नई दिल्ली: समाजवादी पार्टी की सांसद जया बच्चन ने सोमवार को आरोप लगाया कि पिछले महीने महाकुंभ में हुई भगदड़ में मारे गए लोगों के शव नदी में फेंक दिए गए थे. इसके चलते महाकुंभ का पानी दूषित हो गया है. उन्होंने उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली सरकार पर आम लोगों के लिए कोई विशेष व्यवस्था न करने का भी आरोप लगाया.
जया बच्चन ने संसद के बाहर मीडियाकर्मियों से बात करते हुए पूछा, "इस समयसबसे बहुत ज्यादा दूषित पानी कहां है? कुंभ में (भगदड़ में मारे गए लोगों के) शव नदी में फेंक दिए गए हैं, जिससे पानी दूषित हो गया है. असल मुद्दों पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है. कुंभ में आने वाले आम लोगों को कोई विशेष सुविधा नहीं मिल रही है और उनके लिए कोई व्यवस्था नहीं है."
#WATCH | Delhi: Samajwadi Party MP Jaya Bachchan says, " ... where is the water most contaminated right now? it's in kumbh. bodies (of those who died in the stampede) have been thrown in the river because of which the water has been contaminated... the real issues are not being… pic.twitter.com/9EWM2OUCJj
— ANI (@ANI) February 3, 2025
'आंख मूंदने का प्रयास'
राज्यसभा सांसद ने दावा किया कि शवों का पोस्टमार्टम नहीं किया गया और भगदड़ को लेकर पूरी तरह से आंख मूंदने की कोशिश की गई, जिसमें 29 जनवरी को 30 लोगों की मौत हो गई और 60 अन्य घायल हो गए. उन्होंने कहा, "यही पानी वहां के लोगों तक पहुंच रहा है. वे (भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार) इस पर कोई स्पष्टीकरण नहीं दे रहे हैं और पूरी तरह से आंख मूंदने का प्रयास किया जा रहा है."
'VIPs को विशेष सुविधाएं'
उन्होंने कहा, "वे पानी और जल शक्ति पर भाषण दे रहे हैं. वे झूठ बोल रहे हैं कि करोड़ों लोग उस स्थान पर आए हैं. किसी भी समय इतनी बड़ी संख्या में लोग उस स्थान पर कैसे एकत्र हो सकते हैं?" उन्होंने आरोप लगाया कि महाकुंभ में आने वाले आम या गरीब लोगों के लिए कोई पर्याप्त व्यवस्था नहीं की गई है, जबकि वीआईपी लोगों को विशेष सुविधाएं दी जा रही हैं.
लोकसभा में हंगामा
वहीं, समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव सहित कई विपक्षी दलों ने उत्तर प्रदेश सरकार पर कुंभ में हुई मौतों की वास्तविक संख्या छिपाने का आरोप लगाया और संसद में इस पर चर्चा की मांग की है. बता दें कि आज लोकसभा में महाकुंभ भगदड़ मामले को लेकर हंगामा हुआ और विपक्षी दलों ने इस मुद्दे पर चर्चा और मृतकों की सूची की मांग की. विपक्षी सदस्यों ने शोरगुल और नारेबाजी करते हुए सदन के वेल में प्रवेश किया.
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