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जयपाल सिंह मुंडा के गांव में दिखा वोटिंग का उत्साह, खूंटी लोकसभा क्षेत्र के वोटरों ने की प्रत्याशी और मुद्दों पर बात - Lok Sabha Election 2024

देश में चौथे और झारखंड में पहले चरण के चुनाव में मतदाताओं में जबरदस्त उत्साह दिखा. मरांग गोमके जयपाल सिंह मुंडा की जन्मस्थली टकरा गांव में भी मतदाताओं ने सुबह से ही अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया और विकास सहित कई मुद्दों पर वोट किया. यहां के मतदाताओं से बात की हमारे रांची ब्यूरो चीफ राजेश कुमार ने.

LOK SABHA ELECTION 2024
मतदान करते मतदाता (फोटो- ईटीवी भारत)

By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : May 13, 2024, 4:44 PM IST

जयपाल सिंह मुंडा के गांव में मतदाताओं से बात करते ब्यूरो चीफ राजेश कुमार (वीडियो- ईटीवी भारत)

रांची/खूंटी:अलग झारखंड और आदिवासियों के हक की बात को प्रमुखता से उठाने वाले जयपाल सिंह मुंडा की जन्मस्थली खूंटी के टकरा गांव में लोकतंत्र के महापर्व का नजारा गौरान्वित करने वाला दिखा. उमस भरी गर्मी थी. फिर भी ना सिर्फ पुरुष बल्कि महिलाएं भी वोट डालने के लिए कतार में खड़ी दिखीं. इस दौरान ईटीवी भारत की टीम ने हर तबके के वोटरों से बात की. कई वोटरों ने इशारों-इशारों में अपनी भावना जाहिर की तो कुछ ने खुलकर कहा.

इस गांव के लोगों की भावना से रुबरू कराना इसलिए जरुरी था क्योंकि यहीं की धरती पर जन्में और प्राथमिक शिक्षा हासिल करने वाले जयपाल सिंह मुंडा ने सबसे पहले अलग झारखंड की आवाज उठायी थी. संविधान सभा के सदस्य के नाते उन्होंने आदिवासियों के हक को तवज्जो देने की वकालत की थी. लिहाजा, देश के महान राजनेता, खिलाड़ी और शिक्षावीद रहे मरांग गोमके जयपाल सिंह मुंडा की जन्मस्थली में जाकर वोटरों की नब्ज टटोलने की कोशिश की गई. संतपॉल प्राथमिक उच्च विद्यालय में बने बूथ का नजारा लोकतंत्र के महापर्व को गौरान्वित करने वाला था. किसी ने इशारों-इशारों में अपनी मंशा जाहिर की तो किसी ने खुलकर कहा.

दरअसल, आदिवासियत और झारखंड की बात करने वाले जयपाल सिंह मुंडा को पूरी दुनिया तब जाना, जब उनकी कप्तानी में 1928 में हुए ओलंपिक में भारतीय टीम ने हॉकी में पहला स्वर्ण पदक जीता. समय के साथ जयपाल सिंह मुंडा राजनीति में उतरे और यहां भी अपनी मजबूत पकड़ बना ली. आज उनके गांव तक पक्की सड़क है. चापानल हैं. बिजली है. हॉकी का ग्राउंड बन रहा है. फिर भी पिछड़ापन है. लेकिन आंखों में उम्मीद की चमक थी.

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