बदायूं: यूपी के बदायूं में नाई ने अपनी दुकान के सामने के मकान में घुसकर दो मासूम बच्चों की निर्मम हत्या कर दी थी. इस मामले में घटना वाले दिन ही पुलिस ने मुख्य आरोपी नाई साजिद को एनकाउंटर में मार गिराया था. आज गुरुवार को साजिद के भाई जावेद ने बरेली में आत्मसमर्पण कर दिया.
इसके बाद पुलिस ने बदायूं में प्रेस कांफ्रेंस करके हत्याकांड की पूरी कहानी बताई. लेकिन, इन सबके बीच एक बड़ा सवाल उठ रहा है कि जब साजिद का एनकाउंटर हुआ तो उसमें एक दारोगा को भी गोली लगी थी. सिविल लाइंस थाना इंचार्ज गौरव विश्नोई घायल हो गए थे. लेकिन, दूसरे दिन सुबह ही वह ड्यूटी पर आ गए. ये कैसे हुआ इसके बारे में पूछने पर दारोगा बात को टरकाते रहे.
उन्होंने बस इतना बताया कि साजिद ने एनकाउंटर के समय उन पर दो गोली चलाई थीं. जिसमें से एक गोली उनकी बुलेट प्रूफ जैकेट में और दूसरी उनके पैर में लगी थी. वारदात कैसे हुई और मुठभेड़ में क्या-क्या हुआ इसके बारे में पूछने पर वह लगातार पल्ला झाड़ते रहे.
इधर, पुलिस ने जावेद को पकड़ने के बाद की प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इसमें एसएसपी बदायूं आलोक प्रियदर्शी ने बताया कि जावेद से पूछताछ के बारे में जानकारी दी. कहा, जावेद ने बताया कि साजिद बचपन से मानसिक रूप से बीमार था. वह अक्सर बहुत एग्रेसिव हो जाता था. आए दिन वह बीमार हो जाता था.
जावेद ने बताया कि घटना में साजिद घर के अंदर गया और उसने ही घटना को अंजाम दिया. वह बाहर खड़ा रहा. फिर दोनों वहां से भाग गए. उसके बाद साजिद का एनकाउंटर हो गया और मैं डर की वजह से दिल्ली भाग गया. फिर बरेली आकर उसने आत्मसमर्पण कर दिया.
बता दें कि पुलिस जांच में अभी तक घटना का मोटिव सामने नहीं आया है. एसएसपी ने बताया कि अन्य तथ्यों पर भी जांच चल रही है. मोबाइल डिटेल को खंगाला जा रहा है. जावेद से जो तथ्य अभी तक निकल कर आए हैं, उसमें यही महत्वपूर्ण बात पता लग रही है कि वह बचपन से बीमार रहता था. बड़े सरकार छोटे सरकार की दरगाह पर उसके परिजन उसका इलाज करवाया करते थे. बाकी अभी पुलिस की जांच जारी है.