लखनऊ : उत्तर प्रदेश के शिक्षित एवं प्रशिक्षित युवाओं को स्वरोजगार से जोड़कर नए सूक्ष्म उद्योगों की स्थापना के लिए वित्तीय संसाधन उपलब्ध कराए जाने के उद्देश्य से ‘‘मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान’’ प्रारम्भ किया जा रहा है, इसके लिए 1000 करोड़ रुपये की व्यवस्था की गई है.
वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने बजट में बताया कि ‘‘मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान’’ प्रारंभ किया जा रहा है. इसके लिए 1000 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है. नए सूक्ष्म उद्मों की स्थापना के माध्यम से ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में रोजगार सृजित करने के उददेश्य से योगी सरकार द्वारा नई पहल की जा रही है. इसके अंतर्गत उद्योग एवं सेवा क्षेत्र की अधिकतम पांच लाख तक की परियोजना को ब्याज मुक्त ऋण प्रदान किया जाएगा. इस स्वरोजगार मिशन के अंतर्गत प्रतिवर्ष 1,00,000 इकाइयों-यूनिट्स को वित्त पोषित कर आगामी 10 वर्षों में एक मिलियन यूनिट्स को सीधे लाभान्वित किया जाएगा.
सरकार द्वारा संचालित विभिन्न प्रशिक्षण योजनाओं जैसे विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना, एक जनपद एक उत्पाद प्रशिक्षण एवं टूलकिट योजना, अनुसूचित जाति/ जनजाति/ अन्य पिछड़ा वर्ग प्रशिक्षण योजना, उत्तर प्रदेश स्किल्ड डेवलपमेन्ट मिशन द्वारा संचालित कौशल उन्नयन आदि में प्रशिक्षित लाभार्थी अथवा किसी विद्यालय/शैक्षणिक संस्थान से सर्टिफिकेट कोर्स/ डिप्लोमा/ डिग्री युवक इस योजना के तहत लाभान्वित होंगे. उद्योग एवं सेवा क्षेत्र की अधिकतम 5 लाख तक की परियोजना लागत वाली सूक्ष्म इकाईयां पात्र होंगी.
योजना के अंतर्गत प्रथम लोन के भुगतान के बाद इकाई द्वितीय स्टेज वित्तपोषण के लिए पात्र होगी. इसके अंतर्गत पहले स्टेज के लोन के लिए दोगुना अधिकतम-7.50 लाख तक का कंपोजिट लोन दिया जा सकेगा. डिजिटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देने के लिए भी अनुदान की व्यवस्था की गई है. योजना आवेदन प्रक्रिया ऑनलाइन होगी. बैंक / वित्तीय संस्था से प्राप्त होने वाले सभी ऋण को सीजीटीएमएसई कवरेज प्रदान किया जाएगा.