ETV Bharat / bharat

बेंगलुरु वक्फ भूमि विवाद: कांग्रेस ने किसानों की जमीन वापस नहीं लेने का आश्वासन दिया, BJP पर लगाया बड़ा आरोप

वक्फ संपत्तियों को लेकर कर्नाटक की कांग्रेस सरकार और भारतीय जनता पार्टी (BJP) के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है.

एमबी पाटिल
एमबी पाटिल (ETV Bharat)
author img

By ETV Bharat Hindi Team

Published : Oct 29, 2024, 7:44 PM IST

बेंगलुरु: कर्नाटक के विजयपुरा में वक्फ संपत्तियों को लेकर चल रही बहस तेज हो गई है. इसको लेकर कांग्रेस सरकार और भारतीय जनता पार्टी (BJP) के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है. सरकार के रुख को स्पष्ट करते हुए मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने किसानों को आश्वस्त किया कि उन्हें आवंटित कोई भी जमीन वापस नहीं ली जाएगी.

बता दें पिछले कुछ वर्षों में भूमि सुधार अधिनियम के तहत किसानों को 11,835 एकड़ जमीन वितरित की गई थी. वहीं, इनाम उन्मूलन अधिनियम के तहत 1,459 एकड़ और 26 गुंटे आवंटित किए गए. 133 एकड़ और 17 गुंटे विभिन्न सार्वजनिक परियोजनाओं के लिए मुआवजे के साथ अधिग्रहित किए गए.

मंत्रियों ने पुष्टि की कि इन श्रेणियों के तहत आवंटित भूमि के लिए कोई बेदखली नोटिस जारी नहीं किया गया है. सरकार और वक्फ मंत्री जमीर अहमद खान दोनों ने पुष्टि की कि उनका किसानों से भूमि वापस लेने का कोई इरादा नहीं है.

नोटिस
नोटिस (ETV Bharat)

बीजेपी ने कांग्रेस सरकार की आलोचना की
बीजेपी नेता सीटी रवि ने कांग्रेस, खासकर मंत्री जमीर अहमद खान पर वक्फ भूमि पर उनकी टिप्पणी को लेकर तीखा हमला किया. रवि ने तर्क दिया कि भारत संवैधानिक कानूनों से चलता है, शरिया से नहीं. उन्होंने जमीर को चुनौती देते हुए कहा, "अगर आप शरिया कानून चाहते हैं, तो पाकिस्तान चले जाइए."

उन्होंने जमीर की उस चेतावनी की भी आलोचना की जिसमें उन्होंने कहा था कि अगर वक्फ भूमि को नुकसान पहुंचाया गया तो क्रांति हो सकती है और इसे संविधान के लिए खतरा बताया. रवि ने सुझाव दिया कि मंत्री के खिलाफ उनकी टिप्पणियों के लिए आपराधिक मामला दर्ज किया जाना चाहिए.

नोटिस
नोटिस (ETV Bharat)

वक्फ विवाद पर क्यो बोले सीएम सिद्धारमैया
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने आश्वासन दिया कि विजयपुरा में किसी भी किसान ने वक्फ संपत्ति पर अवैध रूप से कब्जा नहीं किया है. उन्होंने कहा कि अगर कोई नोटिस गलती से जारी किया गया है, तो उसे तुरंत वापस ले लिया जाएगा. सिद्धारमैया ने यह भी बताया कि राजस्व मंत्री कृष्ण बायर गौड़ा, मंत्री एमबी पाटिल और मंत्री जमीर अहमद खान ने संयुक्त प्रेस वार्ता में इस मुद्दे को पहले ही स्पष्ट कर दिया है.

मंत्रियों ने गलत सूचना का जवाब दिया
संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में राजस्व मंत्री कृष्ण बायरे गौड़ा ने खुलासा किया कि मूल14,201 एकड़ वक्फ संपत्ति में से 773 एकड़ वक्फ के नियंत्रण में है. होनवाड़ा गांव में केवल 11 एकड़ जमीन वक्फ भूमि के रूप में वर्गीकृत है, जिसके लिए कोई बेदखली नोटिस जारी नहीं किया गया है.

मंत्री एमबी पाटिल ने 1964 से 1973 तक के वक्फ और राजस्व अभिलेखों की जांच के लिए जिला आयुक्त के नेतृत्व में एक टास्क फोर्स की घोषणा की. उन्होंने बीजेपी पर महाराष्ट्र और झारखंड में चुनावों से पहले राजनीतिक अशांति फैलाने के लिए गलत सूचना फैलाने का आरोप लगाया.

वक्फ नोटिस में बीजेपी की भूमिका पर सवाल
मंत्री एमबी पाटिल ने बताया कि 2019 से 2022 के बीच कर्नाटक में भाजपा के कार्यकाल के दौरान, विजयपुरा में किसानों को वक्फ संपत्तियों के संबंध में नोटिस मिले थे. पाटिल ने इसे भाजपा का पाखंड करार दिया और भगवा पार्टी पर अब 'मगरमच्छ के आंसू' बहाने का आरोप लगाया.

उन्होंने कहा कि वह इस मुद्दे का इस्तेमाल समुदायों को विभाजित करने के लिए कर रही है. पाटिल ने 'एक्स' पर प्रासंगिक दस्तावेजों के साथ बयान साझा किया, जिसमें भाजपा को वास्तविक मुद्दों को हल करने पर ध्यान केंद्रित करने की चुनौती दी, न कि ऐसे विवाद पैदा करने की जो अस्तित्व में ही नहीं हैं.

गलत सूचना फैलाने का लगाया आरोप
वक्फ मंत्री जमीर अहमद खान ने दोहराया कि सरकार का किसानों की भूमि पुनः प्राप्त करने का कोई इरादा नहीं है. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि होनावदा गांव में केवल 11 एकड़ भूमि वक्फ के स्वामित्व में है, जबकि बाकी किसानों की है. उन्होंने यह भी कहा कि विजयपुरा में वक्फ की 1,345 एकड़ जमीन पर अभी अतिक्रमण है, जबकि 26 एकड़ जमीन पर कानूनी विवाद है. इन मामलों को सुलझाने के प्रयास जारी हैं.

यह भी पढ़ें- 'यह रथ यात्रा की पारंपरिक पवित्रता का अनादर है', इस्कॉन पर भड़के जगन्नाथ भक्त!

बेंगलुरु: कर्नाटक के विजयपुरा में वक्फ संपत्तियों को लेकर चल रही बहस तेज हो गई है. इसको लेकर कांग्रेस सरकार और भारतीय जनता पार्टी (BJP) के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है. सरकार के रुख को स्पष्ट करते हुए मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने किसानों को आश्वस्त किया कि उन्हें आवंटित कोई भी जमीन वापस नहीं ली जाएगी.

बता दें पिछले कुछ वर्षों में भूमि सुधार अधिनियम के तहत किसानों को 11,835 एकड़ जमीन वितरित की गई थी. वहीं, इनाम उन्मूलन अधिनियम के तहत 1,459 एकड़ और 26 गुंटे आवंटित किए गए. 133 एकड़ और 17 गुंटे विभिन्न सार्वजनिक परियोजनाओं के लिए मुआवजे के साथ अधिग्रहित किए गए.

मंत्रियों ने पुष्टि की कि इन श्रेणियों के तहत आवंटित भूमि के लिए कोई बेदखली नोटिस जारी नहीं किया गया है. सरकार और वक्फ मंत्री जमीर अहमद खान दोनों ने पुष्टि की कि उनका किसानों से भूमि वापस लेने का कोई इरादा नहीं है.

नोटिस
नोटिस (ETV Bharat)

बीजेपी ने कांग्रेस सरकार की आलोचना की
बीजेपी नेता सीटी रवि ने कांग्रेस, खासकर मंत्री जमीर अहमद खान पर वक्फ भूमि पर उनकी टिप्पणी को लेकर तीखा हमला किया. रवि ने तर्क दिया कि भारत संवैधानिक कानूनों से चलता है, शरिया से नहीं. उन्होंने जमीर को चुनौती देते हुए कहा, "अगर आप शरिया कानून चाहते हैं, तो पाकिस्तान चले जाइए."

उन्होंने जमीर की उस चेतावनी की भी आलोचना की जिसमें उन्होंने कहा था कि अगर वक्फ भूमि को नुकसान पहुंचाया गया तो क्रांति हो सकती है और इसे संविधान के लिए खतरा बताया. रवि ने सुझाव दिया कि मंत्री के खिलाफ उनकी टिप्पणियों के लिए आपराधिक मामला दर्ज किया जाना चाहिए.

नोटिस
नोटिस (ETV Bharat)

वक्फ विवाद पर क्यो बोले सीएम सिद्धारमैया
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने आश्वासन दिया कि विजयपुरा में किसी भी किसान ने वक्फ संपत्ति पर अवैध रूप से कब्जा नहीं किया है. उन्होंने कहा कि अगर कोई नोटिस गलती से जारी किया गया है, तो उसे तुरंत वापस ले लिया जाएगा. सिद्धारमैया ने यह भी बताया कि राजस्व मंत्री कृष्ण बायर गौड़ा, मंत्री एमबी पाटिल और मंत्री जमीर अहमद खान ने संयुक्त प्रेस वार्ता में इस मुद्दे को पहले ही स्पष्ट कर दिया है.

मंत्रियों ने गलत सूचना का जवाब दिया
संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में राजस्व मंत्री कृष्ण बायरे गौड़ा ने खुलासा किया कि मूल14,201 एकड़ वक्फ संपत्ति में से 773 एकड़ वक्फ के नियंत्रण में है. होनवाड़ा गांव में केवल 11 एकड़ जमीन वक्फ भूमि के रूप में वर्गीकृत है, जिसके लिए कोई बेदखली नोटिस जारी नहीं किया गया है.

मंत्री एमबी पाटिल ने 1964 से 1973 तक के वक्फ और राजस्व अभिलेखों की जांच के लिए जिला आयुक्त के नेतृत्व में एक टास्क फोर्स की घोषणा की. उन्होंने बीजेपी पर महाराष्ट्र और झारखंड में चुनावों से पहले राजनीतिक अशांति फैलाने के लिए गलत सूचना फैलाने का आरोप लगाया.

वक्फ नोटिस में बीजेपी की भूमिका पर सवाल
मंत्री एमबी पाटिल ने बताया कि 2019 से 2022 के बीच कर्नाटक में भाजपा के कार्यकाल के दौरान, विजयपुरा में किसानों को वक्फ संपत्तियों के संबंध में नोटिस मिले थे. पाटिल ने इसे भाजपा का पाखंड करार दिया और भगवा पार्टी पर अब 'मगरमच्छ के आंसू' बहाने का आरोप लगाया.

उन्होंने कहा कि वह इस मुद्दे का इस्तेमाल समुदायों को विभाजित करने के लिए कर रही है. पाटिल ने 'एक्स' पर प्रासंगिक दस्तावेजों के साथ बयान साझा किया, जिसमें भाजपा को वास्तविक मुद्दों को हल करने पर ध्यान केंद्रित करने की चुनौती दी, न कि ऐसे विवाद पैदा करने की जो अस्तित्व में ही नहीं हैं.

गलत सूचना फैलाने का लगाया आरोप
वक्फ मंत्री जमीर अहमद खान ने दोहराया कि सरकार का किसानों की भूमि पुनः प्राप्त करने का कोई इरादा नहीं है. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि होनावदा गांव में केवल 11 एकड़ भूमि वक्फ के स्वामित्व में है, जबकि बाकी किसानों की है. उन्होंने यह भी कहा कि विजयपुरा में वक्फ की 1,345 एकड़ जमीन पर अभी अतिक्रमण है, जबकि 26 एकड़ जमीन पर कानूनी विवाद है. इन मामलों को सुलझाने के प्रयास जारी हैं.

यह भी पढ़ें- 'यह रथ यात्रा की पारंपरिक पवित्रता का अनादर है', इस्कॉन पर भड़के जगन्नाथ भक्त!

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.