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भगत सिंह कोश्यारी ने राजनीति से लिया संन्यास, सिलक्यारा पर संगोष्ठी के दौरान सवाल पूछने पर किया खुलासा

Bhagat Singh Koshyari retired from politics उत्तराखंड के वरिष्ठ राजनेता भगत सिंह कोश्यारी ने राजनीति से संन्यास की घोषणा की है. उत्तरकाशी के सिलक्यारा पर आयोजित गोष्ठी में आए बीजेपी के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी से जब राजनीतिक सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि ये सवाल हमसे क्यों पूछ रहे हो. हमने तो राजनीति से संन्यास ले लिया है.

Bhagat Singh Koshyari
भगत सिंह कोश्यारी
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Feb 28, 2024, 10:45 AM IST

Updated : Feb 28, 2024, 11:09 AM IST

भगत सिंह कोश्यारी ने राजनीति से लिया संन्यास

देहरादून: संस्कृत साहित्य और कला परिषद की उपाध्यक्ष मधु भट्ट की ओर से सिलक्यारा विषम समस्या से समाधान विषय पर एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया. मुख्य अतिथि महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने उपस्थित प्रतिनिधियों को संबोधित किया. कोश्यारी ने इस दौरान राजनीतिक सवाल पूछे जाने पर कहा कि उन्होंने राजनीति से संन्यास ले लिया है, उनसे ये सवाल पूछना सही नहीं है.

हिमालय हमारे लिए देवता स्वरूप- कोश्यारी: इस मौके पर कोश्यारी ने कहा कि हम लोग हिमालय के निवासी हैं. वैज्ञानिकों के अनुसार हिमालय दुनिया का यंगेस्ट माउंटेन है. इसलिए युवा वलित पर्वत श्रृंखला होने के कारण हिमालय विशाल होने के साथ ही कोमल भी है. इसका अर्थ है कि भौतिक और जियोलॉजिकल रूप से हिमालय कमजोर हो सकता है, लेकिन हमारे दृष्टिकोण से वह देवता स्वरूप है. इसलिए जहां देवता रहते हों, वहां कभी-कभी सिलक्यारा जैसी घटनाएं होती ही होती हैं. इसका उल्लेख हमारे वेद, ग्रंथ, पुराणों में भी मिलता है.

उत्तराखंड में आती रहती हैं आपदाएं-कोश्यारी: कोश्यारी ने कहा कि वैसे तो उत्तराखंड में आपदाएं आती रहती हैं और हम सभी आपदाओं का सामना करते आये हैं. सिलक्यारा हादसा भी उन्हें घटनाओं में से एक है. लेकिन पीएम मोदी के नेतृत्व, मुख्यमंत्री पुष्कर धामी, इंजीनियर्स, श्रमिकों विशेष रूप से रैट माइनर्स के प्रयासों से टनल में फंसे 41 मजदूरों की जान बच पाई. उन्होंने इसे अपने आप में ईश्वरीय देन बताया है. गौरतलब है कि 12 नवंबर 2023 को उत्तरकाशी का सिलक्यारा टनल हादसा हुआ था. टनल के अंदर भूधंसाव होने से 41 श्रमिक सुरंग के अंदर फंस गए थे. ये श्रमिक 17 दिन बाद सकुशल रेस्क्यू किए गए थे.

भगत सिंह कोश्यारी ने राजनीति से संन्यास का ऐलान किया: इस दौरान भगत सिंह कोश्यारी राजनीतिक सवालों से बचते नजर आए. उन्होंने कहा कि 1 साल पहले से ही वह राजनीतिक बयान नहीं दे रहे हैं. इसलिए राजनीतिक सवाल यदि राजनेताओं से पूछे जाएं तो बेहतर रहेगा. मैंने तो राजनीतिक संन्यास ले लिया है.
ये भी पढ़ें: उत्तराखंड यूसीसी बिल को भगत सिंह कोश्यारी ने बताया ऐतिहासिक, विधेयक पारित होने पर जश्न का माहौल

भगत सिंह कोश्यारी ने राजनीति से लिया संन्यास

देहरादून: संस्कृत साहित्य और कला परिषद की उपाध्यक्ष मधु भट्ट की ओर से सिलक्यारा विषम समस्या से समाधान विषय पर एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया. मुख्य अतिथि महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने उपस्थित प्रतिनिधियों को संबोधित किया. कोश्यारी ने इस दौरान राजनीतिक सवाल पूछे जाने पर कहा कि उन्होंने राजनीति से संन्यास ले लिया है, उनसे ये सवाल पूछना सही नहीं है.

हिमालय हमारे लिए देवता स्वरूप- कोश्यारी: इस मौके पर कोश्यारी ने कहा कि हम लोग हिमालय के निवासी हैं. वैज्ञानिकों के अनुसार हिमालय दुनिया का यंगेस्ट माउंटेन है. इसलिए युवा वलित पर्वत श्रृंखला होने के कारण हिमालय विशाल होने के साथ ही कोमल भी है. इसका अर्थ है कि भौतिक और जियोलॉजिकल रूप से हिमालय कमजोर हो सकता है, लेकिन हमारे दृष्टिकोण से वह देवता स्वरूप है. इसलिए जहां देवता रहते हों, वहां कभी-कभी सिलक्यारा जैसी घटनाएं होती ही होती हैं. इसका उल्लेख हमारे वेद, ग्रंथ, पुराणों में भी मिलता है.

उत्तराखंड में आती रहती हैं आपदाएं-कोश्यारी: कोश्यारी ने कहा कि वैसे तो उत्तराखंड में आपदाएं आती रहती हैं और हम सभी आपदाओं का सामना करते आये हैं. सिलक्यारा हादसा भी उन्हें घटनाओं में से एक है. लेकिन पीएम मोदी के नेतृत्व, मुख्यमंत्री पुष्कर धामी, इंजीनियर्स, श्रमिकों विशेष रूप से रैट माइनर्स के प्रयासों से टनल में फंसे 41 मजदूरों की जान बच पाई. उन्होंने इसे अपने आप में ईश्वरीय देन बताया है. गौरतलब है कि 12 नवंबर 2023 को उत्तरकाशी का सिलक्यारा टनल हादसा हुआ था. टनल के अंदर भूधंसाव होने से 41 श्रमिक सुरंग के अंदर फंस गए थे. ये श्रमिक 17 दिन बाद सकुशल रेस्क्यू किए गए थे.

भगत सिंह कोश्यारी ने राजनीति से संन्यास का ऐलान किया: इस दौरान भगत सिंह कोश्यारी राजनीतिक सवालों से बचते नजर आए. उन्होंने कहा कि 1 साल पहले से ही वह राजनीतिक बयान नहीं दे रहे हैं. इसलिए राजनीतिक सवाल यदि राजनेताओं से पूछे जाएं तो बेहतर रहेगा. मैंने तो राजनीतिक संन्यास ले लिया है.
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Last Updated : Feb 28, 2024, 11:09 AM IST
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