधारी पार्टी जेडीयू की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की आज दिल्ली के कॉन्स्टिट्यूशन क्लब में बैठक हो रही है. पिछली बैठक पटना में पिछले साल दिसंबर में हुई थी, तब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आरजेडी और कांग्रेस के साथ महागठबंधन की सरकार चला रहे थे. इस बार की बैठक तब हो रही है, जब वह बीजेपी के साथ मिलकर एनडीए की सरकार चला रहे हैं.
दिल्ली में जेडीयू राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक: पिछली बैठक के वक्त राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह. हालांकि उस बैठक में ही ललन सिंह ने राष्ट्रीय अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था और नीतीश कुमार फिर से राष्ट्रीय अध्यक्ष की कमान संभाल ली थी. दिल्ली में इस बार हो रही बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार ही हैं. ऐसे इस बैठक में कई मुद्दों पर चर्चा होनी है. कई चौंकाने वाले फैसले भी नीतीश कुमार ले सकते हैं.
राष्ट्रीय अध्यक्ष पर होगा ऐलान: जेडीयू के राष्ट्रीय महासचिव आफाक अहमद खान ने बताया कि जेडीयू की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक से पहले 10:30 बजे वरिष्ठ पदाधिकारी की बैठक होगी, जिसमें राष्ट्रीय कार्यकारिणी का एजेंडा तय होगा. माना जा रहा है कि आज की बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्ष के नाम का ऐलान हो सकता है. इसके अलावे कार्यकारी अध्यक्ष पर भी घोषणा हो सकती है.
बैठक में कौन-कौन होंगे शामिल?: जेडीयू राष्ट्रीय कार्यकारिणी में 100 सदस्य हैं. नीतीश कुमार राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं तो वशिष्ठ नारायण सिंह राष्ट्रीय उपाध्यक्ष है. केसी त्यागी विशेष सलाहकार सह मुख्य प्रवक्ता हैं. वहीं आलोक सुमन कोषाध्यक्ष हैं. 100 सदस्यीय टीम में 22 महासचिव, सात सचिव हैं. 22 राज्यों के प्रदेश अध्यक्ष और प्रदेश संयोजक को कार्यकारिणी में जगह दी गई है. इस बैठक में 32 कार्यकारिणी सदस्य भी हैं, जिसमें बिहार सरकार के अधिकांश मंत्रियों को भी सदस्य बनाया गया है. इसके अलावे सभी सांसद भी राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य हैं. बैठक में कुछ आमंत्रित सदस्य भी होते हैं.
नीतीश कुमार लेंगे चौंकाने वाले फैसले?: जनता दल यूनाइटेड के मंत्रियों और वरिष्ठ नेताओं के अनुसार राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में कई प्रस्ताव पास हो सकते हैं. कुछ चौंकाने वाले फैसले भी हो सकते हैं. कुछ फैसलों के लिए नीतीश कुमार को अधिकृत भी किया जा सकता है. पार्टी के दूसरे नंबर के नेता और राष्ट्रीय उपाध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह के हाथ में फ्रैक्चर होने के कारण इस बैठक में शामिल नहीं होंगे. बिहार विधानसभा चुनाव और कई राज्यों में होने वाले चुनाव पर भी चर्चा होगी.
नीतीश के बेटे को लेकर अटकलें: मुख्यमंत्री होने के कारण नीतीश कुमार पार्टी में बहुत ज्यादा समय नहीं दे पाते हैं. ऐसे में किसी को कार्यकारी अध्यक्ष भी बनाया जा सकता है. पिछले कुछ दिनों से नीतीश कुमार के बेटे निशांत कुमार को लेकर काफी चर्चा चल रही है कि वह राजनीति में आ सकते हैं. हालांकि नीतीश कुमार अपने परिवार के सदस्यों को राजनीति से दूर रखते रहे हैं. ऐसे में देखना है कि क्या इस बार भी कोई फैसला लिया जा सकता है.
बिहार के जरूरी मुद्दों पर भी चर्चा: इसके साथ ही बिहार के विकास के लिए विशेष राज्य के दर्जे की मांग, विशेष पैकेज की मांग, पटना विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने की मांग, उत्तर बिहार को बाढ़ से निजात दिलाने के लिए कोसी डैम और नदी जोड़ योजना जैसे महत्वपूर्ण योजना की मांग को लेकर भी प्रस्ताव पास हो सकता है.
लोकसभा चुनाव के बाद बढ़ी जेडीयू की ताकत: 2019 के मुकाबले एनडीए को इस बार लोकसभा चुनाव में नुकसान हुआ है. बीजेपी के साथ-साथ जेडीयू की भी सीटें कम हुईं हैं लेकिन बदली परिस्थिति में केंद्र में जेडीयू की ताकत बढ़ गई है. 2019 में जहां 16 सीटों पर जीत मिली थी, जबकि इस बार 12 सीटों पर सफलता मिली है. ऐसे में आज की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक जेडीयू के नेता भविष्य की रणनीति पर मंथन करेंगे. पार्टी के विस्तार और संगठन को मजबूत करने पर चर्चा होगी.
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